एफ.डी.आई. स्टैंडर्ड प्रक्रिया तय करेगा रिजर्व बैंक

Monday, Feb 27, 2017 - 11:25 AM (IST)

नई दिल्लीः भारतीय रिजर्व बैंक एफ.डी.आई. प्रस्तावों को मंजूरी के लिए मंत्रालयों के लिए स्टैंडर्ड प्रक्रिया तैयार कर सकता है। सरकार ने एफ.आई.पी.बी. को समाप्त करने का निर्णय किया है और इसके बाद अब प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के प्रस्तावों पर निर्णय संबंधित मंत्रालय ही करेंगे। 

संवेदनशील क्षेत्रों में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफ.डी.आई.) मंजूरी के लिए नियम स्थापित करने के प्रस्ताव पर हाल में अंतर-मंत्रालयी बैठक में चर्चा हुई। फिलहाल यह सरकार की मंजूरी के अंतर्गत आता है। 

सूत्रों के अनुसार बैठक में कई विकल्पों पर चर्चा हुई। व्यापार सुगमता में और सुधार लाने के लिए सरकार ने विदेशी निवेश संवद्र्धन बोर्ड समाप्त करने तथा विदेशी निवेश प्रस्तावों की शीघ्रता से मंजूरी के लिए एक नई व्यवस्था गठित करने का निर्णय किया है। एफ.आई.पी.बी. को समाप्त करने पर एफ.डी.आई. प्रस्तावों को मंजूरी अब मंत्रालय और संबंधित नियामकीय प्राधिकरण के पाले में होगी। सूत्रों के अनुसार अंतर-मंत्रालयी समिति ने एफ.डी.आई. प्रस्तावों को मंजूरी के साथ लाइसैंस देने की संभावना पर भी चर्चा की। रक्षा और दूरसंचार जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में जिन कंपनियों के पास लाइसैंस होगा, वे ही विदेशी निवेश की मंजूरी मांग सकते हैं। 

दूरसंचार मंत्रालय का उदाहरण देते हुए सूत्रों ने कहा कि सरकार एफ.डी.आई. प्रस्तावों को मंजूरी देने की शक्ति उसी मंत्रालय को दे सकती है। उसने कहा कि रिजर्व बैंक से प्रत्येक मंत्रालय के लिए मानक परिचालन नियम तैयार करने का अनुरोध किया जा सकता है। पाकिस्तान और बंगलादेश से एफ.डी.आई. प्रस्तावों पर विचार करके उस पर सुझाव देने का काम गृह मंत्रालय को मिल सकता है। सरकार ने एक समिति गठित की है जो इन मुद्दों पर विचार कर रही है। इसमें रिजर्व बैंक, वित्त मंत्रालय, औद्योगिक नीति एवं संवद्र्धन विभाग और गृह मंत्रालय के प्रतिनिधि हैं। समिति 2 महीनों में अपनी रिपोर्ट सौंप सकती है।

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