भारत की कच्चे तेल की मांग में प्रतिवर्ष 3.7% की तेजी का अनुमान

Tuesday, Oct 16, 2018 - 06:56 PM (IST)

नई दिल्लीः तेल निर्यातकों देशों के संगठन ओपेक के महासचिव मोहम्मद बार्किन्दो ने आज कहा कि भारत में कच्चे तेल की मांग में प्रतिवर्ष 3.7 फीसदी तेजी आने का अनुमान है जो वर्ष 2040 तक कुल वैश्विक मांग की करीब 40 फीसदी होगी। बार्किन्दो ने यहां आयोजित आईएचएस के एक सम्मेलन से इतर संवाददाताओं से कहा कि दुनिया के तीसरे सबसे बड़े तेल आयातक देश भारत में बड़ी तेजी से कच्चे तेल की खपत बढ़ रही है। वर्ष 2040 तक भारत की मांग बढ़कर 58 लाख बैरल प्रतिदिन हो जाएगी। 

भारत अपनी कुल जरूरत का 80 फीसदी से अधिक कच्चा तेल आयात करता है और इसी कारण अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतों के उतार-चढाव का यहां की अर्थव्यवस्था पर सीधा असर पड़ता है। ओपेक की गत माह जारी रिपोर्ट के मुताबिक वर्ष 2040 तक कच्चे तेल की वैश्विक मांग 11.17 करोड़ बैरल प्रतिदिन हो जायेगी जो वर्ष 2017 में 1.45 करोड़ बैरल प्रतिदिन रही है। 

ओपेक महासचिव ने ईरान पर अमेरिका के प्रतिबंध के अगले माह लागू होने के परिप्रेक्ष्य में तेल उत्पादक कंपनियों से उत्पादन क्षमता बढाने और भविष्य की मांग की पूर्ति के लिए निवेश बढाने का आग्रह किया। ईरान पर प्रतिबंध लागू होने के बाद आपूर्ति संकट की आशंका के कारण हाल के दिनों में कच्चा तेल 86 डॉलर प्रति बैरल के पार चला गया था। भारत जैसे आयात निर्भर देश भविष्य में कच्चे तेल की आपूर्ति के संकट को लेकर आशंकित हैं। उन्होंने कहा कि जो देश रणनीतिक भंडारण किए हुए हैं, उनके भंडार भी घट रहे हैं क्योंकि तेल क्षेत्रों में निवेश कम किया जा रहा है। तेल कंपनियों को बढ़ती मांग को पूरा करने के लिए करीब 110 खरब डॉलर के करीब निवेश करने की जरूरत है। सउदी अरब की हालांकि अगले कुछ वर्ष में 20 अरब डॉलर के निवेश की योजना है। 
 

jyoti choudhary

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