मंगलागौरी व्रत: शिव और शक्ति को इस विधि से करें प्रसन्न और पाएं मनचाहा वर

Tuesday, Aug 13, 2019 - 08:33 AM (IST)

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श्रावण का महीना जितना भगवान शंकर से संबंधित है उतना ही इसका जल से भी गहरा संबंध है क्योंकि शिव को शीतलता प्रिय है। भोलेनाथ को जल बेहद प्रिय है। वैसे तो सालभर हर दिन शिवलिंग पर जल चढ़ाया जाता है लेकिन सावन की फुहारों के बीच लोग शिव जी की धुन में पूरी तरह मग्र हो जाते हैं। इस पूरे महीने में शिवजी पर जलाभिषेक किया जाता है। इस संदर्भ से जुड़ी कई पौराणिक कथाएं प्रचलित हैं। भगवान शिव की मूर्ति व शिवलिंग पर जल चढ़ाने के महत्व को समुद्र मंथन से जोड़ा गया है। इसमें बताया गया है कि जब अग्रि के समान विष पीने के बाद शिव शंकर का कंठ एकदम  नीला पड़ गया था तो विष की जलन को शांत करने के लिए भोले भंडारी को शीतलता प्रदान करने हेतु समस्त देवी-देवताओं ने उन्हें जल-अर्पण किया। 

इसलिए शिव पूजा में जल का विशेष महत्व माना जाता है। शिवपुराण में कहा गया है कि भगवान शिव स्वयं ही जल हैं। इससे जुड़ा श्लोक इस प्रकार है- संजीवनं समस्तस्य जगत: सलिलात्मकम्। भव इत्युच्यते रूपं भवस्य परमात्मन:।।

श्लोक का अर्थ है जो जल समस्त जगत के प्राणियों में जीवन का संचार करता है वह जल स्वयं उस परमात्मा शिव का रूप है, इसीलिए जल का अपव्यय नहीं वरन उसका महत्व समझकर उसकी पूजा करनी चाहिए। शिव भक्त जल, दूध, बेल पत्र, पुष्प आदि से शिव एवं उनके प्रतीक ‘शिवलिंग’ का अभिषेक करते हैं। शिवलिंग को शिवजी का निराकार स्वरूप माना जाता है इसलिए भगवान शिव की पूजा में इसकी सर्वाधिक मान्यता है। माना जाता है कि शिवलिंग में शिव और शक्ति दोनों ही समाहित होते हैं, शिवलिंग की उपासना करने से दोनों की ही उपासना संपूर्ण हो जाती है।

राशि अनुसार शिवलिंग पर ऐसे करें अभिषेक : 
मेष :
शहद, गुड़, गन्ने का रस। लाल पुष्प चढ़ाएं।

वृष : कच्चे दूध, दही,श्वेत पुष्प।

मिथुन : हरे फलों का रस, मूंग, बिल्वपत्र। 

कर्क : कच्चा दूध, मक्खन, मूंग, बिल्वपत्र।

सिंह : शहद, गुड़, शुद्ध घी, लाल पुष्प।

कन्या : हरे फलों का रस, बिल्वपत्र, मूंग, हरे व नीले पुष्प।

तुला : दूध, दही, घी, मक्खन, मिश्री।

वृश्चिक : शहद, शुद्ध, घी, गुड़, बिल्वपत्र, लाल पुष्प।

धनु : शुद्ध घी, शहद, मिश्री, बादाम, पीले पुष्प, पीले फल।

मकर : सरसों का तेल, तिल का तेल, कच्चा दूध, जामुन, नीले पुष्प।

कुंभ : कच्चा दूध, सरसों का तेल, तिल का तेल, नीले पुष्प।

मीन : गन्ने का रस, शहद, बादाम, बिल्वपत्र, पीले पुष्प, पीले फल। 

Niyati Bhandari

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