अमृतपाल के वीडियो ने लगाया अटकलों पर विराम, नेपाल के बजाय अब फिर पंजाब में तलाश

punjabkesari.in Wednesday, Mar 29, 2023 - 09:15 PM (IST)

चंडीगढ़,(रमनजीत सिंह): पंजाब पुलिस जिस शख्स अमृतपाल सिंह को कभी दिल्ली, कभी उत्तराखंड और कभी नेपाल में तलाश कर रही थी, जबकि उसके कई समर्थक यह दावा कर रहे थे कि पुलिस ने उसे अवैध हिरासत में रखा हुआ है। इसी संभावना के मद्देनजर पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में भी पटीशन दाखिल की गई। वही शख्स, बुधवार को एक बार फिर से सोशल मीडिया पर एक वीडियो के जरिए सामने आ गया। वीडियो में दावा किया गया है कि वह सही-सलामत है और उसकी गिरफ्तारी या सरैंडर वाहेगुरु के हाथ है, जिसने उसे ‘जालिमों’ (पंजाब पुलिस) की इतनी बड़ी घेराबंदी से सकुशल बाहर निकाला। अमृतपाल ने दावा किया है कि गिरफ्तारी से न वो पहले डरा था और न ही अब उसको डर है, लेकिन अब यह मसला सिर्फ उसकी गिरफ्तारी का नहीं, बल्कि सिख कौम पर हो रहे अत्याचारों का है। 

 

 


-18 मार्च के घटनाक्रम पर की स्थिति स्पष्ट
बुधवार को सोशल मीडिया के जरिए वायरल हुए वीडियो में वारिस पंजाब दे जत्थेबंदी के प्रमुख अमृतपाल सिंह ने गिरफ्तारी को लेकर स्पष्टीकरण दिया है। अमृतपाल सिंह का कहना है कि यदि सरकार की मंशा सिर्फ उन्हें गिरफ्तार करने की होती तो उन्हें कभी भी घर से गिरफ्तार किया जा सकता था। 18 मार्च को क्योंकि वह संगत के साथ श्री मुक्तसर साहिब के इलाके से खालसा वहीर (मार्च) शुरू करने के लिए जा रहे थे, तो जब पुलिस ने रोका तो उन्हें लगा कि सरकार उन लोगों को पंजाब के मालवा इलाके में पड़ते श्री मुक्तसर साहिब नहीं पहुंचने देना चाहती। इसी को ध्यान में रखकर फैसला लिया गया कि हर हाल में वहां पहुंचा जाए और गुरु साहिब की बख्शीश से वह उस बड़ी घेराबंदी से बच कर निकल गए। अमृतपाल सिंह ने कहा कि क्योंकि सरकार ने इंटरनैट बंद कर दिया था, इसलिए उन्हें सरकार की साजिश का पता नहीं चल पाया और अब खबरों व इंटरनैट मीडिया से पता चला है कि पंजाब में पंजाब पुलिस और सरकार ने क्या किया है। कैसे बच्चों, अपाहिजों और महिलाओं तक पर अत्याचार किया और अंदर बंद कर दिया है, यह अत्याचार बिल्कुल वैसा ही है, जैसा कि पूर्व मुख्यमंत्री बेअंत सिंह की सरकार के वक्त हुआ था। 
 

 

 

-श्री अकाल तख्त जत्थेदार से की सरबत खालसा बुलाने की अपील
वायरल हुए वीडियो में अमृतपाल सिंह ने कहा श्री अकाल तख्त के जत्थेदार द्वारा हाल ही में सिख जत्थेबंदियों के साथ बैठक की थी और बैठक में फैसला लिया गया था कि बेकसूर नौजवानों व अन्य लोगों की रिहाई के लिए सरकार को कहा जाए। इसके बाद जत्थेबार साहिब द्वारा सरकार को बेकसूर नौजवानों को रिहा करने संबंधी 24 घंटे का अल्टीमेटम दिया गया था, लेकिन सरकार द्वारा उस बयान पर की गई टिप्पणी बहुत ही निम्न स्तर की और कटाक्ष भरी थी। अमृतपाल ने कहा कि सरकार की इस हरकत के खिलाफ श्री अकाल तख्त साहिब जी के जत्थेदार को सख्त स्टैंड लेना चाहिए और बैसाखी के मौके पर सरबत खालसा बुलाना चाहिए। वहीं, सिख कौम व पंजाब के मसलों पर चर्चा होनी चाहिए और फैसले लिए जाएं क्योंकि छोटे-छोटे मोर्चों से मसले हल होने वाले नहीं हैं। अमृतपाल ने कहा कि यह मसला सिर्फ उसकी गिरफ्तारी का नहीं है, बल्कि यह पूरी सिख कौम पर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ खड़े होने का है। अमृतपाल सिंह ने सिख संगत, संगठनों से भी अपील की है कि बैसाखी पर होने वाले सरबत खालसा में जरूर पहुंचे और इस सरबत खालसा को ठीक वैसा ही रूप दिया जाए, जैसा कि सिख इतिहास के ‘वड्डे घल्लूघारे’ के बाद तत्कालीन जत्थेदार द्वारा बुलाया गया था, जिसमें हर सिख ने हिस्सा लिया था। 
 

 

 

-दी नसीहत, डरें नहीं खुल कर बोलें
अमृतपाल सिंह ने अपने वीडियो में न सिर्फ सरबत खालसा बुलाने की अपील की है, बल्कि यह भी कहा है कि वक्त सरकार द्वारा दमन के जरिए बनाए गए डर के माहौल में डरने का नहीं है, बल्कि कौम व पंजाब के मसलों पर खुल कर बोलने का है। अमृतपाल सिंह ने कहा कि छोटे-छोटे मसलों से लेकर बड़े मामलों तक के लिए सरबत खालसा जैसा मंच आवाज को बुलंद करने के लिए अहम भूमिका निभाएगा। अमृतपाल सिंह ने इतने दिनों तक खामोश रहने के लिए माफी भी मांगी है और कहा है कि इस वीडियो से उन लोगों को भी सुकून मिलेगा, जिन्हें लग रहा था कि उसे गिरफ्तार कर लिया गया है। उसने कहा कि वह चड़दीकला में है और अन्य सिख भी चड़दीकला में हैं।


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News Editor

Ajay Chandigarh

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