अफगान छात्रों के वीजा विस्तार का आग्रह गृह मंत्रालय को भेजा : सहस्रबुद्धे
punjabkesari.in Tuesday, Sep 14, 2021 - 09:55 PM (IST)
नयी दिल्ली, 14 सितंबर (भाषा)भारत सांस्कृतिक संबंध परिषद (इंडिया काउंसिल ऑफ कल्चरल रिलेशंस) (आईसीसीआर) ने अफगानिस्तान के छात्रों के वीजा विस्तार के अनुरोधों को केंद्रीय गृह मंत्रालय को भेज दिया है । परिषद के अध्यक्ष विनय सहस्रबुद्धे ने मंगलवार को इसकी जानकारी दी ।
सहस्रबुद्धे ने इसके साथ ही यह भी कहा कि पड़ोसी देश में फंसे ऐसे छात्र जिन्हें भारतीय संस्थानों में प्रवेश मिला है, वे ऑनलाइन कक्षाओं में भाग लेना जारी रख सकते हैं।
अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद पड़ोसी देश के विभिन्न छात्रों ने भारत में उनका वीजा विस्तार देने का अनुरोध किया है क्योंकि वह अब अपने मुल्क में जाने के इच्छुक नहीं हैं ।
सहस्रबुद्धे ने बताया, ‘‘अफगानिस्तान के कई छात्रों ने उनके देश के शासन में बदलाव के मद्देनजर अपने वीजा विस्तार के लिये हमसे आग्रह किया है । हमने उनके अनुरोधों को केंद्रीय गृह मंत्रालय के पास भेज दिया है, जिन्हें इस मसले पर निर्णय करना है।’’
यह पूछे जाने पर कि अफगानिस्तान के छात्रों को दी जाने वाली छात्रवृत्ति बंद करने की भी कोई योजना है, उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि ऐसी कोई योजना नहीं है ।
उन्होंने कहा, ‘‘जहां तक अफगान छात्रों की छात्रवृत्ति का सवाल है, तो इसे बंद करने अथवा इसमें कटौती कर इसे कम करने के लिये न तो हमें कोई निर्देश मिला है और न ही ऐसी कोई योजना है ।’’
भारत में नामांकन कराने के बावजूद अफगानिस्तान में फंसे छात्रों के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि वह ऑनलाइन कक्षाओं में शामिल होना जारी रख सकते हैं ।
यह आर्टिकल पंजाब केसरी टीम द्वारा संपादित नहीं है, इसे एजेंसी फीड से ऑटो-अपलोड किया गया है।
सहस्रबुद्धे ने इसके साथ ही यह भी कहा कि पड़ोसी देश में फंसे ऐसे छात्र जिन्हें भारतीय संस्थानों में प्रवेश मिला है, वे ऑनलाइन कक्षाओं में भाग लेना जारी रख सकते हैं।
अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद पड़ोसी देश के विभिन्न छात्रों ने भारत में उनका वीजा विस्तार देने का अनुरोध किया है क्योंकि वह अब अपने मुल्क में जाने के इच्छुक नहीं हैं ।
सहस्रबुद्धे ने बताया, ‘‘अफगानिस्तान के कई छात्रों ने उनके देश के शासन में बदलाव के मद्देनजर अपने वीजा विस्तार के लिये हमसे आग्रह किया है । हमने उनके अनुरोधों को केंद्रीय गृह मंत्रालय के पास भेज दिया है, जिन्हें इस मसले पर निर्णय करना है।’’
यह पूछे जाने पर कि अफगानिस्तान के छात्रों को दी जाने वाली छात्रवृत्ति बंद करने की भी कोई योजना है, उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि ऐसी कोई योजना नहीं है ।
उन्होंने कहा, ‘‘जहां तक अफगान छात्रों की छात्रवृत्ति का सवाल है, तो इसे बंद करने अथवा इसमें कटौती कर इसे कम करने के लिये न तो हमें कोई निर्देश मिला है और न ही ऐसी कोई योजना है ।’’
भारत में नामांकन कराने के बावजूद अफगानिस्तान में फंसे छात्रों के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि वह ऑनलाइन कक्षाओं में शामिल होना जारी रख सकते हैं ।
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