विवादित बयान के लिए दिलीप घोष के प्रचार करने पर 24 घंटे की पाबंदी

punjabkesari.in Thursday, Apr 15, 2021 - 09:41 PM (IST)

नयी दिल्ली, 15 अप्रैल (भाषा) निर्वाचन आयोग ने बृहस्पतिवार शाम भाजपा के पश्चिम बंगाल अध्यक्ष दिलीप घोष के विवादास्पद बयान के लिए उनके प्रचार करने पर 24 घंटे की पाबंदी लगा दी। घोष ने कहा था कि ‘‘कई जगहों पर सीतलकूची जैसी घटनाएं होंगी।’’
आदेश में कहा गया है कि निर्वाचन आयोग ने घोष को ‘‘कड़ी चेतावनी’’ दी है और उन्हें आदर्श आचार संहिता लागू होने के दौरान सार्वजनिक टिप्पणी करते समय इस तरह के बयान देने से परहेज करने की सलाह दी।

पश्चिम बंगाल में चौथे चरण के चुनाव के दौरान सीतलकूची विधानसभा सीट पर सीआईएसएफ कर्मी की गोलीबारी में चार लोगों की मौत हो गयी थी। अधिकारियों ने कहा था कि स्थानीय लोगों के हमले के बाद जवानों ने गोलीबारी की थी।

पाबंदी 15 अप्रैल के शाम सात बजे से 16 अप्रैल के शाम सात बजे तक प्रभावी होगी। इस दौरान घोष प्रचार नहीं कर पाएंगे।

आदेश में कहा गया कि घोष ने ‘‘काफी भड़काऊ टिप्पणी की जिससे कानून-व्यवस्था पर गंभीर असर पड़ सकता है और इससे चुनाव प्रक्रिया प्रभावित हो सकती है।’’
आयोग ने मंगलवार को घोष के कथित बयान के लिए उन्हें नोटिस जारी किया था। सीतलकूची में मतदान के दौरान केंद्रीय बलों की गोलीबारी में चार लोगों की मौत के बाद घोष ने यह टिप्पणी की थी।

तृणमूल कांग्रेस ने घोष के बयान के खिलाफ निर्वाचन आयोग का रुख किया था।

नोटिस में घोष की कथित टिप्पणी का जिक्र किया गया है, ‘‘अगर कोई हद पार करेगा तो आपने सीतलकूची में देख लिया कि क्या हुआ। कई जगहों पर सीतलकूची जैसी घटना होगी।’’
नोटिस के जवाब में घोष ने कहा, ‘‘पश्चिम बंगाल में चुनाव के दौरान हिंसा की घटनाएं हुई है।’’
घोष ने अपने जवाब में आरोप लगाया कि तृणमूल कांग्रेस के नेताओं द्वारा डर और खौफ का माहौल बनाया गया है जिससे पारदर्शी, निष्पक्ष और शांतिपूर्ण चुनाव की प्रक्रिया बाधित हुई है।

घोष ने कहा कि पार्टी का प्रदेश अध्यक्ष होने के नाते उनका फर्ज है कि वह अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं के साथ खड़ा रहें और मतदाताओं को बेखौफ होकर मतदान करने के लिए प्रेरित करें। साथ ही कहा कि आचार संहिता, निर्वाचन कानून या भारतीय दंड संहिता की अवज्ञा वाला बयान देने की कभी उनकी मंशा नहीं थी।

घोष ने आयोग से कहा कि वह गड़बड़ी पैदा करने वाले और कानून-व्यवस्था पर नकारात्मक असर डालने वाले बदमाशों और असमाजिक तत्वों को नसीहत देना चाहते थे। घोष ने अपने बयान के लिए खेद भी जताया है।



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