विद्यार्थी सुरक्षा दुर्घटना बीमा का प्रीमियम समय पर जमा नहीं कराने पर कॉलेज को जुर्माना

Sunday, Dec 23, 2018 - 11:09 AM (IST)

अलवर: कॉलेज में प्रवेश (एडमिशन) के समय बीमा प्रीमियम राशि काट लिए जाने के बावजूद इस राशि को समय पर राज्य बीमा एवं प्रावधीय विभाग को नहीं भिजवाना कॉलेज प्रशासन को महंगा पड़ गया। उपभोक्ता विवाद प्रतितोष मंच ने कॉलेज प्रशासन को एक माह में बीमा के रूप में देय 1 लाख रुपए, परिवादी को हुई मानसिक वेदना व परिवाद व्यय के लिए 5,000 रुपए अलग से अदा करने के आदेश दिए हैं। क्या है मामला बड़ौदामेव निवासी बनवारीलाल जाटव के पुत्र विनोद कुमार ने बाबू शोभाराम कला महाविद्यालय में सत्र 2014-15 में कक्षा बी.ए. पार्ट प्रथम में प्रवेश लिया था। इसकी फीस राशि 1415 रुपए जमा करवाई थी।

उक्त फीस राशि में 50 रुपए विद्यार्थी सुरक्षा दुर्घटना बीमा पॉलिसी का प्रीमियम शामिल था। इस तरह छात्र का एक लाख रुपए का दुर्घटना बीमा किया गया था। बीमा प्रीमियम राशि कॉलेज द्वारा 10 जुलाई 2014 को फीस के साथ ही प्राप्त कर ली गई थी। उक्त राशि बीमा विभाग को कॉलेज द्वारा 26 अगस्त 2014 को भिजवाई गई, जो बीमा विभाग को 5 सितम्बर 2014 को प्राप्त हुई जिसके चलते छात्र का बीमा 5 सितम्बर 2014 से 4 सितम्बर 2015 तक की अवधि के लिए ही किया गया। छात्र विनोद कुमार की मृत्यु करंट लगने से उक्त बीमा पॉलिसी के प्रारंभ होने से पूर्व 13 जुलाई 2014 को ही हो गई थी।

उक्त मामले को मृतक छात्र के पिता ने जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष मंच के पास दर्ज करवाया। यह कहा फोरम ने उक्त मामले में जिला मंच ने कॉलेज द्वारा प्रीमियम राशि समय पर बीमा विभाग को नहीं भेजे जाने के कारण परिवादी मृतक छात्र के पिता को बीमा पॉलिसी राशि से वंचित होने को कॉलेज का सेवा दोष मानते हुए एक माह में उक्त बीमा के रूप में देय एक लाख रुपए देने के साथ ही परिवादी को हुई मानसिक वेदना व परिवाद व्यय के लिए 5,000 रुपए अलग से अदा करने के आदेश भी दिए हैं।

Isha

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