माता वैष्णो देवी तीर्थ यात्रा बारे चंद आवश्यक सुझाव

Wednesday, Mar 21, 2018 - 02:54 AM (IST)

जम्मू-कश्मीर में माता वैष्णो देवी तीर्थ देश के अग्रणी धर्मस्थलों में से एक है जहां प्रतिवर्ष एक करोड़ से अधिक श्रद्धालु माता के दरबार में नतमस्तक होने आते हैं। माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड ट्रस्ट कटड़ा के प्रयासों से पिछले कुछ समय के दौरान यहां की व्यवस्था बहुत सुंदर हो गई है। 

सारे रास्ते में एल.ई.डी. लाइटें लगा देने से रात की यात्रा बहुत सुखद हो गई है तथा यात्रा मार्ग में उच्च श्रेणी के स्पीकर लगाने के कारण श्रद्धालुओं को दरबार में प्रसारित होने वाले भजन आदि अत्यंत साफ और स्पष्टï सुनाई देते हैं। यही नहीं नवरात्रों में एक भारतीय कम्पनी ने फूलों द्वारा बहुत सुंदर शृंगार कर दिया है तथा पुरानी गुफा में एक मंदिर बना दिया है जिसे फूलों से सजाया गया है। इन सब बातों ने वैष्णो देवी यात्रा का आकर्षण बहुत बढ़ा दिया है परंतु हमें पानीपत से माता वैष्णो देवी के एक भक्त श्री इंद्रजीत कपूर ने एक पत्र द्वारा माता वैष्णो देवी तीर्थ की यात्रा और सुंदर एवं सुखद बनाने के लिए कुछ सुझाव दिए हैं जो हम नीचे दर्ज कर रहे हैं :

मुख्य भवन/ मंदिर में जाने से पहले श्रद्धालु नहा कर नए कपड़े पहनते हैं जबकि नहाने का स्थान मंदिर के निकट तथा लाइन में लगने का कट मंदिर से एक किलोमीटर पीछे होने के कारण श्रद्धालुओं को नहा कर वापस एक किलोमीटर की दूरी तय करनी पड़ती है। इसलिए नहाने की व्यवस्था लाइन में लगने वाले कट के निकट ही की जाए तथा सामान रखने का लॉकर भी उसके निकट ही उपलब्ध करवाया जाए। प्राय: समय के अभाव में या चढ़ाई चढऩे में असमर्थ यात्री भैरों घाटी मंदिर नहीं जा पाते। अत: वहां जाने के लिए रोप-वे का कार्य शीघ्र सम्पन्न करवाया जाए ताकि लोगों की यात्रा अधूरी न रहे। 

अक्सर श्रद्धालु वापसी पर कटड़ा से अखरोट आदि का प्रसाद लेकर आते हैं जिसके लिए ट्रस्ट ने कोई उचित प्रबंध नहीं कर रखा है। अत: ट्रस्ट द्वारा कटड़ा के विभिन्न स्थलों सहित यात्रा मार्ग पर अखरोट आदि की सीलबंद एवं एफ.एस.एस.ए.आई. प्रमाणित सामग्री की ही बिक्री का प्रबंध किया जाए जो आधा किलो से लेकर 5 किलो के पैकेटों में हो और इन पर पैकिंग की तिथि एवं अधिकतम बिक्री मूल्य लिखा जाए और इनकी खाद्य गुणवत्ता जांच अधिकारियों द्वारा नियमित करवाई जाए। ट्रस्ट ने यात्रियों की सुविधा के लिए जगह-जगह विश्रामगृह व कंबलों की सुविधा प्रदान कर रखी है परंतु बस अड्डों व रेलवे स्टेशन के पास ऐसी सुविधा नहीं है जिस कारण यात्रियों को असुविधा होती है। अत: बस अड्डïे व रेलवे स्टेशन के पास ही यात्रियों के ठहरने के लिए भवन बनाए जाएं तथा अन्य स्थानों की तरह कंबल भी उपलब्ध करवाए जाएं। 

वैष्णो देवी यात्रा के लिए हैलीकाप्टर द्वारा ज्यादातर वी.आई.पी. ही जा पाते हैं परंतु इसमें जरूरतमंदों और शारीरिक दृष्टिï से कमजोर लोगों को प्राथमिकता एवं सस्ती दरों पर टिकट दी जानी चाहिए। यही बात अद्र्धकुंवारी से भवन तक चलने वाली बैटरी कार सेवा पर भी लागू होती है। वैष्णो देवी यात्रा हेतु चलने वाले हैलीकाप्टर सिंगल इंजन हैं, यात्रियों की सुरक्षा के दृष्टिïगत इन्हें डबल इंजन किया जाए। दरबार में दान पात्रों में श्रद्धालुओं द्वारा चढ़ाए जाने वाले चढ़ावे की रसीद न देना अखरता है अत: दान पात्र बंद करके श्रद्धालुओं को पक्की रसीद देने की व्यवस्था होनी चाहिए। बोर्ड द्वारा यात्रियों से मिले चढ़ावे का पूरा आंकड़ा वैबसाइट पर प्रतिदिन डाला जाना चाहिए। यात्रा मार्ग पर गरीब श्रद्धालुओं के लिए नि:शुल्क भोजन उपलब्ध हो। यात्रा मार्ग पर कार्य करने वाले मजदूरों का स्वास्थ्य बीमा करवाया जाए ताकि मजदूर पूरी ईमानदारी से यात्रा पर आए भक्तों की यात्रा को सफल बनाने का प्रयास करें। 

अत: यदि वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड और जम्मू-कश्मीर सरकार उक्त सुझावों पर ध्यान देकर नहाने की व्यवस्था, रोप-वे का काम शीघ्र करवाने, प्रसाद की बिक्री, यात्रियों के ठहरने और हैलीकाप्टर द्वारा सस्ती दरों पर ले जाने जैसी व्यवस्था करवा दें तो न सिर्फ श्रद्धालुओं को सुविधा हो जाएगी बल्कि प्रदेश में धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा।—विजय कुमार   

Punjab Kesari

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