बजट की तैयारीः मोदी सरकार फिर लगाएगी बैंकों पर दाव

Sunday, Jan 22, 2017 - 11:44 AM (IST)

नई दिल्लीः नोटबंदी के बाद बैंकों में आए हैवी डिपॉजिट पर मोदी सरकार की नजर है। बैंकों में करीब 15 लाख करोड़ रुपए के आए डिपाजिट का फायदा सरकार बजट के जरिए उठाने की तैयारी में है। इसके तहत सोशल स्कीम्स के साथ-साथ छोटे कारोबारियों को ज्यादा कर्ज देने का रोडमैप बजट में पेश किया जा सकता है जिससे लगता है कि एक बार फिर मोदी सरकार बैंकों पर दाव लगाएगी।

होम लोन पर टैक्स छूट बढ़ सकती है
इसी तरह बजट में इस बार सरकार होम लोन पर मिलने वाली टैक्स छूट की लिमिट भी बढ़ा सकती है। अभी पहली बार घर खरीदने वाले कस्टमर को 2.5 लाख रुपए तक के इंटरैस्ट पर टैक्स छूट मिलती है, जबकि दूसरे होम लोन कस्टमर को 2 लाख रुपए तक के इंटरैस्ट पर छूट मिलती है। सरकार इसके अलावा प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत टार्गेट बढ़ा सकती है।

क्या है तैयारी 
वित्त मंत्रालय से जुड़े एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार बजट में ज्यादातर फोकस लो इंकम ग्रुप के लोगों को ज्यादा से ज्यादा फायदा पहुंचाने पर होगा। 
इसमें बैंकों का रोल काफी महत्वपूर्ण हो सकता है जिनके जरिए सरकार अपने लैंडिंग टार्गेट बढ़ा सकती है। सरकार के लिए ऐसा करना इसलिए भी आसान है क्योंकि बैंकों के पास नोटबंदी के बाद लैंडिंग कैपेसिटी बढ़ गई है।

कहां होगा फोकस 
एग्रीकल्चर लोन का बढ़ सकता है टार्गेट
सरकार एग्रीकल्चर लोन के टार्गेट को 10 लाख करोड़ रुपए तक कर सकती है। वर्ष 2016-17 के लिए यह टार्गेट 9 लाख करोड़ रुपए था। सूत्रों के अनुसार मोदी सरकार 2022 तक किसानों की इंकम दोगुना करने का टार्गेट लेकर चल रही है, जिसे देखते हुए ज्यादा एग्रीकल्चर लोन देने पर फोकस होगा। 

एजुकेशन लोन पर होगा ध्यान
इसी तरह एजुकेशन लोन के लिए सरकार बैंकों के लिए टार्गेट बढ़ा सकती है जिससे कि ज्यादा से ज्यादा स्टूडैंट्स को कर्ज मिल सके।

मुद्रा लोन पर बढ़ेगा फोकस
बजट में वित्त मंत्री अरुण जेतली मुद्रा लोन के जरिए दिए जाने वाले लोन का टार्गेट भी बढ़ा सकती है। खास तौर पर जब इस बार मुद्रा बैंक टार्गेट से काफी पीछे चल रहा है। सरकार का वर्ष 2016-17 में मुद्रा बैंक के जरिए 1.86 लाख करोड़ रुपए लोन देने का टार्गेट था। इसके जरिए सरकार का फोकस खास तौर से नोटबंदी के बाद प्रॉब्लम में आए छोटे कारोबारियों पर होगा। 

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