प्रीमियम राशि दिलवाने के नाम पर ठगी की कोशिश

punjabkesari.in Wednesday, Feb 04, 2015 - 11:06 PM (IST)

बिलासपुर: फंसे पैसे को निकलवाने का झांसा देकर, लॉटरी व इंश्योरैंस आदि के नाम पर ठगी को अंजाम देने वाले शातिर बिलासपुर में बेहद सक्रिय हैं। जिला में कई लोग ऐसी ठगी के शिकार होकर लाखों रुपए की राशि गंवा चुके हैं। ऐसे ही ठगों ने बिलासपुर के कल्लर गांव निवासी रूप लाल चंचल को अपनी ठगी का शिकार बनाने की कोशिश की। ठगों के झांसे में आकर रूप लाल ने उन्हें 30 हजार रुपए का चैक दे भी दिया लेकिन बाद में रूप लाल का माथा ठनका व उसने चैक की अदायगी को बैंक में रुकवा दिया जिससे वह ठगों के हाथों लुटने से बच गया। मामले की शिकायत पुलिस के पास की जा चुकी है व पुलिस सरगर्मी से ठगों की तलाश कर रही है। इस ठगी की कोशिश में प्रयोग हुए कुछ मोबाइल नंबरों के बाहरी देशों के होने का भी शक है जिसके चलते इन ठगों के तार अंतर्राष्ट्रीय ठगों से जुड़े हो सकते हैं।

 

हुआ यूं कि बिलासपुर जिला की सदर तहसील के कल्लर गांव निवासी रूप लाल चंचल ने एसबीआई लाइफ इंश्योरैंस में अपनी एक पॉलिसी करवा रखी है जिसके प्रीमियम के रूप में उसने 1 लाख रुपए की राशि अदा की है लेकिन अपने घरेलू कारणों के चलते रूप लाल चंचल ने इस इंश्योरैंस पॉलिसी को बंद करना चाहा व अदा की गई प्रीमियम की राशि वापस मांगी जिस पर एसबीआई लाइफ इंश्योरैंस ने उसे बताया कि इंश्योरैंस पॉलिसी 3 वर्ष के लिए है, इसलिए राशि भी 3 वर्ष बाद ही वापस होगी।

 

मामला यहीं खत्म हो गया लेकिन 3 जनवरी, 2015 को रूप लाल को उसके मोबाइल पर फोन आया और फोन करने वाली महिला ने उससे कहा कि उसके इंश्योरैंस के अदा किए गए प्रीमियम की 1 लाख रुपए की राशि उसे वापस दे दी जाएगी लेकिन उसके लिए उसे 30 हजार रुपए का एक बांड भरना होगा क्योंकि यह राशि भारत सरकार के पास जमा हो चुकी है जिस पर रूप लाल ने उसकी बात मान ली। 6 जनवरी को आशीष नामक एक युवक ने कल्लर स्थित उसके घर आकर बांड भरने के लिए 30 हजार रुपए की राशि का एसबीआई बैंक का चैक ले लिया, साथ ही रूप लाल, उसकी पत्नी, बेटे व बहू का आधार कार्ड नंबर, पैन कार्ड नंबर, वोटर कार्ड नंबर और परिवार के राशन कार्ड की फोटोस्टेट कापियां यह कहकर ले गया कि यह राशि दिलवाने में इन सब कागजातों की जरूरत पड़ेगी।

 

आशीष ने अपने आपको एसबीआई लाइफ इंश्योरैंस का कर्मचारी बताया। रूप लाल ने भी विश्वास कर सारे कागजात दे दिए। कुछ दिन बाद अपना नाम नेहा बताने वाली उस महिला का फिर से फोन आया व कहा कि भारत सरकार से आपका सारा पैसा आ चुका है। आपको 1 लाख रुपए प्रीमियम की राशि, 30 हजार रुपए बांड राशि व इन सब पर ब्याज को मिलाकर कुल डेढ़ लाख रुपए वापस होंगे लेकिन इस राशि पर आपको टैक्स अदा करना होगा। इस पर रूप लाल ने टैक्स जमा करवाने की बात मान ली।

 

16 जनवरी को पुन: फोन करके उक्त महिला ने रूप लाल को ऊना जिला में स्थित एसबीआई शाखा का एक बैंक अकाऊंट नंबर देकर 15 हजार रुपए जमा करवाने को कहा जिस पर रूप लाल का माथा ठनका व उसने ठगों को दिए गए अपने चैक का तुरंत एसबीआई बिलासपुर की शाखा में भुगतान रुकवा दिया तथा 19 जनवरी को सारे मामले की शिकायत पुलिस को दे दी। एसबीआई लाइफ इंश्योरैंस बिलासपुर कार्यालय में संपर्क करने पर उन्होंने भी ऐसी किसी महिला व युवक के उनके कार्यालय में होने से इंकार किया जिससे शक और गहरा गया। रूप लाल का कहना है कि चैक लेने आए युवक के मोबाइल नंबर सहित महिला के मोबाइल नंबरों पर भी फोन कर रहे हैं लेकिन जवाब नहीं मिल रहा।

 

एसपी बिलासपुर अशोक कुमार ने बताया कि पुलिस सरगर्मी से इस मामले में संलिप्त ठगों का पता लगाने में जुटी हुई है। लोगों को चाहिए कि वे ऐसे झांसों में न आएं। ऐसे कागजातों के आधार पर ठग व असामाजिक तत्व सिम कार्ड आदि ले लेते हैं जो बाद में अन्य अपराधों को अंजाम देने में प्रयोग होता है। बैंक, मोबाइल सिम जारी करने वाले विभिन्न मोबाइल कंपनियों के एजैंटों व वीजा आदि बनवाने वालों को भी चाहिए कि वे बिना मूल प्रमाण पत्र इन कागजातों की बिनाह पर कोई सुविधा प्रदान न करें।


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