Apara Ekadashi 2020: यहां जानें एकादशी का मुहूर्त व खास नियम

Sunday, May 17, 2020 - 01:04 PM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ
18 मई ज्येष्ठ मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि दिन सोमवार को अपरा एकादशी का पर्व मनाया जाएगा। जैसे कि हिंदू धर्म से संबंध रखने वाले लोग जानते होंगे कि साल में हर जितनी भी एकादशी तिथियां आती हैं सब श्री हरि भगवान विष्णु जी से जुड़ी हैं तथा इनका अधिक महत्व है। तो वहीं अपरा एकादशी को लेकर मान्यता प्रचलित है कि इस दिन व्रत रखने से जातक द्वारा किए जाने-अनजाने में किए गए पापों से मुक्ति मिल जाती है। कहा ये भी जाता है कि एकादशी का व्रत करने से मानव को प्रेत योनि के कष्ट नहीं भुगतने पड़ते, इस व्रत का सुख भोगकर इंसान भवसागर भी तर जाता है। इसके अलावा इस व्रत से जुड़ी कई मान्यताएं व नियम आदि धार्मिक तथा ज्योतिष शास्त्र में वर्णित हैं। तो आइए जानते हैं इसके बारे में साथ ही जानेंगे अपरा एकादशी का शुभ मुहूर्त व पूजन विधि- 

अपरा एकादशी 2020 : पूजा विधि और शुभ मुहूर्त-

एकादशी तिथि प्रारम्भ - मई 17, 2020 को 12:42 बजे
एकादशी तिथि समाप्त - मई 18, 2020 को 15:08 बजे

19 मई को, पारण (व्रत तोड़ने का) समय - 05:55 से 08:26
पारण तिथि के दिन द्वादशी समाप्त होने का समय - 17:31


धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक अपरा एकादशी के दिन श्री विष्णु यंत्र की विशेष पूजा आराधना करनी चाहिए। तो वहीं इस दिन ग्रह पीड़ा, वास्तुदोष और पारिवारिक कलह से छुटकारा पाने के लिए अनेक उपाय किए जाते हैं। 

आइए जानते हैं इसके व्रती को इस दौरान किन नियमों का पालन करना चाहिए- 
जो लोग एकादशी का व्रत रखते हैं उन्हें दशमी तिथि के दिन सूर्यास्त के बाद भोजन ग्रहण नहीं करना चाहिए। सुबह सूर्योदय से पहले पवित्र नदी या गंगाजल मिले जल से स्नान करके धुले वस्त्रों को पहनना चाहिए। 

कैसे करें पूजा-
सबसे पहले श्री हरि का ध्यान करते हुए पूर्व दिशा की ओर मुख करके कुशा के आसन पर बैठकर, पीले कपड़े के आसन पर भगवान विष्णु की फोटो को स्थापित करें, फिर धूप दीप जलाएं तथा कलश स्थापित कर षोडशोपचार विधि से भगवान विष्णु का पूजन करें। 

अपरा एकादशी के दिन निराहार उपवास रहकर शाम के समय अपरा एकादशी व्रत कथा सुनें या पढ़ें। मान्यताओं के अनुसार सूर्यास्त के बाद भगवान विष्णु की प्रतिमा के सामने एक गाय के घी का दीपक जलाकर फलाहार लिया जा सकता है। 

इसके अलावा श्री हरि को मनाने का सबसे आसान तरीका है, एकादशी के दिन घर में धन की बरकत के लिए तुलसी की माला से पीले आसन पर बैठकर "ॐ नमो भगवते वासुदेवाय" मंत्र का 1100 बार जप करें। 

Jyoti

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