पिंजौर स्वास्थ्य केंद्र में डाक्टरों की कमी, मरीजों में रोष

punjabkesari.in Wednesday, Jan 04, 2017 - 02:23 PM (IST)

पिंजौर(रावत) : पिंजौर स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र आज खुद बीमारी की हालत से गुजर रहा है। इस स्वास्थ्य केंद्र में करीब 70 से 80 गांवों के मरीज आते हैं। वहीं स्वास्थ्य केंद्र में डॉक्टरों की कमी है। यदि ये एक डॉक्टर भी छुट्टी पर चला जाए तो मरीज केवल राम भरोसे हैं। रात के समय में भी यदि कोई मरीज आपातकालीन स्थिति में यहां आ जाए तो उसे भी प्राथमिक उपचार के लिए कालका या पंचकूला अस्पताल रैफर कर दिया जाता है।

 

डॉक्टर एक और मरीज 200 :
जब आज पंजाब केसरी की टीम ने दौरा किया तो पाया कि दन्त चिकित्सक को छोड़ कर केवल एक लेडी डॉक्टर मौजूद है जिसके पास करीब 200 मरीज से अधिक की भीड़ थी। लाइन में खड़े मरीजों जरनैल सिंह ईश्वरनगर, श्याम सिंह गांव जोल्हुवाल, रामचरण पिंजोर, महेन्द्र मंगनिवाला, शिबोध गांव धमाला, भुरामोहोम्मद गांव बाजेवाला, कुलदीप गांव मंगनिवाला, नमन, प्रयंका शर्मा, सुषमा, दिवांशु, सुरेश आदि बताया सुबह से करीब 3 घंटे से लाइन खड़े हैं और परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने बताया कि उनके पास इतने पैसे नहीं हैं कि वे पंचकूला या कालका अपना इलाज करवा सकें। 

 

बढ़ाया जाए स्टाफ और सुविधाएं :
स्टाफ की कमी के चलते लोगों में रोष व्याप्त है। आज भी कुछ मरीजों द्वारा डॉक्टरों के साथ मामूली कहासुनी भी हो गई थी। लोगों ने मांग की है कि ये स्वास्थ केंद्र पिंजौर के बीच कालका पिंजौर बद्दी टी-प्वाइंट पर स्थित है। जिस कारण यह पर मरीजों की संख्या अधिक है। लोगों ने प्रशासन से मांग की है कि यहा पर डॉक्टरों का स्टाफ बढ़ाया जाए और यह पर मिलने वाली सुविधाओं में भी बढ़ौतरी करे। 

 

क्या कहना है डॉक्टरों का :
जब डॉक्टर रनजोत से बात की गई तो उन्होंने बताया कि इस प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में दन्त चिकित्सक को छोड़ सिर्फ दो डॉक्टर की ड्यूटी है। कालका सरकारी अस्पताल में स्टाफ की कमी से इन दो में से भी किसी एक को कालका भी जाकर ड्यूटी देनी पड़ती है। उनके अनुसार यहां मौजूद डॉक्टरों को दो रात और एक दिन की ड्यूटी भी जरूरी है लेकिन स्टाफ की कमी से उन्हें चार-चार दिन तक ड्यूटी पर रहना पड़ता है। 


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