उत्तर प्रदेश विधानसभा में मोबाइल फोन पर रोक का निर्णय

Thursday, Nov 30, 2023 - 04:43 AM (IST)

हालांकि मोबाइल फोन के अनेक लाभ हैं परन्तु इनकी कुछ हानियां भी हैं। मोबाइल फोन पर आसानी से पोर्न उपलब्ध होने के कारण बड़ी संख्या में लोग इन पर पोर्न देखने के आदी हो गए हैं, जिनमें हमारे चंद जनप्रतिनिधि भी शामिल पाए गए हैं।

* 2012 में कर्नाटक विधानसभा में सूखे की स्थिति पर चर्चा के दौरान भाजपा के 3 मंत्रियों जे. कृष्णा पालेमर, सी.सी. पाटिल तथा लक्ष्मण सावदी को मोबाइल फोन पर अश्लील वीडियो देखते पकड़ा गया था।
* 16 दिसम्बर, 2015 को ओडिशा विधानसभा में कांग्रेस के विधायक नबा किशोरदास को विधानसभा के अंदर पोर्न देखते हुए पकड़ा गया था। 
* 29 जनवरी, 2021 को कर्नाटक विधानसभा में विपक्षी दल कांग्रेस के लिए तब परेशानकुन स्थिति पैदा हो गई जब पार्टी के एम.एल.सी. प्रकाश राठौर विधान परिषद में अपने मोबाइल पर पोर्न क्लिप देखते पकड़े गए। 

* 30 मार्च, 2023 को त्रिपुरा विधानसभा में भाजपा विधायक जादव लाल नाथ का एक वीडियो वायरल हुआ, जिसमें वह अपनी सीट पर बैठ कर मोबाइल फोन पर पोर्न वीडियो देख रहे थे। संभवत: मोबाइल फोन के दुरुपयोग और इनके द्वारा ध्यान भटकाने की घटनाओं को देखते हुए ही उत्तर प्रदेश सरकार ने 28 नवम्बर से 1 दिसम्बर तक चलने वाले विधानसभा के 4 दिवसीय शीतकालीन अधिवेशन के दौरान जन प्रतिनिधियों के सदन में मोबाइल फोन ले जाने पर प्रतिबंध लगा दिया है। 

इसका कारण यह बताया गया है कि सदन में कई सदस्यों की उपस्थिति तो दिखती है पर मोबाइल पर व्यस्त रहने के कारण वे पूरी तरह कार्यवाही में शामिल नहीं हो पाते, जिससे जनहित के मुद्दों पर ठीक से चर्चा नहीं हो पाती। सदन की कार्यवाही के सुचारू रूप से संचालन के लिए उक्त निर्णय प्रशंसनीय है। इसे भारत के सभी राज्यों में स्थायी रूप से और तुरंत लागू किया जाना चाहिए। इसी तरह शिक्षा संस्थानों, प्राइवेट कंपनियों आदि में भी जहां आवश्यक न हो, वहां कार्यस्थल पर कर्मचारियों के मोबाइल फोन रखने पर प्रतिबंध सख्ती से लागू किया जाना चाहिए।—विजय कुमार

Advertising