‘करतारपुर कॉरीडोर’ को निरंतर खुला रखना चाहिए

punjabkesari.in Saturday, Nov 16, 2019 - 03:24 AM (IST)

बहुत समय से श्री गुरु नानक देव जी का नाम लेने वाले इसी इंतजार में थे कि उनका जन्म शताब्दी पर्व आएगा और हमारे जीवन काल में इसको मनाने तथा सेवा करने का सौभाग्य प्राप्त होगा। आज सिख विश्व भर में बसते हैं और हर देश में हमारे परिवार तथा गुरुद्वारे हैं। इसी कारण यह विश्वभर का समारोह बन चुका था। इसकी तैयारी के समाचार रोज छप रहे थे। यह भी होड़ लगी थी कि इसको बढ़-चढ़कर कैसे मनाया जाए। कुछ बड़ी जत्थेबंदियों ने आधुनिक तरीके से सभी प्रबंध कर रखे थे। 

अमरीका के शहर वाशिंगटन में एक संस्था ने करोड़ों रुपए एकत्रित कर श्री गुरु नानक देव जी पर फिल्म बनानी चाही। 12 नवम्बर को यह ऐतिहासिक दिन विश्व भर में हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। इससे पूर्व जितनी भी शताब्दियां आईं, उससे कई गुना ज्यादा उत्साह और श्रद्धा नजर आई। मैंने यह दिन दुबई की संगत के साथ मनाया। वहां पर सेवा करने की मेरी लालसा पूरी हुई तथा वहां पर बांटे गए लंगर किसी शादी-ब्याह के खाने से कम नहीं थे। भारत तथा उसके दूतावास की ओर से भी मदद दी गई। 

हिंदुस्तान-पाकिस्तान आज युद्ध लडऩे की स्थिति में खड़े हैं
इस शताब्दी की सबसे बड़ी कामयाबी करतारपुर साहिब के दर्शनों के लिए बना 4 किलोमीटर का रास्ता है। हिंदुस्तान-पाकिस्तान आज युद्ध लडऩे की स्थिति में खड़े हैं। दोनों देशों के प्रधानमंत्री एक-दूसरे से हाथ नहीं मिलाते। सारे टी.वी., चैनल तथा समाचार पत्र इस कॉरीडोर को देश के लिए खतरा बताते हैं मगर दोनों ही सरकारें मजबूर हो गईं तथा कॉरीडोर एक साल से पहले ही मुकम्मल हो गया। 9 नवम्बर को मैं 400 श्रद्धालुओं वाले पहले जत्थे में शामिल था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उद्घाटन किया। 

डा. मनमोहन सिंह, कै. अमरेंद्र सिंह, हरदीप सिंह पुरी, जत्थे. अकाल तख्त तथा समस्त बादल परिवार तथा विश्व भर से खास सिख शामिल हुए।  सुप्रीम कोर्ट ने बाबरी मस्जिद वाला फैसला मंदिर बनाने के हक में उसी दिन सुबह सुना दिया। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान खुद गुरुद्वारे में जत्थे के स्वागत के लिए आए। सरदार नवजोत सिंह सिद्धू उस दिन स्वाभाविक तौर पर खुद हीरो बन गए और उनकी स्तुति हर तरफ हो रही थी। 

सिख चेयर्स की स्थापना एक बड़ी उपलब्धि
इस शताब्दी की एक और बड़ी उपलब्धि है सिख चेयर्स की यूनिवर्सिटियों में स्थापना। गुरु नानक देव जी की विचारधारा और उनके जीवन संबंधी विश्व प्रचार का यह साधन है। स. हरदीप सिंह पुरी ने बर्मिंघम यूनिवर्सिटी में भारत सरकार की ओर से एक चेयर स्थापित करने की घोषणा की। एक अन्य कनाडा में भी खुलेगी। मुख्यमंत्री पंजाब ने 12 यूनिवॢसटीज में चेयर खोलने की घोषणा की। इनमें से एक जो आई.एस. यूनिवर्सिटी कोलकाता भी है, की घोषणा स. तरणजीत सिंह ने की। 

पंजाब सरकार ने श्रद्धामयी सेवा भावना दिखाई। पंजाब के मंत्री सुखजिंद्र सिंह रंधावा ने पूरी जान लगाकर डेरा बाबा नानक कॉरीडोर तथा सारे विकास में शानदार योगदान दिया। पंजाब के एक अन्य मंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने अपने मंत्रालय पर्यटन एवं सांस्कृतिक को जिस तरह से आगे लाकर कार्य किया वह भी प्रशंसनीय है। 1980 में जब यह मंत्रालय बना था तो मैं उसका पहला प्रमुख था। 

भारत सरकार इसके लिए अन्य सहूलियतें भी दे 
श्री गुरु नानक देव जी का जन्म स्थान ननकाना साहिब है। मैंने लिखा था कि सभी नेतागण वहां पर जाएं मगर यह न हो सका। करतारपुर कॉरीडोर को निरंतर खुला रखना चाहिए तथा भारत सरकार इसके लिए अन्य सहूलियतें भी दे। ऑनलाइन फार्म के स्थान पर डेरा बाबा नानक में ही सीधा यात्रियों को पासपोर्ट लेकर आने की अनुमति दी जाए। 20 डालर के शुल्क को लागू रखें मगर 1700 रुपए की सहूलियतें भी संगतों को मिलनी चाहिएं। प्रत्येक सिख मुफ्त में जाने के विरुद्ध है। वह पैसा खर्च कर सकता है। पाकिस्तान ने कॉरीडोर हमारे लिए बनाया है और हम इसमें अपना योगदान डालें। 

पूरे राष्ट्र को बधाई है कि 550वां गुरुपर्व निर्विघ्न समाप्त हुआ है। गुरु की महिमा चारों ओर फैली है। एयर इंडिया के विमानों पर एक ओंकार नजर आ रहा है। गुरु जी की अपार कृपा पूरी मानव जाति पर हो, सबका भला हो और हम धन-धन गुरु नानक नाम का उच्चारण करते रहें, यही हमारी कामना है।-तरलोचन सिंह(पूर्व सांसद)
 


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