शिक्षण संस्थानों में फैल रही‘रैगिंग की जानलेवा बुराई’

punjabkesari.in Friday, Jul 05, 2024 - 05:10 AM (IST)

रैगिंग इन दिनों उच्च शिक्षा संस्थानों में प्रवेश लेने वाले नए छात्रों का सीनियर छात्रों द्वारा उत्पीड़न करने का माध्यम बन गई है। इसमें उनके साथ अपमानजनक छेड़छाड़, मारपीट, जबरदस्ती नशा करवाना, यौन उत्पीडऩ, कपड़े उतरवाना जैसे अमानवीय कृत्य शामिल हैं जिनके इस वर्ष के पांच महीनों के चंद उदाहरण निम्न में दर्ज हैं : 

* 15 फरवरी, 2024 को हैदराबाद (तेलंगाना) में ‘रामागुंडम’ स्थित ‘सरकारी मैडीकल कालेज तथा जनरल अस्पताल’ के एम.बी.बी.एस. द्वितीय वर्ष के 4 छात्रों को अपने एक जूनियर छात्र की रैगिंग करने तथा उसके सिर के बाल एवं मूंछें मूंड देने के आरोप में कालेज होस्टल से निकाला गया। 
* 22 फरवरी को शराब पीने के लिए पैसे न देने पर एक छात्र को बैल्ट से पीटने, उसका सिर ट्रिमर से मूंड देने और उसे 5 घंटों तक होस्टल के कमरे में बंद रखने के आरोप में आपराधिक मामला झेल रहे ‘पी.एस.जी. कॉलेज ऑफ टैक्नोलॉजी’ में इंजीनियरिंग के 8 छात्रों को मद्रास उच्च न्यायालय के न्यायाधीश एन. वैंकटेश ने जम कर फटकार लगाई और कहा, ‘‘ऐसे कृत्यों में लिप्त होने से बेहतर है कि आप अनपढ़ ही बने रहें’’

* 12 अप्रैल को ‘बी.जे. मैडीकल कालेज’ (बी.जे.एम.सी.) पुणे के अधिकारियों के पास दर्ज करवाई शिकायत में एक 24 वर्षीय महिला जूनियर रैजीडैंट डाक्टर ने कालेज के सीनियर डाक्टरों पर उसकी रैगिंग और दुव्र्यवहार करने का आरोप लगाया।
कालेज के डीन डा. शेखर प्रधान के अनुसार, ‘‘कालेज में सीनियरों द्वारा जूनियर डाक्टरों की रैङ्क्षगग आम बात हो गई है और 31 दिसम्बर, 2023 को भी कुछ सीनियर छात्रों ने शराब पीने के बाद एक महिला रैजीडैंट डाक्टर के कमरे में घुस कर भारी हंगामा किया था।’’ 

* 26 मई, 2024 को पश्चिम बंगाल स्थित जाधवपुर यूनिवर्सिटी की एग्जीक्यूटिव कौंसिल ने सिविल इंजीनियरिंग, इकोनॉमिक्स व सोश्योलॉजी के 10 सीनियर छात्रों को यूनिवर्सिटी के होस्टल से निकाल देने के आदेश जारी किए। 
आरोपी छात्रों ने 10 अगस्त, 2023 को एक छात्र की इतनी बुरी तरह रैगिंग और यौन उत्पीडऩ किया था कि उनसे बचने की कोशिश में वह होस्टल की दूसरी मंजिल से नीचे गिर गया और उसकी मौत हो गई।
* 5 जून को टांडा (हिमाचल प्रदेश) स्थित ‘डा. राजेंद्र प्रसाद मैडीकल कालेज तथा अस्पताल’ के सीनियर ट्रेनी डाक्टरों द्वारा जूनियर डाक्टरों की रैगिंग करने के आरोप में 4 ट्रेनी डाक्टरों में से 2 पर 1-1 लाख रुपए और 2 पर 50-50 हजार रुपए जुर्माना लगाने के अलावा 2 ट्रेनी डाक्टरों को एक-एक वर्ष के लिए कालेज से निष्कासित किया गया। 
* 26 जून को डूंगरपुर (राजस्थान) जिला मैडीकल कालेज में एम.बी.बी.एस. प्रथम वर्ष के 50 से अधिक छात्रों सेे सीनियर छात्रों द्वारा 44 डिग्री तापमान में 350 से अधिक उठक-बैठक करवाने के कारण कई छात्रों की हालत बिगडऩे का मामला सामने आया। 

इस कारण एक छात्र की किडनी और लिवर दोनों प्रभावित हो गए और उसे अस्पताल में भर्ती होकर डायलिसिस करवाना पड़ा। 15 मई की इस घटना के सिलसिले में द्वितीय वर्ष के 7 छात्रों को निलंबित करने के अलावा उनके विरुद्ध मुकद्दमा दर्ज करवाया गया। 
* 29 जून को जमशेदपुर (झारखंड) स्थित ‘महात्मा गांधी मैमोरियल सरकारी मैडीकल कालेज’ में जूनियर छात्रों ने 5 सीनियर छात्रों के विरुद्ध रैङ्क्षगग के नाम पर उन्हें नंगा करके नचाने, जबरदस्ती शराब पिलाने, धूम्रपान करवाने, यौन उत्पीडऩ और उन्हें गंदी-गंदी बातें कहने की शिकायत  ‘नैशनल मैडीकल कमिशन’ (एन.एम.सी.) से की। 

देश में रैगिंग पर प्रतिबंध है और कालेजों में एंटी रैगिंग कमेटियां भी बनी हुई हैं परंतु इसके बावजूद रैगिंग की घटनाएं सामने आती रहती हैं। सबसे बुरी बात यह है कि रैगिंग की घटनाओं में मैडीकल जैसे संवेदनशील और महत्वपूर्ण पेशे की पढ़ाई से जुड़े छात्र भी शामिल पाए जा रहे हैं। हालांकि सभी छात्र ऐसे नहीं हैं परंतु इस तरह की घटनाएं निश्चित रूप से दुखद हैं और इनके लिए जिम्मेदार लोगों को शिक्षाप्रद सजा मिलनी ही चाहिए ताकि इस बुराई पर रोक लगे।—विजय कुमार 


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