15 अक्तूबर से रैंट पर हायर करें साइकिल

punjabkesari.in Sunday, Oct 04, 2020 - 09:02 PM (IST)

-इंडिया साइकिल फॉर चेंज चैलेंजÓ के तहत उपलब्ध करवाई जाएंगी 200 साइकिलें 
-चंडीगढ़ स्मार्ट सिटी लि. को मिली 117 साइकिलों की डिलीवरी 

चंडीगढ़  (राजिंद्र शर्मा): 15 अक्तूबर से शहरवासी प्रमुख स्थानों पर एक से दूसरी जगह जाने के लिए साइकिल का इस्तेमाल कर सकेंगे। इसके लिए उन्हें मामूली किराया देना होगा। चंडीगढ़ स्मार्ट सिटी लिमिटेड को 117 साइकिल की डिलीवरी मिल गई है और बाकी साइकिल भी सोमवार तक पहुंच जाएंगी। इनमें ई बाइक्स भी शामिल हैं। ये साइकिल स्मार्ट सिटी पब्लिक साइकिल शेयरिंग प्रोजैक्ट का हिस्सा नहीं होंगी, बल्कि ये 'इंडिया साइकिल फॉर चेंज चेलैंजÓ के तहत प्रदान करवाई जा रही हैं। 


लोकेशन भी तय कर ली
चंडीगढ़ उन शहरों में शामिल है, जिसने 'इंडिया साइकिल फॉर चेंज चेलैंजÓ के साथ खुद को रजिस्टर्ड किया है। ये स्मार्ट सिटी मिशन, मिनिस्ट्री ऑफ हाऊसिंग एंड अर्बन अफेयर्स की एक पहल है। इसका मकसद शहरों को साइकिल फ्रैंडली बनाने के प्रयासों को बढ़ावा देना और सपोर्ट करना है। इस संबंध में चंडीगढ़ स्मार्ट लिमिटेड के सी.जी.एम. एन.पी. शर्मा ने बताया कि उनके पास 117 साईकिल पहुंच गई हैं और बाकी आज आ जाएंगी। 15 अक्तूबर से प्रोजैक्ट को शुरू कर देंगे। इसके लिए लोकेशन भी तय कर ली गई हैं। उन लोकेशन को इसके लिए चुना गया हैं, जहां पर लोगों का अधिक आना-जाना रहता है। इसमें आई.एस.बी.टी.-43, सुखना लेक,  सैक्टर-17, जी.एम.एस.एच.-16, पी.जी.आई., सैक्टर-22 मोबाइल मार्कीट, पंजाब यूनिवर्सिटी और सैक्टर-34 मार्कीट शामिल हैं। विभाग के अनुसार इन साइकिलों को साइकिल शेयरिंग प्रोजैक्ट वाले डॉकिंग स्टेशनों पर ही उपलब्ध करवाया जा रहा है। साइकिल शेयरिंग प्रोजैक्ट वाली कंपनी ने ही ये प्रदान करनी हैं। इसके लिए उसे रैंट लेने की अनुमति होगी लेकिन वह इस प्रोजैक्ट में डॉकिंग स्टेशनों पर विज्ञापन नहीं लगा पाएगी। 


साइकिल शेयरिंग प्रोजैक्ट में ये किया था तय 
वहीं, शेयरिंग प्रोजैक्ट के तहत स्मार्ट सिटी लिमिटेड ने जी.पी.आर.एस. ट्रैकिंग सिस्टम की सुविधा के साथ 5000 साइकिलों को खरीदने का फैसला लिया था। इन्हें शहर में 617 बिजी प्वाइंट्स पर चलाया जाना है। कंपनी शहर में एक कमांड एंड कंट्रोल रूम और एक रिपेयरिंग सैंटर बनाएगी। डॉकिंग स्टेशन पर रेडियो फ्रीक्वैंसी आइडैंटिफिकेशन का टैग कंपनी द्वारा लगाया जाएगा। उस पर पब्लिक को जारी होने वाले स्मार्ट कार्ड को टच करते ही साइकिल का लॉक खुलेगा। उस साइकिल को लेकर वह किसी सैक्टर के एरिया में जा सकेंगे। उसी सैक्टर में पहुंचने पर वहां के डॉकिंग स्टेशन पर जाकर स्मार्ट कार्ड को टैग से टच करते ही बाई साइकिल लॉक हो जाएगी। आपके स्मार्ट कार्ड से बाई साइकिल चलाने के पैसे कंपनी के खाते में चले जाएंगे। डॉकिंग स्टेशन बस क्यू शैल्टर के बैक साइड और रोड साइड पार्क में भी बनाए जाने हैं। हर डॉकिंग स्टेशन पर 20 और इससे अधिक साइकिलें रखी जाएंगी।


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AJIT DHANKHAR

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