घर में रखें बप्पा का ये चमत्कारी स्वरूप, रोग एवं परेशानियों के प्रवेश पर लगा रहेगा BAN
punjabkesari.in Wednesday, Sep 03, 2025 - 06:13 PM (IST)

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Shwetark Ganesha: श्वेतार्क गणेश जी की प्रतिमा वास्तु शास्त्र और आध्यात्मिक दृष्टि से अत्यंत शुभ मानी जाती है। श्वेतार्क (धतूरा कुल का एक पौधा, जिसे सफेद आक भी कहते हैं) से बनी गणपति प्रतिमा को घर या कार्यस्थल पर रखने से विशेष लाभ मिलते हैं। श्वेतार्क गणेश जी की प्रतिमा दुर्लभ होती है और जिसे यह सहज प्राप्त हो जाए। उसे अपने जीवनकाल में बप्पा की विशेष कृपा प्राप्त होती है। श्वेतार्क गणेश जी बप्पा का प्राकृतिक व चमत्कारी स्वरूप है। कहते हैं जिस घर में प्रतिदिन सभी पारिवारिक सदस्य मिलकर आंकड़े के गणपति स्वरूप का पूजन करते हैं उस घर में दरिद्रता, रोग एवं परेशानियां कभी प्रवेश नहीं कर सकती।
Shwetark Ganpati Ke Labh: श्वेतार्क गणेश जी की प्रतिमा को तिजोरी में स्थान देंगे तो धन-दौलत से भर जाएगा आपका घर संसार। मुद्गल पुराण के अनुसार श्वेतार्क गणपति की पूजा सर्वश्रेष्ठ मानी गई है। श्वेतार्क गणपति के पूजन से जीवन में भौतिक सुख एवं समृद्धि का प्रवाह होता है। श्वेतार्क को मदार या आक भी कहते हैं। ये दो प्रकार के होते हैं। शिव जी को अति प्रिय हैं। इसमें गणेशजी का वास कहा जाता है। तांत्रिक क्षेत्र में विशेष माना है। इसकी जड़ शुभ मुहूर्त में विधिपूर्वक पूजा करके घर में रखा जाए तो विशेष हितकारी होता है।
Benefits of keeping Shwetark Ganesh idol in the house according to Vastu वास्तु अनुसार श्वेतार्क गणेश प्रतिमा घर में रखने के लाभ
श्वेतार्क गणेश प्रतिमा धन के स्रोत खोलती है और जीवन में स्थायी आर्थिक उन्नति देती है। इससे घर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है, कलह-क्लेश दूर होते हैं और परिवार में प्रेम बढ़ता है। विद्यार्थी या ज्ञान प्राप्त करने वाले के लिए यह प्रतिमा विशेष फलदायी मानी जाती है। वास्तु दोष, बुरी नजर, या नकारात्मक ऊर्जा घर या कार्यस्थल पर टिक नहीं पाती। व्यापारिक स्थल पर रखने से कार्य में आने वाली बाधाएं दूर होती हैं और ग्राहकों की संख्या बढ़ती है। श्वेतार्क गणेश जहां स्थापित हों, वहां लक्ष्मी जी का स्थायी वास होता है।
Rules for keeping Shwetark Ganesha idol according to Vastu वास्तु अनुसार श्वेतार्क गणेश प्रतिमा रखने के नियम
प्रतिमा को घर या ऑफिस के उत्तर-पूर्व (ईशान कोण) में स्थापित करना सबसे शुभ है।
गणेश जी का मुख सदैव घर के मुख्य द्वार की ओर होना चाहिए।
प्रतिमा को लाल कपड़े पर रखकर प्रतिदिन धूप-दीप और पुष्प अर्पित करें।
इस प्रतिमा को कभी भी शयनकक्ष या रसोई में न रखें।