फ्लाईओवर : ''सिग्नल फ्री इंटरचेंज'' का प्रस्ताव पूरा होता नहीं दे रहा दिखाई, अप्रूवल मिलनी मुश्किल

punjabkesari.in Friday, Feb 07, 2020 - 10:21 AM (IST)

चंडीगढ़(राजिंद्र) : ट्रिब्यून चौक पर लगने वाले जाम से निजात दिलाने के लिए शहर के स्ट्रक्चरल इंजीनियर तरुण माथुर की तरफ से दिया गया विकल्प ‘सिग्नल फ्री इंटरचेंज’ का प्रस्ताव भी पूरा होता दिखाई नहीं दे रहा है, क्योंकि कंसल्टैंट ने इस प्रस्ताव पर सवाल उठाए हैं। प्रस्ताव पर वीरवार को यू.टी. सचिवालय में विस्तार से चर्चा की गई। इसमें एन.एच.ए.आई. और प्रशासन की तरफ से रखी गई कंसल्टैंट कंपनी स्टूप ने कई आपत्तियां दर्ज करवाई हैं। 

मोड़ काफी तीखे हैं :
इन दोनों की तरफ से सवाल उठाए गए हैं, उसके तहत सिग्नल फ्री इंटरचेंज मॉडल के मोड़ काफी तीखे हैं, जो नैशनल हाईवे के मानदंड को पूरा नहीं करते हैं। चंडीगढ़ प्रशासन की टैक्नीकल कमेटी के सामने तरुण माथुर ने अपने सिग्नल फ्री इंटरचेंज को लेकर एक प्रैजैंटेशन दी, जिसको कंसल्टैंट कंपनी स्टूप व सभी अधिकारियों की तरफ से चैक किया गया। 

कंपनी की तरफ से कहा गया कि तरुण माथुर की तरफ से बनाए गए प्रस्ताव में इंटरचेंज के मोड़ काफी तीखे हैं। इनके दायरे को दोगुना करने की जरूरत है। इस पर तरुण माथुर ले कहा कि ट्रिब्यून चौक से जाने वाली सड़कें शहर के अंदर जाती हैं। ऐसे में यह नैशनल हाईवे का मामला नहीं है। उनके द्वारा बनाए गए प्रस्ताव में मोड़  मटका चौक और आई.एस.बी.टी.-17 के चौक के जितना ही है, बल्कि उससे ज्यादा ही है। 

मोड़ काफी तीखे हैं :
इन दोनों की तरफ से सवाल उठाए गए हैं, उसके तहत सिग्नल फ्री इंटरचेंज मॉडल के मोड़ काफी तीखे हैं, जो नैशनल हाईवे के मानदंड को पूरा नहीं करते हैं। चंडीगढ़ प्रशासन की टैक्नीकल कमेटी के सामने तरुण माथुर ने अपने सिग्नल फ्री इंटरचेंज को लेकर एक प्रैजैंटेशन दी, जिसको कंसल्टैंट कंपनी स्टूप व सभी अधिकारियों की तरफ  से चैक किया गया। 

कंपनी की तरफ से कहा गया कि तरुण माथुर की तरफ  से बनाए गए प्रस्ताव में इंटरचेंज के मोड़ काफी तीखे हैं। इनके दायरे को दोगुना करने की जरूरत है। इस पर तरुण माथुर ले कहा कि ट्रिब्यून चौक से जाने वाली सड़कें शहर के अंदर जाती हैं। ऐसे में यह नैशनल हाईवे का मामला नहीं है। उनके द्वारा बनाए गए प्रस्ताव में मोड़ मटका चौक और आई.एस.बी.टी.-17 के चौक के जितना ही है, बल्कि उससे ज्यादा ही है। 

ज्यादा भूमि अधिग्रहण करने की जरूरत पड़ेगी :
प्रशासन ने टिब्यून फ्लाईओवर के लिए एक कंसल्टैंट कंपनी को हायर किया है, जिसका नाम स्टूप है। चर्चा की गई कि अगर मोड़ को चौड़ा किया जाता है तो प्रशासन को प्रोजैक्ट के लिए ज्यादा भूमि अधिग्रहण करने की जरूरत पड़ेगी क्योंकि क्षेत्र दोगुना हो जाएगा। वहीं वर्तमान प्रोजैक्ट में जमीन को एक्वायर करने की जरूरत नहीं है। बैठक में प्रशासन का भी यही रुख रहा कि नैशनल हाईवे के नियमों के साथ समझौता नहीं कर सकते हैं। 

सर्वे रिपोर्ट देने से किया इन्कार, हुई बहस :
बैठक में ट्रिब्यून चौक पर चंडीगढ़ प्रशासन के सर्वे की रिपोर्ट मांगने को लेकर भी काफी बहसबाजी हुई। इंजीनियर तरुण माथुर ने प्रशासन से सर्वे रिपोर्ट मांगी, जिसे इंजीनियरिंग विभाग के अधिकारियों ने देने से मना कर दिया। 

माथुर का तर्क रहा कि अगर उन्हें सर्वे रिपोर्ट दी जाती है तो उनके प्रोजैक्ट को और बेहतर बनाने में मदद मिलेगी जबकि इंजीनियरिंग विभाग का कहना था कि वह प्रशासन की रिपोर्ट को सार्वजनिक नहीं कर सकते हैं। हालांकि इसको लेकर भी अधिकारियों में दो मत रहे। कुछ अधिकारियों का कहना था कि सर्वे रिपोर्ट देने से किसी को कोई नुक्सान नहीं है, जबकि इंजीनियरिंग विभाग के अधिकारी सर्वे रिपोर्ट नहीं देने पर अड़े रहे।

नाराज होकर बैठक से चले गए पंजाब के चीफ इंजीनियर :
बैठक में कई मुद्दों को लेकर माहौल काफी गर्म रहा। तरुण माथुर ने पूरे बैठक की वीडियोग्राफी कराने की मांग की, जिसे प्रशासन के अधिकारियों की तरफ से खारिज कर दिया गया। उन्होंने कहा कि यह बैठक काफी संवेदनशील है, ऐसे में इसकी वीडियोग्राफी नहीं कराई जा सकती। 

इसको लेकर भी अधिकारियों से साथ काफी बहसबाजी हुई। इससे नाराज होकर पंजाब के चीफ इंजीनियर बैठक से चले गए। इसके बाद वह दोबारा बैठक में शामिल ही नहीं हुए। कुछ देर बाद प्रशासन के चीफ  इंजीनियर मुकेश आनंद भी फोन आने की बात कह कर बैठक से चले गए थे।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Priyanka rana

Recommended News

Related News