विदेशों में देश की बदनामी का कारण बन रहे चंद भारतीय

Wednesday, May 03, 2023 - 04:43 AM (IST)

एक ओर विश्व भर में भारतीय मूल के लोग राजनीतिक, सामाजिक जीवन में छाए हुए हैं तो दूसरी ओर विदेशी जेलों में कई भारतीय नशीले पदार्थों की तस्करी, पारिवारिक हिंसा, नस्ली हिंसा, हत्या, पशु तस्करी और बलात्कार जैसे जघन्य अपराधों के तहत बंद हैं। इसके चंद ताजा उदाहरण नीचे दिए जा रहे हैं : 

* 18 फरवरी को उत्तरी लंदन (इंगलैंड) में भारतीय मूल के ‘डीकन पाल सिंह विज’ नामक व्यक्ति को ‘ओल्ड बेली’ अदालत ने अपने पिता अर्जुन सिंह विज की हत्या के आरोप में 18 वर्ष कैद की सजा सुनाई।  
* 1 मार्च को सिडनी (आस्ट्रेलिया) में रेलवे स्टेशन पर ‘मोहम्मद रहमतुल्ला सईद अहमद’ नामक मूलत: तमिलनाडु के निवासी ने एक रेल कर्मचारी को छुरा घोंप दिया जिस पर आस्ट्रेलिया पुलिस ने उसे गोली मार दी। 

* 24 मार्च को वाशिंगटन (अमरीका) की अदालत ने एक अमरीकी क्रूज शिप पर बच्चों के यौन शोषण संबंधी सामग्री बांटने और यौन शोषण के लिए बच्चों का इंतजाम करने के वीडियो भेजने वाले क्रूज शिप के गोवा निवासी कर्मचारी ‘एंजेलो विक्टर फर्नांडीज’ को 188 महीने कैद की सजा सुनाई। 
* 7 अप्रैल को वाशिंगटन (अमरीका) में बुजुर्गों से धोखाधड़ी करने के आरोप में नेवार्क संघीय अदालत ने आशीष बजाज नामक व्यक्ति को 33 महीने कैद और 24 लाख डालर जुर्माने की सजा सुनाई। 

* 12 अप्रैल को थेम्स वैली पुलिस (इंगलैंड) की एक अदालत ने बर्कशायर निवासी अमरीक बाजवा नामक व्यक्ति को सोशल मीडिया ऐप ‘टिकटॉक’ पर एक विशेष समुदाय के विरुद्ध आपत्तिजनक वीडियो सांझा करने का दोषी ठहराते हुए 18 महीने कैद और 240 पौंड जुर्माना लगाया। 
* 25 अप्रैल को सिंगापुर की अदालत ने एक भारतीय को 26 कुत्तों और एक बिल्ली की तस्करी करने के आरोप में एक वर्ष कैद की सजा सुनाई। 
* 26 अप्रैल को सिंगापुर में भारतीय मूल के ‘तंगाराजू सुपैया’ को गांजा व अन्य नशीले पदार्थों की तस्करी के आरोप में फांसी दे दी गई।
* 29 अप्रैल को 138 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी के मामले में दोषी पाए गए ‘ऐपल’ के एक पूर्व भारतीय कर्मचारी धीरेंद्र प्रसाद को अमरीकी न्याय विभाग ने 3 वर्ष कैद के अलावा कम्पनी को 155 करोड़ रुपए जुर्माना भरने का आदेश दिया है। 

* 30 अप्रैल को एक अपराधी गिरोह के सरगना सर्रे (इंगलैंड) निवासी राज सिंह को कोकीन और केटामाइन जैसे नशीले पदार्थों की तस्करी तथा मनी लांङ्क्षड्रग के मामले में 8 वर्ष 10 महीने कैद की सजा सुनाई गई। 
इसी प्रकार उसके साथी ‘वकास इकबाल’ को नशीले पदार्थों के आयात और मनी लांड्रिंग के आरोप में 12 वर्ष जेल की सजा सुनाई गई। 
* 30 अप्रैल को सिडनी (आस्ट्रेलिया) में बालेश धनखड़ को 5 कोरियाई महिलाओं को नशीला पदार्थ देकर उनसे बलात्कार करने का दोषी पाया गया। पुलिस को उसके अपार्टमैंट की तलाशी के दौरान महिलाओं से यौन संबंध बनाने के 47 वीडियो मिले जिनमें से कुछ वीडियो में महिलाएं बेहोश थीं और कई दर्द से तड़प रही थीं।   
 इस पर ‘आस्ट्रेलिया में फैडरेशन आफ इंडियन एसोसिएशन आफ न्यू साऊथ वेल्स’ के प्रवक्ता डा. यदु सिंह ने कहा, ‘‘आस्ट्रेलिया में भारतीय समुदाय की अच्छी प्रतिष्ठा है जिसे इस घटना ने कलंकित किया है।’’ 

* और अब 1 मई को थाईलैंड के पटाया के एक होटल से 83 भारतीयों को जुआ खेलने के आरोप में गिरफ्तार करके 1,60,000 भारतीय रुपए, 92 मोबाइल फोन, नशे के लिए 4 मॉडर्न हुक्के आदि जब्त किए। उल्लेखनीय है कि जून, 2021 में कनाडा में दुनिया के सबसे बड़े अंतर्राष्ट्रीय नशा तस्करी घोटाले का पर्दाफाश हुआ था। इसमें टोरंटो पुलिस ने 3.68 अरब रुपए मूल्य के 1000 किलो से अधिक नशीले पदार्थों सहित 20 लोगों को गिरफ्तार किया था और इनमें 40 प्रतिशत अर्र्थात 9 पंजाबी थे। यही नहीं, कनाडा में 119 वाहन चोरों की सूची में 43 पंजाबी भी शामिल हैं। 

इसे विडम्बना ही कहा जाएगा कि एक ओर जहां विदेशों में रह रहे भारतीय मूल के लोगों ने वहां जीवन के सभी क्षेत्रों राजनीति, शिक्षा, विज्ञान, अंतरिक्ष अनुसंधान आदि में अपनी विशेष पहचान बनाई है, वहीं चंद भारतीय वहां समाज विरोधी आपराधिक घटनाओं में शामिल हो कर भारत की बदनामी का कारण बन रहे हैं। इसे देख कर हम तो ऐसे लोगों से यही अनुरोध करना चाहेंगे कि ‘विदेशों में देश का नाम बदनाम न करो।’—विजय कुमार 

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