गीता के ये श्लोक बदल सकते हैं आपका जीवन

Sunday, Jun 23, 2019 - 04:14 PM (IST)

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गीता में भगवान कृष्ण द्वारा दिया गया अर्जुन को ज्ञान आज भी लोगों के जीवन में काम आ रहा है। कहते हैं कि अगर व्यक्ति अपनी परेशानियों को दूर करना चाहता है तो आज ही गीता में बताए हुए कुछ श्लोक को अगर अपना ले तो जीवन सुधर सकता है। तो अगर आप भी चाहते हैं कि आपकी लाइफ में न रहे कोई दिक्कत तो आज ही उतार लें अपने जीवन में ये श्लोक। 

श्लोकः
कर्मण्येवाधिकारस्ते मा फलेषु कदाचन। 
मा कर्मफलहेतुर्भूर्मा ते सङ्गोऽस्त्वकर्मणि॥

इस श्लोक में श्रीकृष्ण ने अर्जुन से कहा है कि सिर्फ कर्म पर तुम्हारा अधिकार है, लेकिन कर्म के फल पर तुम्हारा अधिकार नहीं है। इसीलिए कर्म के फल की चिंता किसी को नहीं करनी चाहिए। इस श्लोक में कर्म का महत्व बताया गया है। हमें सिर्फ कर्म पर ध्यान देना चाहिए। यानि पूरी ईमानदारी के साथ अपना काम करें और गलत कामों से बचें।

नैनं छिद्रन्ति शस्त्राणि नैनं दहति पावक:।
न चैनं क्लेदयन्त्यापो न शोषयति मारुत॥

इसमें बताया गया है कि आत्मा को कोई शस्त्र काट नहीं सकता, आग जला नहीं सकती, पानी भिगो नहीं सकता, हवा सुखा नहीं सकती। श्रीकृष्ण ने अर्जुन को बताया कि आत्मा शरीर बदलती है, कभी मरती नहीं है। इसीलिए किसी की मृत्यु पर शोक नहीं करना चाहिए।

यदा यदा हि धर्मस्य ग्लानिर्भवति भारत:। 
अभ्युत्थानमधर्मस्य तदात्मानं सृजाम्यहम्॥

श्रीकृष्ण कहते हैं कि सृष्टि में जब-जब धर्म की हानि होती है यानि अधर्म बढ़ता है, तब-तब मैं धर्म की स्थापना के लिए अवतार लेता हूं। जो लोग अधर्म करते हैं, भगवान उनका संहार करते हैं, इसीलिए धर्म के अनुसार काम करना चाहिए।

Lata

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