Magh gupt navratri ghatasthapana 2022: पढ़ें, घट स्थापना का शुभ मुहूर्त और पूजा विधि

Wednesday, Feb 02, 2022 - 08:03 AM (IST)

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Magh gupt navratri ghatasthapana 2022: गुप्त नवरात्रि का महत्व चैत्र और शारदीय नवरात्रि से भी अधिक है क्योंकि इनमें देवी अपने पूर्ण स्वरूप में विद्यमान रहती हैं जो प्रकट रूप में नहीं होता है। गुप्त नवरात्रि में देवी शीघ्र प्रसन्न होती हैं लेकिन इसमें सबसे जरूरी और महत्वपूर्ण बात यह है कि साधकों को पूर्ण संयम और शुद्धता से देवी आराधना करनी होती है। गुप्त नवरात्रि आमतौर पर उत्तरी भारत जैसे हिमाचल प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, उत्तराखंड और इनके आसपास के प्रदेशों में बड़े पैमाने पर मनाई जाती है। गुप्त नवरात्रि की पूजा के नौ दिनों में मां दुर्गा के नौ स्वरूपों के साथ-साथ दस महाविद्याओं की भी पूजा का विशेष महत्व है। इस दौरान मां की आराधना गुप्त रूप से की जाती है।

Magh Gupt Navratri 2022 Date and time: इस साल माघ मास यानी फरवरी की गुप्त नवरात्रि बुधवार 02 फरवरी 2022 से शुरू हो रहे हैं। गुप्त नवरात्रि में मां दुर्गा के साथ ही तांत्रिक 10 महाविद्याओं को प्रसन्न करने के लिए पूजा की जाती है। गुप्त नवरात्रि मुख्य रूप से मां दुर्गा को प्रसन्न करने के लिए व तंत्र साधना के लिए मनाया जाता है। मान्यता है कि गुप्त नवरात्रि में मां दुर्गा की पूजा को जितना गुप्त रखा जाता है, फल उतना ही ज्यादा मिलता है। जो साधक तंत्र-मंत्र की सिद्धियां प्राप्त करना चाहते हैं, उनके लिए गुप्त नवरात्रि के दिन बेहद खास होते हैं। इनमें वे साधक गुप्त स्थान पर रहते हुए दस महाविद्याओं की साधना में लीन रहते हैं।


Magh gupt navratri devi puja vidhi: गुप्त नवरात्रि के दौरान मां दुर्गा की प्रतिमा या मूर्ति स्थापित कर लाल रंग का सिंदूर और सुनहरे गोटे वाली चुनरी अर्पित की जाती है। इसके बाद मां के चरणों में पानी वाला नारियल, केले, सेब, खील, बताशे और श्रृंगार का सामान अर्पित किया जाता है। मां दुर्गा को लाल पुष्प चढ़ाना शुभ माना जाता है। सरसों के तेल से दीपक जलाकर 'ॐ दुं दुर्गायै नमः' मंत्र का जाप करना चाहिए।

Magh gupt navratri shubh muhurat: गुप्त नवरात्रि घटस्थापना शुभ मुहूर्त
गुप्त नवरात्रि  02 फरवरी 2022 दिन बुधवार को शुरू होगी और गुप्त नवरात्रि का समापन 10 फरवरी 2022 को गुरुवार
के दिन होगा। घट स्थापना मुहूर्त प्रात:काल 07:09 से लेकर 08:31 बजे तक।

घटस्थापना मुहूर्त प्रतिपदा तिथि का प्रारम्भ – फरवरी 01, 2022 को सुबह 11:15 से होगा और प्रतिपदा तिथि 2 फरवरी को सुबह 08:31 बजे समाप्त होगी।

09 फरवरी बुधवार को अष्टमी पर संधि पूजा सुबह 08:06 मुझे प्रारंभ होगी और 8 बजकर 54 मिनट पर संधि पूजा समाप्त   होगी।

गुप्त नवरात्रि में माता की शक्ति पूजा एवं आराधना अधिक कठिन होती है। इस पूजन में अखंड जोत प्रज्वलित की जाती है। सुबह एवं संध्या समय में देवी की पूजा-अर्चना करनी होती है।

गुरमीत बेदी
gurmitbedi@gmail.com

Niyati Bhandari

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