संकटों से घिरे व्यक्ति के लिए सुरक्षा कवच है यह स्तोत्र, हर रोज करें इसका पाठ

Wednesday, Aug 17, 2022 - 07:29 AM (IST)

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गौरी पुत्र गणेश जी को विघ्नहर्ता और दुखों को हरने वाला देवता माना जाता है। गणों के स्वामी होने के कारण ही इनका एक नाम गणपति भी है। सभी देवी-देवताओं में सबसे पहले श्री गणेश की पूजा का विधान है। श्री गणेश जी को विनायक, विघ्नेश्वर, गणपति, लंबोदर के नाम से भी जाना जाता है। गणेश जी की पूजा करने से विद्या, धन, स्वास्थ्य और सभी इच्छाएं पूर्ण होती हैं। गणेश स्तोत्र के पाठ से सारी मुश्किलें दूर होकर सुख-समृद्धि आती है। संकटों से घिरे व्यक्ति के लिए सुरक्षा कवच है यह स्तोत्र, हर रोज करें इसका पाठ-



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प्रणम्य शिरसा देवं गौरी विनायकम् ।

भक्तावासं स्मेर नित्यमाय्ः कामार्थसिद्धये ॥1॥

प्रथमं वक्रतुडं च एकदंत द्वितीयकम् ।

तृतियं कृष्णपिंगात्क्षं गजववत्रं चतुर्थकम् ॥2॥

लंबोदरं पंचम च पष्ठं विकटमेव च ।

सप्तमं विघ्नराजेंद्रं धूम्रवर्ण तथाष्टमम् ॥3॥

नवमं भाल चंद्रं च दशमं तु विनायकम् ।

एकादशं गणपतिं द्वादशं तु गजानन् ॥4॥

द्वादशैतानि नामानि त्रिसंघ्यंयः पठेन्नरः ।

न च विघ्नभयं तस्य सर्वसिद्धिकरं प्रभो ॥5॥

विद्यार्थी लभते विद्यां धनार्थी लभते धनम् ।

पुत्रार्थी लभते पुत्रान्मो क्षार्थी लभते गतिम् ॥6॥

जपेद्णपतिस्तोत्रं षडिभर्मासैः फलं लभते ।

संवत्सरेण सिद्धिंच लभते नात्र संशयः ॥7॥

अष्टभ्यो ब्राह्मणे भ्यश्र्च लिखित्वा फलं लभते ।

तस्य विद्या भवेत्सर्वा गणेशस्य प्रसादतः ॥8॥

॥ इति श्री नारद पुराणे संकष्टनाशनं नाम श्री गणपति स्तोत्रं संपूर्णम् ॥

किसी भी काम में विघ्न बाधाएं आ रही हैं तो पढ़ें, गणेश जी के ये 10 नाम पूरे होंगे सभी काम

ॐ गणाधिपाय नमः
ॐ उमापुत्राय नमः
ॐ विघ्ननाशनाय नमः
ॐ विनायकाय नमः
ॐ ईशपुत्राय नमः
ॐ सर्वसिद्धिप्रदाय नमः
ॐ एकदन्ताय नमः
ॐ इभवक्त्राय नमः
ॐ मूषकवाहनाय नमः
ॐ कुमारगुरवे नमः

 

 

Niyati Bhandari

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