F Alphabet 2025 Horoscope: F नाम वालों वर्ष 2025 आपके लिए है बेहद खास

punjabkesari.in Thursday, Sep 05, 2024 - 06:00 AM (IST)

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2024 आधा बीत चुका है और सब लोग 2025 को जानने के लिए काफी उत्सुक हैं। बहुत सारे जातक ऐसे होते हैं जिन्हें अपनी राशि के बारे में नहीं पता। आज बात करेंगे कि F नाम वालों के लिए 2025 कैसा रहने वाला है और क्या है उनकी राशि ? 

जिनका नाम F से शुरू होता है उनकी राशि धनु बनती है। धनु राशि में तीन नक्षत्र आते हैं। उत्तराषाढ़ा नक्षत्र का पहला नक्षत्र धनु राशि में आता है। इसके तीसरे चरण से यदि हम नाम निकालते हैं तो अंग्रेजी का F शब्द निकलता है। सबसे पहले तो गुरु सप्तम भाव में बैठे हैं दृष्टि दे रहे हैं आपके राशि को। राशि के ऊपर केतु की दृष्टि भी जा रही है। आपकी राशि एक्टिव हो जाएगी। राशि के एक्टिव होने का मतलब है कि यह पॉजिटिव में एक्टिव है और आपको इसका बहुत लाभ होगा। लेकिन यह सारी चीजें होंगी 29 मई के बाद जब केतु लगन के राशि को दृष्टि डालेंगे। गुरु की दृष्टि भी राशि के ऊपर चली जाएगी। गुरु की दृष्टि ग्यारहवें पर पड़ रही है। ये आपकी इच्छाओं का भाव है। दसवें से कर्म देखा जाता है, सामाजिक प्रतिष्ठा, प्रमोशन, तरक्की सारी 11थ हाउस से आती है। गुरु की दृष्टि है तीसरे भाव में जब राहु बैठे हुए हैं वो भी दृष्टि दे रहे हैं यहां पर और ये भाव आपका एक्टिव हो गया।  गुरु की वहां पर दृष्टि जा रही है ये ट्रायंगल एक्टिवेट हो गया। 

2025 ऐसा साल है जब आप फैसिलिटी का भोग करेंगे। लाइफ में आप यात्राएं करेंगे आप बहुत सारी चीजें पार्टीज करेंगे, फन करेंगे। यह सारी चीजें आपकी लाइफ में होंगी और क्योंकि सप्तम भी एक्टिव है। सप्तम एक्टिव इसलिए है क्योंकि गुरु वहां पर आ गए हैं और राहु की दृष्टि सप्तम के ऊपर पड़ रही है। इसलिए वो भी एक्टिव है तो जिनकी शादी नहीं हुई है उनके लिए शादी का भी योग बनता है। यदि आपकी प्रमोशन पेंडिंग है तो प्रमोशन हो सकती है।  यहां पर सप्तम भाव एक्टिव हो जाएगा। ये आपके पार्टनर का भाव होता है यदि आपकी मैरिज हुई है तो पार्टनर के साथ तालमेल बेटर होगा। गुरु का गोचर सप्तम भाव में है। गुरु ब्लेसिंग के कारक हैं तो जो धनु राशि के सिंगल्स हैं उनके लिए शादी का रास्ता डेफिनेटली खुल जाएगा। 2025 में 15 मई के बाद यहां पर गुरु और राहु का जो स्थिति बनी है एक पॉजिटिव और एक नेगेटिव प्लेनेट वो पॉजिटिव काम करने का काम करेगा। जो लोग बिजनेस पार्टनरशिप में बिजनेस करना चाहते हैं उनके लिए समय अच्छा हो जाएगा। यह स्थिति आपके लिए थोड़ी सी बेटर हो जाएगी। बिजनेस में पार्टनरशिप में यदि आप बिजनेस करना चाहते हैं तो वो पार्टनरशिप का बिजनेस आप 15 मई के बाद कर सकते हैं। यह भाव आपका एक्टिव रहेगा यहां पर स्थिति आपके लिए थोड़ी सी बेटर हो जाएगी।

