Air India के विनिवेश पर फैसला जल्द

Thursday, Aug 31, 2017 - 01:31 PM (IST)

नई दिल्लीः वित्त मंत्री अरुण जेटली ने संकेत दिया कि राष्ट्रीय विमानन कंपनी एयर इंडिया के विनिवेश पर जल्द फैसला किया जाएगा। मंत्री स्तरीय समूह की बैठक के बाद सरकार ने एयर इंडिया के विनिवेश के लिए लेनदेन के लिए सलाहकार नियुक्त करने का फैसला किया है। इस बैठक में एयर इंडिया की हिस्सेदारी बिक्री के विभिन्न पहलुओं पर विचार विमर्श किया गया। जेटली की अगुवाई वाले मंत्री समूह के बीच इस मुद्दे पर करीब एक घंटे तक विचार विमर्श हुआ। जेटली ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘हमने कई मुद्दों पर विचार विमर्श किया। हमने लेनदेन के लिए सलाहकार नियुक्त करने का फैसला किया है।’’ इस बैठक में जेटली के अलावा नागर विमानन मंत्री अशोक गजपति राजू, रेल मंत्री सुरेश प्रभु और बिजली मंत्री पीयूष गोयल के अलावा कई वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे। साथ ही बैठक में एयर इंडिया के अंतरिम चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक राजीव बंसल तथा एयरलाइन और नागर विमानन मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद थे। 

बर्ड समूह ने जताई अधिग्रहण की इच्छा
औपचारिक तौर पर दो पक्षों ने इस विमानन कंपनी में हिस्सेदारी खरीदने की रुचि दिखाई है। एयर इंडिया की बिक्री प्रक्रिया को लेकर पूछे गए सवाल पर जेटली ने कहा, ‘‘ये फैसले तेजी से होने चाहिए, पर इसके लिए सामान्य तरीका चुना जाना चाहिए।’’ केंद्रीय मंत्रिमंडल ने इस साल जून में एयर इंडिया और उसकी पांच अनुषंगियों के रणनीतिक विनिवेश को सैद्धान्तिक मंजूरी दी थी। इससे पहले दिन में नागर विमानन सचिव आर एन चौबे ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘विमानन सेवा देने वाले बर्ड समूह ने सरकार को पत्र लिखकर एयर इंडिया की ग्राउंड हैंडलिंग सेवा ए.आई.ए.टी.एस.एल. के अधिग्रहण की इच्छा जताई है।’’ उन्होंने कहा कि इंडिगो के बाद अब बर्ड ग्रुप ने पत्र लिखकर एयर इंडिया में रुचि दिखाई है। एयर इंडिया करदाताओं के धन पर अपना परिचालन कायम रख पाई है और काफी समय से घाटे में चल रही है। एयरलाइन के पुनरोद्धार के कई प्रस्ताव आए हैं। नीति आयोग ने एयर इंडिया के पूर्ण निजीकरण का सुझाव दिया है। बता दें कि एयरलाइन पर कुल 52,000 करोड़ रुपए का कर्ज है। 

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