2017 में टेलीकॉम सेक्टर पर रहा जियो का दबदबा, ग्राहकों की हुई चांदी

Thursday, Dec 21, 2017 - 12:48 PM (IST)

नई दिल्लीः टेलीकॉम सेक्टर में धमाल मचाने वाली टेलीकॉम कंपनी रिलायंस जियो ने पूरे सेक्टर की तस्वीर ही बदल दी है। 2017 में जियो पूरे साल टेलीकॉम सेक्टर पर छाई रही। इसका सबसे ज्यादा फायदा ग्राहकों को और सबसे बड़ा नुकसान दूसरी टेलीकॉम कंपनियों को हुआ। आज भारत में स्मार्टफोन इस्तेमाल करने वाला हर तीसरा यूजर जियो का इंटरनेट इस्तेमाल कर रहा है। इतना ही नहीं जियो ने अपने 4G स्मार्टफोन को उतारकर गावों में भी अपनी पकड़ मजबूत कर ली है। आने वाले समय में जियो का दूरसंचार जगत में कद और भी बढ़ सकता है। जानें जियो के आने के बाद टेलीकॉम सेक्टर पर क्या प्रभाव पड़ा।

1500 रुपए में 4जी स्मार्टफोन
रिलायंस जियो के आने बड़ा असर 4जी हैंडसेट मार्कीट पर पड़ा। रिलायंस ने 1500 रुपए रिफंडेबल रकम के साथ लांच किया। इसके बाद वोडाफोन और एयरटेल ने भी इंटेक्स, कार्बन और माइक्रोमैक्स के साथ मिलकर लगभग इसी दाम में 4जी फोन लांच कर दिए। इसके अलावा भारत में 4जी फोन का शिपमेंट भी बढ़ा।

टैरिफ प्लान पर असर
जियो के आने बाद कंपनियों को उसके सामने टिकने के लिए अपने टैरिफ में बदलाव करने पड़े। पहले 1 जीबी डेटा के लिए टेलीकॉम कंपनियां 250 रुपए वसूलती थी जो जियो के आने बाद 50 रुपए प्रति जीबी हो गया। पोस्टपेड का जो बिल पहले 350 रुपए तक आता था वो गिरकर 250 से 280 तक रह गया। जियो को टक्कर देने के लिए कंपनियों ने डेटा के साथ वॉयस कॉलिंग फ्री कर दी।

आइडिया और वोडाफोन का विलय
जियो से कंपीटिशन मिलने के कारण देश की 2 बड़ी टेलीकॉम कंपनी आइडिया और वोडाफोन ने मार्च 2017 में विलय का फैसला किया। यह विलय 2018 में पूरा होने की संभावना है। वोडाफोन ब्रिटेन की कंपनी है जबकि आइडिया आदित्य बिड़ला ग्रुप की कंपनी हैं जिसके प्रमुख कुमार मंगलम बिड़ला हैं। दोनों के विलय से शुरुआत में 2,700 करोड़ रुपए का खर्च कम होगा। विलय पूरा होने के बाद कंपनियों की लागत में बड़ी कमी आएगी और यह जियो से टक्कर ले सकेंगी।

आरकॉम की 2जी सेवा बंद
लगातार घाटे और कर्ज के कारण अनिल अंबानी की कंपनी रिलायंस कम्युनिकेशंस ने 2जी सेवा बंद कर दी। कंपनी ने अपने 4 करोड़ ग्राहकों को 3जी या 4जी नेटवर्क में जाने के लिए कहा है। अनिल अंबानी की इस कंपनी पर  44,345 करोड़ रुपए का कर्ज है। 

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