नारायण राणे के बंगले में अनधिकृत निर्माण ध्वस्त करने के आदेश को चुनौती देने वाली याचिका खारिज

punjabkesari.in Monday, Sep 26, 2022 - 07:14 PM (IST)

नयी दिल्ली, 26 सितंबर (भाषा) उच्चतम न्यायालय ने मुंबई के जुहू इलाके में केंद्रीय मंत्री नारायण राणे के बंगले में अनधिकृत निर्माण ध्वस्त करने के लिए बृहन्मुंबई महानगरपालिका (बीएमसी) को निर्देश देने संबंधी बंबई उच्च न्यायालय के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका सोमवार को खारिज कर दी।

शीर्ष न्यायालय ने कहा कि ‘फ्लोर स्पेस इंडेक्स’ (एफएसआई) और तटीय नियमन क्षेत्र नियमों का उल्लंघन किया गया है।

एफएसआई वह अधिकतम अनुमति प्राप्त ‘फ्लोर’ क्षेत्र होता है, जिसपर किसी भूखंड पर निर्माण किया जा सकता है।

उच्च न्यायालय के फैसले के खिलाफ याचिका राणे परिवार के स्वामित्व वाली कालका रियल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड ने दायर किया था।

याचिका न्यायमूर्ति एस. के. कौल और न्यायमूर्ति ए.एस. ओका की पीठ के समक्ष सुनवाई के लिए आई, जिसने इसपर विचार करने से इनकार कर दिया।

उल्लेखनीय है कि 20 सितंबर को उच्च न्यायालय ने कहा था, ‘‘इसमें कोई दो राय नहीं है कि याचिकाकर्ता ने मंजूरी प्राप्त योजना और कानून के प्रावधान का खुल्लमखुल्ला उल्लंघन करते हुए व्यापक स्तर पर अनधिकृत निर्माण किया।’’
इससे पहले, बीएमसी ने उच्च न्यायालय से कहा था कि वह केंद्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री नारायण राणे के जुहू स्थित बंगले पर अनधिकृत निर्माण को वैधता प्रदान करने की दूसरी अर्जी पर विचार करने को इच्छुक है।

उच्च न्यायालय ने कहा था कि यदि बीएमसी का रुख स्वीकार कर लिया गया तो शहर में कोई भी व्यक्ति पहले व्यापक स्तर पर अनधिकृत निर्माण करेगा और फिर उसे वैधता प्रदान करने का अनुरोध करेगा।

उच्च न्यायालय ने कालका रियल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड की याचिका खारिज कर दी थी, जिसमें बीएमसी को नगर निकाय के पूर्व के आदेशों से प्रभावित हुए बगैर दूसरी अर्जी पर फैसला करने के लिए निर्देश देने का अनुरोध किया गया था।

बीएमसी ने निर्माण में नियमों का उल्लंघन किये जाने का जिक्र करते हुए जून में पहली अर्जी खारिज कर दी थी।

कंपनी ने जुलाई में दूसरी अर्जी दायर कर दावा किया था कि वह निर्माण कार्य के अपेक्षाकृत छोटे हिस्से को वैधता प्रदान करने का अनुरोध कर रही है।



यह आर्टिकल पंजाब केसरी टीम द्वारा संपादित नहीं है, इसे एजेंसी फीड से ऑटो-अपलोड किया गया है।

सबसे ज्यादा पढ़े गए

PTI News Agency

Recommended News