जहां पांडवों ने की थी गुप्त पूजा, जानिए राजस्थान की उस दिव्य गुफा का रहस्य
punjabkesari.in Wednesday, Jul 16, 2025 - 09:35 AM (IST)

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माउंट आबू की गुफा जहां पांडवों ने की थी तपस्या
राजस्थान के माउंट आबू स्थित देलवाड़ा क्षेत्र में एक ऐतिहासिक गुफा पाई गई है, जिसे पांडव गुफा के नाम से जाना जाता है। मान्यता है कि महाभारत काल में अज्ञातवास के दौरान पांडवों ने अपनी माता कुंती के साथ यहां तपस्या की थी। यह स्थल अग्नेश्वर महादेव मंदिर के रास्ते में, रसिया बालम और कुंवारी कन्या मंदिर से आगे स्थित है। गुफा के पास एक प्राचीन शिव मंदिर भी है, जिसमें पांच शिवलिंग स्थापित हैं। स्थानीय मान्यता के अनुसार इन शिवलिंगों की स्थापना स्वयं पांडवों ने की थी और वे इनकी सामूहिक रूप से पूजा करते थे।
माता कुंती करती थीं देवी चामुंडा की साधना
गुफा के निकट एक कक्ष भी स्थित है, जिसके बारे में कहा जाता है कि वहां माता कुंती ध्यान करती थीं। इसके अलावा, एक अन्य गुफा पहाड़ी की तलहटी में मौजूद है, जहां माना जाता है कि माता कुंती निवास करती थीं। आज के समय में ये गुफाएं साधु-संतों के विश्राम स्थल बन गई हैं। मंदिर परिसर में हनुमान जी और नंदी की प्रतिमाएं भी दर्शनीय हैं। विशेष बात यह है कि हनुमान जी की मूर्ति न होकर एक विशाल शिला पर उनकी छवि उकेरी गई है। वहीं पास की एक पहाड़ी को नंदी के रूप में रंगों द्वारा सजाया गया है। यहां एक प्राचीन कुंड भी स्थित है, जो इस स्थल की आध्यात्मिक महत्ता को और भी बढ़ा देता है।
प्राचीन शिव मंदिर का गौरवशाली इतिहास
माउंट आबू की पवित्र धरती पर स्थित यह मंदिर लगभग पांच हजार साल पुराना माना जाता है। एक समय ऐसा भी था जब यह स्थल लुप्तप्राय था, लेकिन बाद में इसे पुनर्जीवित करने का श्रेय महंत रतनगिरी महाराज को जाता है। उन्होंने न केवल इस मंदिर का जीर्णोद्धार करवाया, बल्कि आज मंदिर परिसर में उनकी प्रतिमा और समाधि भी श्रद्धा के केंद्र के रूप में स्थापित हैं। आज यह स्थान सिर्फ एक मंदिर नहीं बल्कि एक साधु-संतों का आध्यात्मिक केंद्र बन चुका है। देशभर से श्रद्धालु और साधक यहां आते हैं, इस पावन स्थल के दर्शन करते हैं और साधु-संतों से आशीर्वाद प्राप्त करते हैं। पांडव गुफा का यह स्थल केवल धार्मिक नहीं, ऐतिहासिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण है। यहां की रहस्यमयी गुफाएं, शिव मंदिर और पर्वतीय क्षेत्र में तैतीस कोटि देवी-देवताओं की उपस्थिति की मान्यता इस स्थान को और भी विशेष बना देती है। यह जगह जैसे इतिहास को सजीव रूप में हमारे सामने प्रस्तुत करती है।