कर्नाटक में कोविड-19 के ओमीक्रोन स्वरूप के दो मामले सामने आए : सरकार

punjabkesari.in Thursday, Dec 02, 2021 - 06:43 PM (IST)

नयी दिल्ली, दो दिसंबर (भाषा) केंद्र सरकार ने बृहस्पतिवार को कहा कि कर्नाटक में कोरोना वायरस के नये स्वरूप ओमीक्रोन के दो मामले सामने आए हैं। साथ ही, लोगों से दशहत में नहीं आने और कोविड से जुड़े दिशानिर्देशों का अनुपालन करने तथा बगैर देर किये टीकाकरण कराने की अपील की।
एक अधिकारी ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि दोनों मरीज पुरुष हैं, जिनकी उम्र 66 वर्ष और 46 वर्ष है और उनमें संक्रमण के हल्के लक्षण हैं। उन्होंने कहा कि उनमें गंभीर लक्षण देखने को नहीं मिला है।
अधिकारी ने कहा कि भारतीय सार्स-कोवी-2 जीनोमिक्स कंर्सोटियम (इन्साकॉग) के नेटवर्क के जरिए ओमीक्रोन के दो मामलों का पता लगाया गया है। साथ ही, इन दोनों के संपर्क में आए सभी लोगों का समय पर पता लगा लिया गया और उनकी जांच की जा रही।
उन्होंने कहा, ‘‘हमें ओमीक्रोन के मामले सामने आने पर दहशत में आने की जरूरत नहीं है, बल्कि जागरूक होने की जरूरत है। कोविड से जुड़े नियमों का अनुपालन करें और भीड़ में जाने से बचें। कोविड-19 टीके लगाने की गति बढ़ाना समय की आवश्यकता है। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘टीके की पूरी खुराक लेने में देर नहीं करें। ’’
सरकार ने कहा कि अब तक विश्व के 29 देशों में सार्स-कोवी-2 के ओमीक्रोन स्वरूप के 373 मामले सामने आए हैं और भारत स्थिति पर नजर रखे हुए है।
अधिकारी ने संवाददाता सम्मेलन में विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) का हवाला देते हुए कहा, ‘‘यह आकलन करना अभी जल्दबाजी होगी कि क्या ओमीक्रोन कहीं अधिक गंभीर संक्रमण पैदा करता है या यह डेल्टा सहित अन्य स्वरूपों की तुलना में कम घातक है। ’’ डब्ल्यूएचओ ने ओमीक्रोन को चिंता वाला स्वरूप बताया है।
संवाददाता सम्मेलन में बताया गया कि भारत सहित दक्षिणपूर्व एशिया क्षेत्र में पिछले एक सप्ताह में विश्व के कोविड-19 मामलों के सिर्फ 3.1 प्रतिशत मामले सामने आए हैं।
अधिकारी ने टीका कवरेज के बारे में बताया कि देश की वयस्क आबादी के 84.3 प्रतशित हिस्से को प्रथम खुराक और 49 प्रतिशत को दूसरी खुराक लग चुकी है।
उन्होंने बताया कि केरल और महाराष्ट्र में कोविड के 10,000 से अधिक उपचाराधीन मरीज हैं, जबकि नौ राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों में 1,000 से 10,000 के बीच उपचाराधीन मरीज हैं। संक्रमण पुष्टि की साप्ताहिक दर 15 जिलों में 10 प्रतिशत से अधिक है, जबकि 18 जिलों में पांच से 10 प्रतिशत के बीच है।
भारत में ओमीक्रोन स्वरूप के मामले सामने आने पर डब्ल्यूएचओ की दक्षिण-पूर्व एशिया की क्षेत्रीय निदेशक पूनम खेत्रपाल सिंह ने कहा, ‘‘हम आपस में जुड़ी हुई दुनिया में रहते हैं इसलिए यह अप्रत्याशित नहीं था। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘यह इस बात पर जोर देता है कि सभी देश निगरानी बढ़ाएं, सतर्क रहें, विदेशों से आने वाले मामलों का शीघ्र पता लगाएं तथा वायरस के और अधिक प्रसार को रोकने के उपाय करें।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ओमीक्रोन सहित सार्स-कोवी-2 के सभी स्वरूपों का मुकाबला करने के उपाय एक जैसे हैं। सरकारों द्वारा व्यापक और स्थिति के अनुकूल जन स्वास्थ्य व सामाजिक उपाय तथा लोगों द्वारा एहतियाती उपायों का सख्त अनुपालन किया जाना चाहिए।’’


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