कुंडली के ये भाव दिलवाते हैं राजनीति में High Position

Tuesday, Dec 31, 2019 - 12:04 PM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ
हर मां-बाप का सपना होता है कि उनका बच्चा बड़ा होकर एक कामयाब इंसान बने। ये ऐसी ख्वाहिश है जो बच्चे की आने की खुशखबरी के साथ ही मां-बाप के मन में घर कर जाती है। कहने का भाव है कि अपने बच्चे के लिए बेहतर भविष्य का सपना हर कोई सजाता है। इसी के चलते लोग अपने बच्चों को अच्छे से अच्छे से स्कूल आदि में शिक्षा देते हैं। मगर क्या आप जानते हैं कि बच्चे के पैदा होते ही उसका भविष्य तय हो जाता है। आप में से बहुत से लोगों ने ये मुहावरा सुना होगा कि पूत के पांव पालने में नज़र आ जाते हैं। अर्थात बच्चा भविष्य मे क्या कमाल दिखाएगा, इसका व्याखान बच्चे के हाव-भाव तथा व्यवहार से पता लग जाता है। कहा जाता है बहुत हद तक बातें इसकी मदद से जानी जा सकती है परंतु बता दें कौन किस क्षेत्र में नाम सफलता पाएगा कौन किस चीज़ में विशेषज्ञता पाएगा इसका ठीक-ठीक अनुमान लगाना शायद संभव नहीं होता।

मगर अगर ज्योतिष शास्त्र की बात की जाए तो इसमें इसके बारे में ऐसे जानकारी दी गई है जिससे ये जानना भी अधिक कठिन नहीं रहता। तो आइए बात करते हैं इसी से संबंधित कुछ तथ्यों की-

आज कल की बात करें तो हर दूसरा इंसान नेता बन रहा है। जिसका एक मुख्य कारण उनके कुंडली में ग्रहों की स्थिति को माना जाता है। जी हीं कहा जाता है कुंडली में एक ऐसा खास भाव होता है जो व्यक्ति के राजनीतिज्ञ होने का संकेत देता है। दरअसल ज्योतिष शास्त्र में कहा गया है कुंडली का छ्ठा, सातवां, दसवां और ग्यारहवां भाव राजनीति से जुड़ा माना जाता है। ज्योतिष विद्वानों का मानना है कि अगर इन चारों भावों में राहु हो तो इसका अर्थ यह होता है कि वह व्यक्ति आगे चलकर अवश्य ही राजनीति की दुनिया में नाम कमाएगा या कोई बड़ा नेता बनेगा।

इतना ही नहीं बल्कि इस जानकारी की मदद से यानि कुंडली के भावों के द्वारा ये तक जाना जा सकता है कि व्यक्ति आगे चलकर नेता के रूप में आम जनों के बीच कितनी लोकप्रियता पाएगा कितने दिल जीतेगा। इसके अलावा बता दें कुंडली के दशम भाव में अगर सभी ग्रह शुभ स्थिति में हों तो यह व्यक्ति को जहां राजनीतिक सफलता प्रदान करता है, वहीं दशमेश के सप्तम भाव से जुड़ा होने पर व्यक्ति राजनीति में सामान्य से ज्यादा सफलता पाता है।

तो वहीं कुंडली का छ्ठा भाव व्यक्ति की करुणा से संबंधित होता है और उसे सेवा भाव की ओर अग्रसर करता है। इसलिए कहा जाता अगर यह शुभ दशा में और दसवें भाव से जुड़ा हो तो यह व्यक्ति जन-जन का प्रिय नेता बनता है। साथ ही साथ राजनीति के अलावा अपने सत्कार्यों के लिए भी प्रसिद्धि पाता है।

Jyoti

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