गोयल ने की भारतीय अर्थव्यवस्था की सराहना, कहा- हम तेजी से बढ़ रहे

Saturday, Dec 16, 2023 - 04:08 PM (IST)

नई दिल्लीः केंद्रीय मंत्री मंत्री पीयूष गोयल ने दिल्ली में एक कार्यक्रम के दौरान भारतीय अर्थव्यवस्था की सराहना की। उन्होंने कहा है कि दुनिया के सामने बहुत सारी चुनौतियां हैं और अस्पष्ट चीजें चारों ओर हो रही हैं। इस सबके बीच हम अपनी अर्थव्यवस्था को बहुत अच्छी तरह से प्रबंधित करने में सफल रहे हैं। 

भारत मंडपम में लीड रिपोर्ट 2023 जारी करने के दौरान केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि यह अस्थिरता और अनिश्चितताओं का दिन और युग है। दुनिया के सामने बहुत सारी चुनौतियां हैं और अस्पष्ट चीजें चारों ओर हो रही हैं। इस VUCA (अस्थिरता, अनिश्चितता, जटिलता और अस्पष्टता) की दुनिया में, मुझे लगता है कि भारत एक उज्ज्वल सितारे और एक ऐसे देश के रूप में खड़ा है जिसने पीएम मोदी के नेतृत्व में अर्थव्यवस्था को बहुत अच्छी तरह से प्रबंधित किया है। हम लगातार सबसे तेजी से बढ़ती बड़ी अर्थव्यवस्था बन गए हैं और भविष्य में कई वर्षों तक ऐसा ही रहने की उम्मीद है।

भारत मंडपम में लीड्स रिपोर्ट 2023 जारी करने पर केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा, "लॉजिस्टिक्स क्षेत्र भारत को 2047 तक 3.5 ट्रिलियन से 35 ट्रिलियन तक 10 गुना स्तर पर ले जाने के हमारे प्रयास में आधारशिला होगा जो सामूहिक मिशन है। लॉजिस्टिक्स क्षेत्र संभवतः ऐसा करने में सबसे महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।"

लॉजिस्टिक प्रदर्शन सूचकांक 2023 में आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, तमिलनाडु, चंडीगढ़ और गुजरात समेत 13 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को शामिल किया गया है। उद्योग एवं वाणिज्य मंत्रालय की ओर से शनिवार को जारी एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई।

सूचकांक निर्यात और आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देने के लिए जरूरी लॉजिस्टिक सेवाओं की दक्षता का संकेतक है। सूची में तेजी से आगे बढ़ने वाले राज्यों में केरल, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान, उत्तराखंड, अरुणाचल प्रदेश और नगालैंड को शामिल किया गया है।

आकांक्षी श्रेणी में स्थान पाने वाले राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में गोवा, ओडिशा, पश्चिम बंगाल, बिहार, छत्तीसगढ़, हिमाचल प्रदेश और झारखंड शामिल हैं। वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल द्वारा जारी पांचवीं 'लीड्स' (विभिन्न राज्यों में लॉजिस्टिक सुगमता) 2023 रिपोर्ट में राज्यों को उनके लॉजिस्टिक माहौल के आधार पर सूचीबद्ध किया गया है। इसमें हितधारकों के सामने आने वाली प्रमुख लॉजिस्टिक संबंधी चुनौतियों पर प्रकाश भी डाला गया है। सूचकांक का उद्देश्य राज्यों में लॉजिस्टिक प्रदर्शन में सुधार पर ध्यान केंद्रित करना है।

jyoti choudhary

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