Raksha Bandhan 2022 Kab hai: जानें, कब मनाया जाएगा रक्षा बंधन का त्यौहार

Tuesday, Aug 09, 2022 - 09:26 AM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ

Raksha bandhan 2022 muhurat time: इस वर्ष रक्षाबंधन किस दिन मनाएं, इसे लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है कि राखी 11 अगस्त गुरुवार को बांधें या 12 अगस्त शुक्रवार को और कौन-सा शुभ मुहूर्त रहेगा ताकि उसी के अनुसार कार्यक्रम बना लिया जाए। इस विषय में मोटे तौर पर कहा जाए तो आप अपनी सुविधा एवं आस्थानुसार, दोनों में से किसी भी दिन यह पर्व मना सकते हैं। 

Raksha Bandhan 2022 Date: 11 अगस्त को कब बांधें राखी
शुभ समय :
11 अगस्त को सुबह 10.38  बजे से 12.32 बजे तक।
अभिजीत मुहूर्त : दोपहर 12.06 से 12.58 बजे तक।
अमृत काल : दोपहर 2.09 से 3.47 बजे तक, शाम 5.20 से 6.20 बजे तक और रात्रि को 8:53 से 9:50 बजे तक।

Raksha bandhan muhurat 2022: 12 अगस्त को कब बांधें राखी ?
यदि सम्भव हो तो सुबह 7 बजे से पहले अन्यथा 11 अगस्त की रात्रि तक रक्षाबंधन का त्यौहार मना लें।

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Rakhi muhurat 2022 date and time: ज्योतिषीय नियम एवं स्पष्टीकरण
दिवाकर पंचांग के अनुसार 11 अगस्त, गुरुवार को चंद्र मकर राशि एवं भद्रा पाताललोक में होने से भद्रा का परिहार होगा। अत: गुरुवार को भद्रा के बाद प्रदोषकाल में शाम 6.20 मिनट से  रात 9.50 मिनट तक रक्षाबंधन मनाना चाहिए परंतु उत्तर भारत में उदय-व्यापिनी पूर्णिमा के दिन प्रात:काल को ही यह त्यौहार मनाने का प्रचलन है, अत: 12 अगस्त, शुक्रवार को उदयकालिक पूर्णिमा में भी राखी बांध सकते हैं।

Rakhi bandhne ka shubh muhurat 2022: इस साल सावन मास की पूर्णिमा 11 अगस्त को 10.39 बजे शुरू हो रही है। इसी समय से भद्रा भी लग रही है जो रात 8.53 बजे समाप्त होगी और 11 अगस्त को प्रदोष काल में शाम 5.18 मिनट से 6.18 बजे तक के बीच रक्षा सूत्र बंधवा सकते हैं। इसके बाद भद्रा समाप्त होने पर रात 8.54 बजे से रात 9.49 बजे तक राखी बांध सकते हैं लेकिन हिन्दू धर्म की मान्यताओं के अनुसार सूर्यास्त के बाद राखी बांधना वर्जित है, इस कारण 12 अगस्त को राखी का त्यौहार अधिक शुभ माना जा रहा है।

Raksha bandhan muhurat 2022 date: हालांकि, 11 अगस्त पूर्णिमा को चंद्रमा मकर राशि का होने के कारण भद्रावास स्वर्ग में है अर्थात शुभ है और यह दिवस पूर्णत: रक्षाबंधन मनाने योग्य है। 

12 अगस्त शक्रवार को पूर्णिमा तिथि सुबह 7.17 बजे तक ही है, इसीलिए रक्षाबंधन 11 अगस्त, गुरुवार को लगभग सुबह 9.30 बजे के बाद पूर्णिमा तिथि लगने के उपरान्त ही मनाया जाएगा। 

शास्त्रों के हिसाब से जब भद्रा का वास मृत्युलोक (पृथ्वी लोक) में होता है तभी केवल वह अशुभ माना जाता है। पाताल लोक अथवा स्वर्गलोक की भद्रा का वास शुभ फलदायी होता है।

पूर्णिमा तिथि समाप्त : 12 अगस्त सुबह 7.05 बजे तक इसलिए इस दिन रक्षा बंधन सुबह-सुबह 7 बजे से पहले मनाया जाए क्योंकि 12 अगस्त को पूर्णिमा तिथि भी होगी और भद्रा भी नहीं रहेगा।  

Niyati Bhandari

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