इटली की कंपनी ने भारत में 6.5 अरब अमेरिकी डॉलर का निवेश किया: लोरेंजो तवाजी
punjabkesari.in Saturday, Nov 30, 2024 - 03:21 PM (IST)
मुंबईः ‘द यूरोपीयन हाउस एम्ब्रोसेटी’ (टीईएचए) समूह के वरिष्ठ भागीदार लोरेंजो तवाजी ने कहा कि इतालवी कंपनियों ने भारत में 6.5 अरब अमेरिकी डॉलर का निवेश किया है, जो इस यूरोपीय देश (इटली) द्वारा दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्था को दिए गए महत्व को दर्शाता है। साथ ही, उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि यहां विकास के लिए बहुत सारे अवसर हैं।
तावाजी शुक्रवार को मुंबई में ‘विलागियो इटालिया’ प्रदर्शनी के उद्घाटन के बाद बोल रहे थे। इतालवी नौसेना के प्रशिक्षण जहाज ‘अमेरिगो वेस्पुची’ के पांच दिवसीय ठहराव के समय यह प्रदर्शनी आयोजित की जा रही है। जहाज के मुंबई पहुंचने के संबंध में इटली की समाचार एजेंसी ‘एएनएसए’ द्वारा आयोजित परिचर्चा में तवाजी ने कहा कि इटली क्रमशः टिकाऊ प्रौद्योगिकियों और हाई-स्पीड रेल में अपनी विशेषज्ञता के साथ हरित ऊर्जा की ओर बढ़ने और परिवहन के क्षेत्र में भारत की आकांक्षाओं को पूरा करने में मदद कर सकता है।
मुंबई स्थित प्रबंधन शिक्षा संस्थान ‘एसडीए बोकोनी एशिया सेंटर’ के एलेसेंड्रो गिउलिआनी ने कहा कि खान-पान के मामले में समानता के चलते इटली में अध्ययन के लिए पहुंचने वाले छात्रों को घर जैसा महसूस होगा। उन्होंने कहा कि दोनों देशों की पाक कला मसालों के उपयोग पर केंद्रित है। उन्होंने कहा कि शिक्षा सेवाओं पर केंद्रित कंपनी एक दशक से अधिक समय से भारत में भारतीय छात्रों को प्रशिक्षण दे रही है और इतालवी कंपनियां उन्हें नौकरियां दे रही हैं।
गिउलिआनी ने कहा कि शैक्षिक संबंध द्विपक्षीय संबंधों के लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं। उन्होंने कहा कि भारत तकनीकी कौशल के क्षेत्र में एक अग्रणी देश है लेकिन 'सॉफ्ट स्किल' में उसे और अधिक दक्ष होने की जरूरत है। परिचर्चा में ‘प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडिया’ के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं प्रधान संपादक विजय जोशी ने कहा कि भारत और इटली के बीच काफी समानताएं हैं तथा दोनों देशों के लोगों को एक-दूसरे के बारे में और अधिक जानना चाहिए।
जोशी ने कहा कि वह इटली के बहुत बड़े प्रशंसक हैं और किसी अन्य यूरोपीय शहर की तुलना में रोम कहीं अधिक बार गए हैं। उन्होंने कहा, ‘‘मैं असल में चाहता हूं कि भारतीय नागरिक इटली के बारे में और अधिक जानें तथा इटली के लोग भारत के बारे में और अधिक जानें। दोनों देशों के बीच बहुत कुछ समानताएं है।’’
जोशी ने कहा, ‘‘इटली के लोग भी पारिवारिक संबंधों को काफी महत्व देते हैं, जैसा कि भारत में हम (महत्व) देते हैं।’’ उन्होंने कहा कि इटली से उनका नाता बचपन से है, जब उनके पिता के पास इतालवी कंपनी ‘लैंब्रेटा’ का स्कूटर था। जोशी ने एक और प्रतिष्ठित इतालवी ब्रांड को याद करते हुए कहा, ‘‘मुझे हमेशा ही वेस्पा की आकांक्षा रही थी।’’ उन्होंने कार के एक इतालवी ब्रांड के बारे में कहा, ‘‘जब मैं बड़ा हुआ, तो मेरी आकांक्षा अल्फा रोमियो की हो गई।’’
जोशी ने कहा कि इस बात का पता चले बिना ही भारत के लोग जूलियस सीजर, कोलंबस और मर्चेंट ऑफ वेनिस जैसे इतालवी पहलुओं से प्रभावित हुए हैं। इसी कार्यक्रम के तहत एएनएसए द्वारा आयोजित एक अन्य परिचर्चा में डिजाइनर कुलसुम शादाब वहाब ने कहा कि मिलान में काम करने के दौरान उनके साथ काफी गर्मजोशी भरा व्यवहार किया गया।
उन्होंने कहा कि मुंबई में ‘अमेरिगो वेस्पुची’ का बंदरगाह पर पहुंचना महज एक जहाज का आगमन नहीं है, बल्कि इसे एकजुटता के नजरिये से देखा जाना चाहिए। इतालवी अभिनेत्री जियार्जियो एंड्रियानी ने कहा कि दोनों देशों में सबसे बड़ी समानता भोजन और फिल्मों के प्रति साझा प्रेम है। एंड्रियानी ने कुछ बॉलीवुड परियोजनाओं में काम किया है।
इतालवी डीजे ओली एस्से ने कहा कि उन्होंने अरुणाचल प्रदेश और नगालैंड जैसे पूर्वोत्तर राज्यों सहित भारत में व्यापक यात्रा की है। उन्होंने कहा कि भारत में लोग इटली के बारे में जानने को बहुत उत्सुक हैं और यही उत्सुकता कई लोगों को इस यूरोपीय देश की यात्रा करने के लिए प्रेरित करती है। दोनों परिचर्चाओं में शामिल हुए अन्य व्यक्तियों में इटली के बोकोनी विश्वविद्यालय में पूर्व भारतीय छात्र किमाया रोहित कुमार, यूट्यूबर गिउलिया राफेलो और डिजाइनर ध्रुव कपूर हैं।
शुक्रवार शाम इंदिरा डॉक पर उद्घाटन समारोह के बाद जहाज और प्रदर्शनी को आम लोगों के लिए खोल दिया गया, जिसके बाद इतालवी संगीतकार जियाकोमो पुचिनी को श्रद्धांजलि देने के लिए एक संगीत कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
‘विल्लाजियो इटालिया’ के आयोजक एवं इटली के रक्षा मंत्रालय के स्वामित्व वाली कंपनी डिफेसा सेर्विजी के मुख्य कार्यकारी अधिकारी लुका आंद्रेओली ने कहा, ‘‘यह जहाज विभिन्न संस्कृतियों, हमारी संस्कृतियों, आपकी संस्कृतियों, उन सभी लोगों के बीच एक सेतु है, जिनसे हम इतालवी तरीके से काम करने के बीच एक संबंध स्थापित करने की अपनी यात्रा में मिलते रहे हैं। यह शांति और एकजुटता का संदेश भी देता है।’’