नोटबंदी: सब्जियां थोक में सस्ती, खुदरा में महंगी

Saturday, Dec 03, 2016 - 02:59 PM (IST)

नई दिल्लीः सर्दी का मौसम आते ही देश भर में सब्जियां सस्ती हो रही हैं लेकिन सिर्फ थोक बाजार में। नोटबंदी के नाम पर खुदरा बाजार में सब्जियों के ऊंचे दाम वसूले जा रहे हैं। 

देश की तमाम थोक मंडियों में सब्जियां सस्ती हो गई हैं। देश के 4 शहरों का जायजा लेने पर पता चला कि सब्जियों की थोक कीमतें करीब-करीब आधी हो गई हैं। दिल्ली, लुधियाना, नवी मुंबई और पुणे में थोक बाजार में नोटबंदी से पहले जो आलू 8 से 15 रुपए किलो बिकता था वो आज 2-7 रुपए किलो है। इसी तरह 8-16 रुपए किलो के बीच बिक रहा प्याज अब 4-12 रुपए पर आ गया है। टमाटर पहले 10-20 रुपए किलो था, वो आज 4-8 रुपए किलो है। फूलगोभी भी 12-14 रुपए किलो के मुकाबले 3-4 रुपए किलो पर आ गई है। थोक व्यापारियों के मुताबिक मंडियो में एक तो सप्लाई बढ़ी है, साथ ही कैश की कमी से मांग घट गई है।

हालांकि थोक बाजार में सस्ती बिक रही सब्जियों ने खुदरा बाजार में दाम पर असर नहीं डाला है। दिल्ली के करोल बाग में ग्राहकों को आज भी आलू और टमाटर 20 रुपए, और गोभी और बैंगन 30 रुपए किलो ही मिल रहे हैं। खुदरा कारोबारियों की दलील है कि छुट्टे पैसे की किल्लत के चलते सब्जियां ऊंचे दाम पर बिक रही हैं। जाहिर है नोटबंदी के बहाने उल्टे-सीधे तर्क भी चलाने की कोशिश हो रही है।

हरी सब्जियों का बाजार में आना शुरू तो हो गया है लेकिन नोटबंदी के चलते हालात जब तक सुधरेंगे नहीं ये सब्जियां कब तक खुदरा बाजार में सस्ती मिल पाएंगी, कह पाना मुश्किल है।

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