हॉस्टलों में पानी की टंकियों की हालत खस्ता, साफ-सफाई का बुरा हाल
Thursday, Dec 06, 2018 - 08:53 AM (IST)
चंडीगढ़(रश्मि): पंजाब यूनिवर्सिटी के हॉस्टलों से पी.यू. को हर वर्ष करोड़ों आय होती है। पी.यू. बजट के तहत इस आय के पैसों में से लाखों हॉस्टलों पर खर्चा किया जाता है। शेष पैसे की एफ.डी. बनवा ली जाती है। इस एफ.डी. से हॉस्टलों को ब्याज के तौर पर आय भी होती है। यह आय साल दर साल बढ़ती रहती है।
पी.यू. को हर साल हॉस्टलों को करीब 8 से 10 करोड़ आय होती है। इसमें से करीब 5 से 10 लाख फर्नीचर की मैंटेनेंस के लिए बजट रखा जाता है। मैटेंनैस के लिए भी अलग से बजट रखा जाता है। इतना कुछ होने के बावजूद पी.यू. के हॉस्टलों की खस्ताहाल है। इसके मैंटेनेंस पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है।
बता दें कि पी.यू.को यह आय स्टूडैंट्स से लिए जाने वाले किराए, पानी चार्जेज, सैलीब्रेशन फंड, रूटीन हॉस्टल मैंटेनेंस चार्जेस व लिफ्ट चार्जेस आदि से होती है। पी.यू. के हॅास्टलों से होने वाली आय में से वार्डन हानरेनियम, स्टाफ का वेतन, पी.एफ., हॉस्टल के बिजली बिल, फर्नीचर, मैंटेनेंस, रैजीडैंट वैलफेयर एक्सपैंडीचर, ऑफिस एवं जनरल खर्चे इसी आय से किए जाते हैं।
19 हॉस्टल हैं पी.यू. में
पी.यू. में गल्र्स के 10 और बॉयज के 8 हॉस्टल हैं। इसके अलावा इंटरनैशनल हॉस्टल औरवर्किंग वूमैन का भी एक हॅास्टल है। प्रत्येक हॉस्टल में करीब 400 स्टूडैंट्स हैं। बता दें कि इन हॉस्टलों की आय को पहले बजट में शामिल नहीं किया जाता था, लेकिन अब एम.एच.आर.डी. के निर्देशानुसार इन हॉस्टलों को बजट में शामिल किया जा रहा है। पी.यू. इस समय आर्थिक संकट से जूझ रहा है। फिर भी पी.यू. में कई जगहों पर रेनोवेशन का काम जोरों पर चल रहा है। हॉस्टलों के पास मौजूदा फंड होने के बावजूद हॉस्टलों की मैंटेनेंस पर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है। हॉस्टलों की हालत सुधारने के लिए कई बार कमेटी बनाई गई है। मौजूदा हॉस्टलों में कई पानी की टंकियों की हालत बेहद खस्ता हैं। साफ-सफाई का बुरा हाल है। यहां लगे अधिकतर पानी के वाटर कूलर की हालत बदतर है। इस संबंधी स्टूडैंट्स ने कई बार गंदे बॉथरूम, साफ-सफाई ठीक से न होने की शिकायत भी कर चुके हैं। कैंपस में पानी की कमी और बिजली के कट से स्टूडैंट्स परेशान हैं।
एस्टीमेट खर्च
हॉस्टल (गर्ल) 2018-19 2017-18 2016 -17
माता गुजरी हॉल 65.50 लाख 62 लाख 61 लाख
लक्षमी बाई रानी हॉल 66.50 लाख 62 लाख 62 लाख
कस्तुरबा हॉल 77.50 लाख 65 लाख 73 लाख
सावित्री भाई फुलेहॉल 59.50 लाख 67 लाख 55 लाख
इंटरनैशनल हॉस्टल 1.23 करोड़ 96 लाख 1.25 करोड़
नीरजा भनोट 1.25 करोड़ - -
हॉस्टल (ब्वॉयज)
भटनागर हॉल-3 69.50 लाख 66 लाख 65 लाख
स्वामी विवेकानंद हॉल 53.50 लाख 50 लाख 45 लाख
बाबा बंदा सिंह बहादुर 43. लाख, 5 हजार 65 लाख 36 लाख
हॉस्टल-10 की आय औरों से ज्यादा
इन फंड के अलावा स्टूडैंट्स से डिवैल्पमैंट फंड अलग से लिए जाते हैं। गर्ल हॉस्टल नंबर-10 इसी वर्ष से खुला है। इसकी आय अन्य हॉस्टलों से ज्यादा है। हालांकि बजट दिखायागया है कि जितनी आय पी.यू. हॉस्टलों की है, उससे कहीं ज्यादा खर्चा हॉस्टलों पर हो जाता है। मुताबिक हॉस्टलों की पहले से करोड़ों की काफी एफ.डी. बनी हुई है।