पीजीआई की डाक्टर से 47 लाख ठगने वाला नाइजीरियन गिरोह के छह सदस्य दिल्ली से काबू
punjabkesari.in Sunday, Jan 29, 2023 - 06:03 PM (IST)

चंडीगढ़,(सुशील राज):मेट्रोमोनियल साइट्स पर नीदरलैड़ के डाक्टर का प्रोफाइल डालकर पीजीआई की महिला डाक्टर से 47 लाख 22 हजार 600 रुपये की ठगी करने वाले गिरोह के महिला समेत छह सदस्यों को साइबर सेल की टीम ने दिल्ली से गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार हुए आरोपियों की पहचान गिरोह के सरगना नाइजीरियन उबेसिनेची कैली अनागो, जोशुआ चीमा कालो, नाइजीरियन प्रिंस चिनेचेरम ओनहो,गुनिया निवासी द्वारका में रह म्यूजिशियन पास्कल गुइलावोगुई, ग्रेटर नोएडा में रह रहे नाइजीरियन म्यूजिशयन क्रिश्चियन एंटोनी उर्फ क्रिस और नाइजीरियन आरोपी प्रिंस की भारतीय पत्नी नॉर्थ दिल्ली की शालिनी के रूप में हुई। पुलिस ने बताया कि कैली, जोशुआ चीमा कालो कपड़े का बिजनेस, शालिनी और प्रिंस रेस्टोरेंट का बिजनेस, पास्कल और क्रिश्चियन एंटोनी म्यूजिशयन है।
साइबर सेल की टीम ने आरोपियों की निशानदेही पर से 25 मोबाइल फोन, 2 लैपटॉप, 3 मोडम और 1 लैंडलाइन फोन बरामद किया है। पुलिस ने पकड़े गए आरोपियों को अदालत में पेश किया। अदालत ने प्रिंस चिनेचेरम ओनहो, पास्कल गुइलावोगुइ, जोशुआ चीमा कालो और शालिनी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया। जबकि गिरोह के सरगना उबेसिनेची कैली अनागो और क्रिश्चियन एंटोनी उर्फ क्रिस को 31 जनवरी तक पुलिस रिमांड पर भेज दिया है।
साइबर सेल के एसपी केतन बंसल ने बताया कि पीजीआई की महिला डाक्टर एक क्रिश्चियन मेट्रोमोनियल एप के जरिए डॉ क्रिस्टोफर के संपर्क में आई थी। डॉ. क्रिस्टोफर ने दावा किया था कि वह एक डॉक्टर है और एम्स्टर्डम, नीदरलैंड में डॉक्टर है। दोनों ने आपस में बातचीत शुरू कर दी और दोस्ताना हो गए। दोनों ने शादी का फैसला लिया। शिकायतकर्ता ने मान लिया कि डॉ. क्रिस्टोफर एक अच्छा आदमी है। जनवरी 2023 में डॉ. क्रिस्टोफर ने शिकायतकर्ता को कहा कि उसने मुंबई एयरपोर्ट पर लैंड किया है और उसके पास 2.80 लाख रुपए यूरो का डिमांड ड्राफ्ट है। एयरपोर्ट स्टाफ ने तय कस्टम चार्ज में इतनी रकम का डिमांड ड्राफ्ट जारी नहीं किया है। इसके बाद शिकायतकर्ता को एक अन्य नंबर से कॉल आई और व्यक्ति ने खुद को एयरपोर्ट कर्मी बताया। उसने कहा कि यह रकम जारी करवाने के लिए उसे कस्टम चार्ज और करेंसी कन्वर्सन चार्ज आदि भरना पड़ेगा। महिला डाक्टर ने 47,22,600 रुपए अपने बैंक खाते से बताए गए विभिन्न बैंक खातों में ट्रांसफर किए। इसके लिए शिकायतकर्ता ने बैंकों और अपने जानकारों से लोन भी लिया। इसके बाद उसे पता चला कि उसके साथ ठगी हुई है। साइबर सेल ने मामले में तुंरत एफआईआर दर्ज की। एसपी केतन बसंल ने गिरोह को पकडऩे के लिए साइबर सेल इंचार्ज रणजीत सिंह के नेतृत्व में स्पेशल टीम बनाई थी।
दिल्ली से हुई गिरफ्तारी
साइबर सेल की टीम ने मामले की जांच करते हुए गिरोह को पकडऩे के लिए दिल्ली में छापा मारा। छापे के दौरान पुलिस ने प्रिंस और पास्कल को गिरफ्तार किया। इनके पास दो मोबाइल फोन बरामद हुए। रेड के दौरान आरोपियों ने सबूत छुपाने के लिए मोबाइल तोड़ने का प्रयास किया था। इसी नंबर से धोखाधड़ी को अंजाम दिया गया था। पुलिस ने इनका रिमांड लिया और जानकारी जुटा नोएडा में रेड कर कैली और जोशुआ को दबोचा। कैली ने रिमांड के दौरान बताया कि उसने एम्स्टर्डम से मुंबई की फर्जी एयर टिकट शिकायतकर्ता को भेजी थी। यह लोगों को अपने इमोशंस में फंसा कर उनके साथ धोखाधड़ी करते थे। आरोपी कहते थे कि वह विदेश से आ रहे हैं और महंगे गिफ्ट उनके लिए लाए हैं। इसके बाद कस्टम द्वारा एयरपोर्ट पर गिफ्ट आदि पास करवाने के नाम पर भारतीय करेंसी देने की मांग कर धोखाधड़ी करते थे।
प्रिंस एनडीपीएस केस में जमानत पर था
द्वारका, दिल्ली में प्रिंस के खिलाफ एनडीपीएस का एक केस दर्ज है और वह उसमें अंतरिम जमानत पर था। पुलिस के मुताबिक प्रिंस और पास्कल मुख्य आरोपी कैली के कहने पर काम करते थे। वह उसकी अपराध में मदद करते थे। प्रिंस, उसकी पत्नी और पास्कल एक ही घर में रहते थे। आरोपी क्रिश्चियन एंटोनी ने फर्जीवाड़े के लिए फर्जी बैंक अकाउंट बनवाए थे। यह उसने आगे कैली को दिए थे। पुलिस जांच में सामने आया कि क्रिश्चियन एंटोनी के खिलाफ इंदिरा गांधी एयरपोर्ट पुलिस स्टेशन में 5 सितंबर, 2020 को धोखाधड़ी, जालसाज़ी, आपराधिक साजिश रचने और फॉरेन एक्ट की धारा 14 के तहत केस दर्ज हुआ था। वह जमानत पर था। वहीं शालिनी ने कैली की बहन और मां का रोल निभाया था ताकि वह भावनात्मक लाभ हासिल कर सके और उसने धोखाधड़ी के अपराध में शामिल हुई। उसने सबूत मिटाने के लिए मोबाइल तोड़ने में प्रिंस और पास्कल की मदद की थी।
वीजा खत्म होने के बाद भी इंडिया में
पास्कल को छोड़ चार आरोपियों वीजा अवधि खत्म होने के बावजूद इंडिया में रह रहे थे। कैली से पूछताछ के आधार पर रेड कर क्रिश्चियन एंटोनी को पकड़ा गया। उसने फर्जीवाड़े की रकम इकट्ठा करने के लिए बैंक खाते बनवाए थे। इसके साथ ही शालिनी को पकड़ा गया।