 राहु का गोचर आपके लिए बहुत अच्छा होने जा रहा है क्योंकि राहु तीसरे भाव में अच्छा फल करते हैं। जिस भाव में बैठते हैं उस भाव से शुभ फल करते हैं। दूसरे भाव में शनि की मकर राशि है, तीसरे भाव में शनि की कुंभ राशि है तो चूंकि यहां पर राहु बैठे हुए हैं। शनि की राशि में तो शनि के फल करेंगे। राहु आय भाव के साथ-साथ धन भाव के भी फल करेंगे। राहु पराक्रम भाव के भी फल करेंगे। राहु आपके भाई के साथ आपका तालमेल बेटर बनाने का भी काम करेंगे। यहां पर धनु राशि के जातकों को बहुत सारी चीजें जो है राहु और गुरु के उससे ब्लेसिंग से आपको बहुत सारी अच्छी चीजें देखने को मिलेंगी। लेकिन कुछ चीजें यहां पर थोड़ी सी परेशान करने वाली भी हैं। शनि जब आएंगे चौथे भाव में तो शनि की दशम दृष्टि आपके चंद्रमा के ऊपर आ जाती है। तो ऐसी स्थिति में  आपका मन थोड़ा सा आलसी हो जाता है। आपकी रूटीन थोड़ी सी डिस्टर्ब हो जाती है। मकान खरीद रहे हैं, प्रॉपर्टी खरीदने जा रहे हैं, गाड़ी खरीदने जा रहे हैं कोई भी नई एसेट बना रहे हैं वहां पर डिले हो सकता है। 

यहां पर कोई भी एसेट बनाएंगे तो वहां पर आपको थोड़ी सी दिक्कत होती हुई नजर आ सकती है। थोड़ा सा इस चीज से भी सावधान रहना कि किसी की गारंटी मत लीजिए, किसी को पैसा मत उधार दीजिए। शनि की दृष्टि छठे भाव पर है गुरु वहां से हट गए हैं लेकिन शनि की दृष्टि आपके छठे भाव के ऊपर आ गई है। छठा रोग, ऋण, शत्रु का भाव होता है। शनि की दृष्टि दशम के ऊपर जाएगी। दशम आपके कर्म का भाव होता है तो कारोबार में और नौकरी में थोड़ा सा चीजें जो है वो डिले हो सकती हैं। यदि आप नौकरी करते हैं तो आपको प्रोजेक्ट पूरा करने में परेशानी का सामना करना पड़ सकता है ,क्योंकि शनि आलस्य के कारक हैं, शनि डिले करवाते हैं। जहां पर शनि की दृष्टि जाती है वहां पर चीजें थोड़ी सी डिले के साथ होती हैं। जातक जो इस समय प्रोफेशनल लाइफ में है उनके ऊपर गुरु की महादशा या तो शुरू हुई है या आगे चल रही है।

Measures to strengthen Guru गुरु को मजबूत करने के उपाय
यदि आपका गुरु राहु-केतु एक्सेस में है, कुंडली में छठे भाव में है, लग्न कुंडली में अष्टम में है, 12वें में है तब आपको डेफिनेटली जो है अस्त स्थिति में है या वक्री है तो आपको गुरु की रेमेडी जरूर करनी चाहिए। 

फल का एक पेड़ जरूर लगाइए। ऐसा करने से आपके गुरु की पोजीशन लगातार स्ट्रांग होती जाएगी। 

येलो टोन  पहनें और यदि आप दूध  पीते हैं तो उसमें केसर या हल्दी जरूर डालिए। यह चीजें करने से आपको डेफिनेटली मदद मिलेगी। यदि आपकी कुंडली में गुरु की पोजीशन छठे, आठवें, 12वें में नहीं है गुरु केंद्र या त्रिकोण स्थान में है तो आप पुखराज धारण कर सकते हैं यह आपके लिए बहुत अच्छा है।

नरेश कुमार
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Content Editor

Prachi Sharma

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