मैडीकल कॉलेज नाहन की 4 महिला रेडियोग्राफर ने दिया Resign

punjabkesari.in Wednesday, Sep 26, 2018 - 03:03 PM (IST)

नाहन (साथी): मैडीकल कॉलेज अस्पताल नाहन के 4 महिला रेडियोग्राफर ने कॉलेज प्रबंधन पर भेदभाव व मानसिक उत्पीड़न के आरोप लगाते हुए अपने पदों से इस्तीफे दिए हैं। सूत्रों के अनुसार इस्तीफे के पीछे वेतन में बढ़ोतरी न करने का कारण बताया गया है। उल्लेखनीय है कि पिछले साल कालेज प्रबंधन ने इस्तीफे सौंपने वाली चारों महिला रेडियोग्राफर की सेवाएं समाप्त कर दी थीं क्योंकि इन्होंने वेतन बढ़ाने की आवाज उठाई थी। बाद में मुख्यमंत्री के हस्तक्षेप के बाद इनकी सेवाएं बहाल करनी पड़ी थीं। मैडीकल कॉलेज अस्पताल में महिला कर्मचारियों के उत्पीड़न का यह एक अहम मामला है। एक ओर सरकार जहां बेटी है अनमोल और महिला सशक्तिकरण जैसी योजनाएं लागू करके महिलाओं के कल्याण का राग अलाप रही है तो दूसरी ओर सिरमौर की इन चारों बेटियों के साथ अन्याय हुआ है। 

रेडियोग्राफर के 8 पद खाली, कामकाज लड़खड़ाया
मैडीकल कॉलेज में रेडियोग्राफर के 8 पद खाली पड़े हैं। जिन पर सरकार ने अभी तक नियमित तैनाती नहीं की, ऐसे में रेडियोलॉजी विभाग का कार्य लडख़ड़ा रहा है। अल्ट्रासाऊंड तो विशेषज्ञ डाक्टर कर रहे हैं लेकिन सीटी स्केन व एक्स-रे करने में भारी परेशानी हो रही है। रोगी कई-कई दिन भटकते हैं। फिर भी डेट नहीं मिलती। उधर मैडीकल कॉलेज ने आऊट सोर्स के जरिए एक रेडियोग्राफर कुछ महीने पहले रखा था वह भी छोड़ कर चला गया है। अब आऊट सोर्स के जरिए कर्मचारियों को शोषण हो रहा है।

14 हजार वेतन पर रख लिया जूनियर
महिला रेडियोग्राफर ने कालेज प्रधानाचार्य को सौंपे इस्तीफे में आरोप लगाया कि बीते साल उन्होंने जब वेतन बढ़ाने की मांग की तो उनकी सेवाएं समाप्त कर दी गईं। मुख्यमंत्री के हस्तक्षेप के बाद पुन: सेवा में लिया गया। 8500 रुपए वेतन की बजाय उन्हें 7500 रुपए वेतन दिया गया जबकि उनका वेतन 8500 रुपए था। लेकिन बाद में प्रबंधन ने एक जूनियर रेडियोग्राफर 14 हजार वेतन पर रख लिया है व रेंट फ्री आवास भी दिया गया है जबकि उन्हें 7500 वेतन दिया जा रहा था। प्रबंधन ने आऊट सोर्स पर लगे कर्मचारियों का भी वेतन बढ़ाया है लेकिन उनका वेतन बढ़ाने के मामले में प्रबंधन ने कुछ नहीं किया जबकि वह दिन-रात जनहित में ईमानदारी से अपनी सेवाएं दे रही थीं। इस्तीफे में कहा गया कि वह भेदभाव भरे माहौल में अपनी सेवाएं नहीं दे सकतीं। जिसको प्रबंधन ने पैदा किया है। प्रबंधन के रवैये के चलते उनका मानसिक उत्पीडऩ हुआ है और आर्थिक नुक्सान भी हुआ है।

नसिक उत्पीड़न जैसा कोई मामला नहीं
4 महिला रेडियोग्राफर ने इस्तीफे दिए हैं। वेतन संबंधित मामला प्रिंसीपल कार्यालय से तय होता है। आऊटसोर्स कंपनी द्वारा रेडियोग्राफर रखे गए थे। बाद में रखा गया रेडियोग्राफर भी नौकरी छोड़ कर चला गया है। आज एक नए रेडियोग्राफर ने ज्वाइन किया है। कामकाज प्रभावित हो रहा है। इसमें कोई संदेह नहीं है। महिला रोडियोग्राफर का मानसिक उत्पीड़न जैसा कोई मामला नहीं है। यह केवल वेतन से जुड़ा मामला है।


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Ekta

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