5जी तकनीक से बदल जाएगा लोगों का जीवन

punjabkesari.in Friday, Jan 28, 2022 - 05:42 AM (IST)

चीन सरकार अपनी कंपनियों के जरिए भारत में 5जी तकनीक लाने की वाहिश में थी और इसकी आड़ में वह भारत की सूचनाओं को अपने यहां एकत्र कर सकती थी। भारत सरकार ने इसीलिए ऐसी किसी भी कंपनी को अपने यहां 5जी लाने की इजाजत नहीं दी, जिससे देश की सुरक्षा को खतरा हो। 

अब दूसरा रास्ता था कि भारत यह तकनीक अमरीका से ले, लेकिन अपने आत्मनिर्भरता मिशन के चलते भारत ने हिम्मत दिखाई और अपनी 5जी तकनीक खुद विकसित की। भारत की टाटा जैसी बड़ी व भरोसेमंद कंपनी, भारती एयरटेल, आई.आई.टी. मद्रास और हैदराबाद के इंस्टीच्यूट ने मिल कर भारत को वक्त से पहले स्वदेशी 5जी नैटवर्क प्रदान किया। 

भारत के सामने 5जी टैक्नोलॉजी को लेकर काफी चुनौतियां हैं। भारत चाहता है कि इस तकनीक का प्रयोग सही दिशा में हो और देश को इसका बड़ा लाभ मिले। सरकार ने नए साल में महानगरों समेत कई शहरों में 5जी यानी फि थ जैनरेशन वायरलैस टैक्नोलॉजी शुरू करने का ऐलान कर दिया है। 5जी आने से इंटरनैट की स्पीड जबरदस्त हो जाएगी। लोग मोबाइल और लैपटॉप पर अपना काम चुटकियों में कर सकेंगे।

भारत में पिछले 2 सालों से इसका ट्रायल चल रहा है, जो मई 2022 तक चलेगा। इसके बाद देश के कई बड़े शहरों में इसकी कमर्शियल लांचिंग की जाएगी। इन शहरों में मुंबई, कोलकाता, दिल्ली, चेन्नई, गुरुग्राम, बेंगलुरु, अहमदाबाद, हैदराबाद, चंडीगढ़, लखनऊ, पुणे और गांधीनगर शामिल हैं। इन शहरों में पहले से ही वोडाफोन-आइडिया, जिओ और एयरटैल का 5जी नैटवर्क का ट्रायल जारी है। उम्मीद की जा रही है कि निकट भविष्य में 5जी सेवा को लेकर भारत एक बहुत बड़ी मार्कीट बनने वाला है। 

5जी तकनीक से आने वाले दिनों में कृषि, शिक्षा, स्वास्थ्य, परिवहन, यातायात प्रबंधन, स्मार्ट सिटी की कई एप्लीकेशंस में एक नई क्रांति आने की उम्मीद जताई जा रही है। इसके अलावा यह 3 गुणा स्पैक्ट्रम एफिशिएंसी और अल्ट्रा-लो लेटेंसी को भी इनेबल करती है। दूरसंचार विभाग ने साफ कर दिया है कि परीक्षण के दौरान जो आंकड़े पैदा होंगे, उन्हें भारत में ही स्टोर किया जाएगा। 

भारत में 5जी का भविष्य बहुत ही उज्जवल है। यह एक बहुत विशाल टैलीकॉम मार्कीट है और दूरसंचार ग्राहकों की सं या करोड़ों में है। अगर 5जी सेवाएं आ गईं तो इन सेवाओं को लोग बहुत जल्दी अपना लेंगे, क्योंकि आज लोग चाहते हैं कि बटन दबाते ही उसी क्षण उन्हें तमाम सारी जानकारी इंटरनैट से प्राप्त हो जाए। प्रैक्टिकल नैटवर्क की जो कई दिक्कतें होती हैं, वे सब 5जी तकनीक आने पर समाप्त हो जाएंगी। 

माना जा रहा है कि ट्रायल के बाद इस साल मई से साल 2023 के दिसंबर तक 5जी भारत में पूरी तरह से लांच कर दिया जाएगा। युवा वर्ग 5जी को लेकर काफी उत्साहित है, जिसका मानना है कि कोविड के बाद से शुरू हुए वर्क फ्रॉम होम के दौर में 5जी लांच होने के बाद लोगों को फास्ट नैटवर्क मिलेगा, जिससे उनका काम आसान हो जाएगा और 4जी इंटरनैट में होने वाली बफरिंग और स्लो नैट के कारण आने वाली समस्याओं से उन्हें छुटकारा मिलेगा। 4जी और 5जी की स्पीड में काफी फर्क होगा। 4जी की पीक स्पीड जहां 1जी.बी. प्रति सैकेंड तक की है, वहीं 5जी की पीक स्पीड 20जी.बी. प्रति सैकेंड तक की होगी। इससे कनैक्टिविटी भी काफी बेहतर हो जाएगी। 

देश में 5जी टैक्नोलॉजी के आने से मोबाइल और इंटरनैट इस्तेमाल करने वालों की पूरी दुनिया ही बदल जाएगी। एक अनुमान के मुताबिक 5जी की स्पीड 4जी से 10 गुणा ज्यादा है। माना जा रहा है कि 5जी आने के बाद व्यवसाय, ऑटोमेशन बढ़ जाएगा। जो चीजें अभी केवल शहरों तक सीमित हैं, वे गांवों तक पहुंचेंगी, जिनमें ई-मैडिसिन शामिल हैं। शिक्षा और कृषि क्षेत्र को जबरदस्त फायदा होगा। 5जी लांच होने से जहां डिजिटल क्रांति को नया आयाम मिलेगा, वहीं इंटरनैट आफ थिंग्स यानी आई.ओ.टी. और रोबोटिक्स की तकनीक भी आगे बढ़ेगी। आई.ओ.टी. का मतलब है स्मार्ट गैजेट्स। ई-गवर्नैंस का विस्तार होगा। 

5जी आने के बाद भारतीय अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी। ई-कॉमर्स, स्वास्थ्य केंद्र, दुकानदार, स्कूल-कॉलेज और यहां तक कि किसान भी इसका भरपूर फायदा उठा पाएंगे। कोरोना काल में जिस तरह से इंटरनैट पर सबकी निर्भरता बढ़ी है, उसे देखते हुए 5जी आने पर हर व्यक्ति का जीवन बेहतर और सरल बनेगा। 5जी टैक्नोलॉजी से हैल्थ केयर, वर्चुअल रियलिटी, क्लाउड गेमिंग के लिए नए रास्ते खुलेंगे। इसके जरिए ड्राइवरलैस कार की योजना पर भी काम पूरा हो सकेगा।-रंजना मिश्रा
 


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