टाटा मोटर्स को समूह कंपनियों के साथ मजबूती से आगे बढ़ने के भरोसा

Monday, Feb 12, 2018 - 10:53 AM (IST)

नई दिल्लीः वाहन उद्योग में नई प्रौद्योगिकी अपनाने और बदलाव का दौर जारी रहने के बीच टाटा मोटर्स को वाहन उद्योग में अपनी मजबूत स्थति बनाये रखने के लिए टाटा समूह और विशेषकर समूह की साफ्टवेयर कंपनी टीसीएस का ही भरोसा है। कंपनी के प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी गुंटर बुत्श्चेक ने कहा कि जब वाहन उद्योग में ऑटोनॉमस, कनेक्टेड, इलेक्ट्रिक एंड शेयरिंग (एसीईएस) के इर्द-गिर्द चर्चा हो रही है तब टाटा मोटर्स को भी खुद को बदलने तथा नई प्रौद्योगिकी एवं कारोबारी मॉडल अपनाने की जरूरत है।

उन्होंने कहा कि फेम योजना के तहत कंपनी को 11 शहरों के लिए 350 इलेक्ट्रिक बसों की आपूर्ति करने का ठेका मिलने से उसे समूह कंपनियों की मजबूती के बल पर नए क्षेत्र में प्रभावी हिस्सेदार बनने का अवसर मिला है। उन्होंने कहा कि सभी प्रमुख संकेत यह बताते हैं कि टाटा मोटर्स को खुद को बदलने की जरूरत है। उन्होंने कहा, ‘‘एक कंपनी के तौर पर हम नई प्रौद्योगिकी अपनाने जा रहे हैं पर इसके साथ ही हमें नए कारोबारी मॉडल भी अपनाने होंगे।’’ उद्योग जगत की चर्चा के केंद्र में एसीईएस यानी आटोनोमस, कनेक्टेड, इलेक्ट्रिक एण्ड शेयरिंग होने का हवाला देते हुए उन्होंने कहा, ‘‘यदि आप चारों शब्दों को देखेंगे, ये सभी सॉफ्टवेयर से जुड़े हैं।’’

उन्होंने टाटा समूह के चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन के ‘टाटा एक’ दृष्टिकोण पर जोर देते हुए कहा, ‘‘यही वह क्षेत्र है जहां समूह की प्रतिस्र्पिधता शुरू होती है।’’ बुश्चेक ने कहा कि मजबूत समूह संबंध और जुड़ाव वाली प्रतिस्र्पिधता से प्रौद्योगिकी हमारे हक में हो सकती है। उन्होंने कहा, ‘‘हम इतने ताकतवर हो सकते हैं कि इसमें अग्रणी भूमिका में आ सकते हैं।’’ इस बाबत टीसीएस से बातचीत शुरू हो चुकने के बाबत पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि टाटा मोटर्स का टीसीएस के साथ काफी पुराना रणनीतिक संबंध रहा है। उन्होंने कहा, ‘‘यह बातचीत काफी नैर्सिगक होती हैं क्योंकि हम आपस में अपरिचित नहीं हैं। हम हर तरह के अलग मंचों पर साथ काम करते हैं। अब जब हम मौजूदा समय में साथ में काम करते हैं तो सहज ही भविष्य के बारे में बातें होती हैं।’’ 

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