Damodara Dwadashi: आज है दामोदर द्वादशी, मनोकामना पूरी करने के लिए करें पूजा

Monday, Aug 28, 2023 - 06:51 AM (IST)

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Damodara Dwadashi 2023: एकादशी और द्वादशी तिथियों पर श्री विष्णु पूजा का बहुत ही महत्व है। द्वादशी का पूजन भी एकादशी के पूजन की ही तरह भक्तों को भगवान का आर्शीवाद प्रदान करवाता है। सावन के महीने की दामोदर द्वादशी का काफी महत्व माना जाता है। इस दिन ब्राह्मणों को भोजन करवाने से पुण्य मिलता है। द्वादशी महीने में दो बार आती है पहली कृष्ण पक्ष में और दूसरी शुक्ल पक्ष में। सावन के महीने के शुक्ल पक्ष की द्वादशी को दामोदर द्वादशी के रुप में जाना जाता है।  


Dwadashi Puja Vidhi द्वादशी पूजा विधि
द्वादशी व्रत करने वालों को एकादशी यानी द्वादशी से एक दिन पहले के दिन से कुछ जरूरी नियमों को मानना पड़ता है। जो भी व्यक्ति दामोदर द्वादशी तिथि के दिन पूरी श्रद्धा और आस्था के साथ भगवान विष्णु की पूजा करते हैं, उनकी हर मनोकामना पूरी होती है। एकादशी के दिन से ही शुद्ध मन एवं संकल्प के साथ सात्विक जीवन शैली को अपनाया जाता है। इस दिन मांस-मछली, प्याज, मसूर की दाल और शहद जैसे खाद्य-पदार्थों का सेवन नहीं करना चाहिए। दशमी और द्वादशी दोनों दिन भोग-विलास से दूर रहें और ब्रह्मचर्य का पालन करें।

द्वादशी के दिन सुबह घर के मंदिर में दीपक जलाएं। फिर भगवान विष्णु का जल से अभिषेक करें। पुष्प चढ़ाएं। भोग में तुलसी दल डालकर अर्पित करें। द्वादशी व्रत कथा को करने के बाद विष्णु जी की आरती करें।

Dwadashi Puja Benefits द्वादशी पूजा लाभ
दामोदर द्वादशी का व्रत करने से अपार लाभ मिलता है। ऐसा माना जाता है कि श्रावण मास में भगवान विष्णु की पूजा सावन के महीने में भगवान शिव की पूजा करने के बराबर होती है। इस पावन दिन में भगवान शिव की पूजा करने के साथ माता लक्ष्मी की पूजा करने से साधक को सुख एवं समृद्धि की प्राप्ति होती है। इस दिन ब्राह्मणों को चावल, अनाज, फल और वस्त्र दान करना लाभकारी और शुभ माना जाता है। ऐसा भी कहा जाता है कि जो भक्त इस व्रत का पालन करते हैं, उन्हें मोक्ष की प्राप्ति होती है। श्रावण के महीने में इस व्रत का पालन करना बहुत ही महत्वपूर्ण है।

Niyati Bhandari

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