महेश नवमी: रुद्राभिषेक से करें शिवजी को प्रसन्न

Tuesday, Jun 11, 2019 - 10:05 AM (IST)

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मंगलवार, 10 जून को महेश नवमी का त्यौहार है। मान्यता है की इस दिन माहेश्वरी समाज का जन्म हुआ था। कहते हैं माहेश्वरी समाज प्राचीनकाल में क्षत्रिय वंश से थे लेकिन उनके किसी पूर्वज से भूल हो गई थी इसलिए ऋषियों ने उन्हें श्राप दे दिया। महेश नवमी के दिन भगवान महेश यानि शिवजी ने उन्हें श्राप के प्रभाव से मुक्त कर अपना नाम दिया था। किवदंती के अनुसार ये भी कहा जाता है कि भगवान महेश से आज्ञापत्र पाकर माहेश्वरी समाज के पूर्वजों ने क्षत्रिय कर्म का त्याग कर वैश्य अथवा व्यापारिक कामों को अपनाया था। वैसे तो महेश नवमी का उत्सव सभी समाज के लोग अपनी-अपनी श्रद्धा के अनुसार मनाते हैं लेकिन महेश नवमी का त्यौहार माहेश्वरी समाज द्वारा बहुत धूमधाम के साथ मनाया जाता है। आप भी रुद्राभिषेक से करें शिवजी को प्रसन्न-

अभिषेक के भी कई प्रकार होते हैं। रुद्राभिषेक भगवान शिव को खुश करने का सबसे सरल व प्रभावी तरीका है। ऋग्वेद यजुर्वेद-सामवेद में रुद्राभिषेक की महिमा बताई गई है। शिव और रुद्र एक ही हैं। शिव को ही रुद्र की संज्ञा दी गई है। वेद कहते हैं कि हमारे दुखों का कारण हमारे पाप हैं। रुद्राभिषेक से वे सारे पाप धुल जाते हैं और शिव का आशीर्वाद मिल जाता है।

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रुद्राभिषेक पूजन के लाभ

हमारे शास्त्रों में विविध कामनाओं की पूर्ति के लिए रुद्राभिषेक करने की सलाह दी जाती है। किसी खास मनोरथ की पूर्ति के लिए नीचे दी गई पूजन सामग्री और विधि से रुद्राभिषेक किया जाता है।

जल से अभिषेक : वर्षा होती है।

कुशा से अभिषेक : असाध्य रोगों से शांति मिलती है। 

दही से अभिषेक : वाहन प्राप्ति की जा सकती है। 

गन्ने के रस, शहद और घी से अभिषेक : धन लाभ होता है।

तीर्थों के जल से अभिषेक : मोक्ष प्राप्ति होती है।

इत्र वाले जल से अभिषेक : रोगों से छुटकारा मिलता है।

दूध से अभिषेक : संतान सुख प्राप्त होता है।

गाय के दूध से अभिषेक : संतान दीर्घायु होती है।

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बर्फ के जल या गंगा जल से: ज्वर शांत होता है।

सहस्त्रनाम जाप के साथ घी धारा से : वंश का विस्तार होता है। 

दूध धारा : योनि से होने वाले रोगों में शांति मिलती है।

शक्कर मिश्रित दूध से अभिषेक : शत्रु पराजित होते हैं।

गाय का दूध, गाय का घी मिलाकर : आरोग्यता की प्राप्ति होती है।
 
शक्कर मिश्रित जल से : पुत्र प्राप्ति होती है।
 
 

Niyati Bhandari

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