Akshaya Tritiya 2021: रातों रात बनना है मालामाल, शुभ मुहूर्त में करें पूजा और दान

Friday, May 14, 2021 - 06:39 AM (IST)

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2021 Akshaya Tritiya: ज्योतिषीय दृष्टि से चार अबूझ व स्वयं सिद्ध मुहूर्त हैं जिनमें किया गया कोई भी कार्य चिरस्थाई एवं शुभ माना जाता है। चैत्र शुक्ल प्रतिपदा, अक्षय तृतीया, दशहरा तथा दीवाली। अक्षय का अर्थ है जिसका क्षय न हो। यह तिथि भगवान परशुराम जी का जन्मदिन होने के कारण परशुराम तिथि और चिरंजीवी तिथि भी कहलाती है। त्रेता युग का आरंभ भी इसी तिथि से माना गया है, अत: इसे युगादितिथि भी कहा गया है। परशुराम जी के अलावा ब्रह्मा जी के पुत्र अक्षय कुमार का जन्म भी इसी दिन माना जाता है। यह एक सर्वसिद्ध मुहूर्त माना जाता है, जिस दिन पंचाग देखे बगैर कोई भी मांगलिक शुभ कार्य किया जा सकता है। नए व्यवसाय या नई संस्था की नींव रखी जा सकती है परंतु देश काल परिस्थिति के अनुसार किसी भी पर्व, त्यौहार या धार्मिक अनुष्ठान को मनाना ही तर्कसंगत होता है। 

Shubh muhurat शुभ मुहूर्त
तृतीया तिथि का आरंभ :
14 मई, 2021 को प्रात: 05 बजकर 38 मिनट से।
समापन : 15 मई, 2021 को प्रात: 07 बजकर 59 मिनट तक।

Akshaya Tritiya puja muhurat: अक्षय तृतीया पूजा मुहूर्त : प्रात: 05 बजकर 38 मिनट से दोपहर 12 बजकर 18 मिनट तक

What should we not do on Akshaya Tritiya क्या क्या करें?
यह अबूझ मुहूर्त सगाई एवं विवाह के लिए सर्वोत्तम है। इसके अतिरिक्त दीर्घकालिक निवेश जैसे प्लाट, फ्लैट, स्थाई प्रापर्टी, बीमा पालिसी, शेयर, म्युचल फंड, आभूषण, सोना, चांदी, वाहन क्रय, नौकरी के लिए आवेदन, नया व्यवसाय आरंभ, मकान की नींव आदि भवन क्रय के लिए एग्रीमैंट, विदेश यात्रा, नया व्यापार आरंभ आदि के लिए चिरंजीवी दिन है।

Things to donate on Akha Teej अक्षय तृतीया पर दान पुण्य
इस बार ग्रहों के संयोग को देखते हुए अक्षय तृतीया के अवसर पर जल से भरा हुआ घड़ा, शक्कर, गुड़, बर्फी, सफेद वस्त्र, नमक, शरबत, चावल, चांदी का दान करना बेहद शुभ फलदायी रहेगा। अक्षय तृतीया के दिन धार्मिक पुस्तकों और फलों का दान भी पुण्य की वृद्धि करने वाला होगा।

Akshaya tritiya puja vidhi at home अक्षय तृतीया पर कैसे करें पूजा?
इस दिन लक्ष्मी जी की पूजा का विशेष महत्व है, जो आप बहुत ही साधारण विधि से कर सकते हैं। महिलाएं परिवार की सुख-समृद्धि व धनागमन हेतु व्रत रख सकती हैं। इस दिन लक्ष्मी जी की आराधना का सर्वाधिक महत्व है। प्रात: स्नान करके पुरुष सफेद तथा महिलाएं लाल वस्त्र पहन कर, लक्ष्मी जी के चित्र या मूर्ति के आगे बैठ कर इन मंत्रों में से किसी एक या सभी की एक एक माला कर सकते हैं। कमल गट्टे या स्फटिक की ही माला का प्रयोग करें।

Akshaya tritiya puja mantra ओम् श्रीं श्रियै नम: !!
हृीं ऐश्वर्य श्रीं धन धान्याधिपत्यै ऐं पूर्णत्व लक्ष्मी सिद्धयै नम:!!
ओम् नमो हृीं श्रीं क्रीं श्रीं क्लीं श्रीं लक्ष्मी मम गृहे धनं चिन्ता दूरं करोति स्वाहा!!

पूजन के बाद खीर का प्रसाद अवश्य बांटना चाहिए।

What should we give to Akshaya Tritiya वर्तमान संदर्भ में कोरोना काल के सभी नियमों का पालन करते हुए, पाठ-पूजा घर में ही करें। अक्षय तृतीया पर दान का भी बहुत महत्व है और आज परंपरागत दान की वस्तुएं बदल गई हैं। आप जरूरतमंदों को दवाइयां, वैक्सीन,ऑक्सीजन,पी.पी.ई. किट, मास्क, सैनेटाइजर, कोरोना पीड़ित परिवारों को फूड पैकेट, श्मशान में लकडिय़ां आदि भी दे सकते हैं।

Niyati Bhandari

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