काम की खबर: रेगुलर ड्राइविंग टेस्ट में इन बातों का रखें ध्यान, जल्दी बनेगा डी.एल.

Saturday, May 06, 2017 - 12:59 PM (IST)

चंडीगढ़: आर.एल.ए. में रोजाना 200 से 250 से ज्यादा लोग लर्निंग लाइसेंस बनवाने के लिए आते हैं। यहां कंप्यूटर टेस्ट क्लीयर कर 1 माह के बाद रेगुलर टेस्ट के लिए अपीयर होते हैं। रेगुलर ड्राइविंग लाइसेंस के लिए चिल्ड्रन ट्रैफिक पार्क सेक्टर-23 में व्हीकल चला टेस्ट क्लीयर करना होता है जिसके बाद ही आपको रेगुलर लाइसेंस पाते हैं। बता दें कि यहां भी हर रोज 150 से 200 लोग अपना रेगुलर ड्राइविंग लाइसेंस बनाने के लिए ड्राइविंग टेस्ट देने के लिए आते हैं। लेकिन यहां आए हुए लोगों में से आधे लोग ही यह टेस्ट पास कर पाते हैं और जो लोग टेस्ट क्लीयर नहीं कर पाते उन्हें कुछ दिनों बाद दोबारा बुलाया जाता है। टेस्ट में फेल होने के बहुत से कारण होते हैं जिन्हें लोग नजर अंदाज करते हैं जिस कारण फेल हो जाते हैं। 

हम आपको बताते हैं कि कैसे आप रेगुलर ड्राइविंग लाइसेंस टेस्ट पास कर सकेंगे। जहां मोटर व्हीकल इंस्पेक्टर बैठा होता है वहां से कैंडिडेट आगे तो सही तरीके से गाड़ी निकालकर जाते हैं, लेकिन जब गाड़ी बैक करने की बारी आती है तो ड्राइविंग में फरफेक्ट लोग भी फेल हो जाते हैं। यहां दो बैरिगेट्स के बीच से गाड़ी बैक करनी होती है। जिसके बाद ही आगे जाने के लिए कहा जाता है। लेकिन 100 में से 40-50 लोग तो यहीं पर फेल हो जाते हैं। 

इन बातों का रखें ध्यान, न करें गलती...

1.ज्यादातर लोग गाड़ी बैक करते हुए बैरिगेट्स में गाड़ी लगा देते हैं, जिस कारण डी.एल टेस्ट में फेल होते हैं। 
2.जहां पर ब्रिज बना हुआ है वहां पर भी तीसरे या चौथे गेयर में गाड़ी चढ़ाने की कोशिश करते हैं जिससे गाड़ी बीच में ही रूक जाती है। यदि आप पहले या दूसरे गेयर में गाड़ी चलाते हैं तो आसानी से ब्रिज क्रॉस कर सकते हैं। 
3.राइट साइड या लेफ्ट साइड मुड़ते हुए इंडीगेटर्स नहीं दे पाते, इस बात का खास ध्यान रखना पड़ता है। 
4.यहां एक गोल चक्कर बना हुआ है जिसको कई बार गलत तरफ से गाड़ी घूमा कर पूरा करते हैं। 
5. ट्रैक में इतनी तेज गाड़ी ले जाते हैं कि स्पीड लिमिट जो मेन रोड की होती है उससे भी तेज गाड़ी भगा ले जाते हैं।
6.आगे ट्रैक जहां पर ब्रिज की तरफ जाता है तो तीखा मोड़ बनाया गया है लेकिन यहां से स्पीड से गाड़ी ले जाते हैं तो ट्रैक से नीचे गाड़ी चली जाती है।

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