लेह की पहाड़ियों में शहीद हुआ स्पीति का लाल, शोक में डूबी स्पीति घाटी

punjabkesari.in Wednesday, Sep 19, 2018 - 11:31 PM (IST)

मनाली: स्पीति घाटी के चिचम गांव के लाल रिगजिन दोरजे देश की सेवा करते हुए लेह की पहाडिय़ों में शहीद हो गए हैं। रिगजिन डोगरा स्काऊट नन एक्सपिडिशन में भाग ले रहे थे और अपने साथियों सहित 23,500 फुट की ऊंचाई पर पहुंच गए थे। अपने साथियों सहित रिगजिन एवलांच की चपेट में आ गए। हालांकि 8 साथी भाग्यशाली रहे लेकिन एवलांच की चपेट में आने से रिगजिन की मौत हो गई। रिगजिन के शहीद होने का समाचार मिलते ही स्पीति घाटी में शोक की लहर दौड़ गई है। बताया जा रहा है कि रिगजिन भारतीय सेना की डोगरा रैजीमैंट में बतौर जे.सी.ओ. जम्मू-कश्मीर में तैनात थे। बीते मंगलवार को सेना का एक दल कारगिल में माऊंटेन एक्सपिडिशन के लिए निकाला था। इस दल में 7 ऐसे जवान शामिल थे जो एवरैस्ट पर कई बार चढ़ाई कर चुके थे।

एवलांच की चपेट में आने से पेश आई घटना
बताया जा रहा है कि पहाड़ पर चढ़ते वक्त अचानक ग्लेशियर टूट गया और उसका मलबा चोटी से खिसकता हुआ तेज रफ्तार से पहाड़ी से नीचे गिरने लगा। इस बीच पहाड़ पर चढ़ाई कर रहा सेना का यह पर्वतारोही दल जब तक कुछ समझ पाता, तब तक काफी देर हो चुकी थी और इस दल के 9 सदस्य ग्लेशियर के मलबे की चपेट में आ गए। कुछ देर बाद दल के ही कुछ लोग जैसे-तैसे ग्लेशियर के मलबे से बाहर निकलने में कामयाब हो गए लेकिन इस बीच रिगजिन दोरजे की मौत हो चुकी थी। इस घटना में भारतीय सेना की डोगरा रैजीमैंट के करीब 8 जवान जहां घायल हुए हैं, वहीं स्पीति के चिचम गांव के जे.सी.ओ. रिगजिन दोरजे शहीद हो गए हैं।

3 बार कर चुके थे एवरैस्ट की चढ़ाई
रिगजिन दोरजे इससे पहले 3 बार एवरैस्ट की चढ़ाई सफलता पूर्वक चढ़ चुके थे। बुधवार को कारगिल से स्पीति शहीद रिगजिन दोरजे का शव सेना देर शाम तक उनके निवास स्थान पर नहीं पहुंचा पाई थी। उधर, इस हादसे की सूचना मिलते ही रिगजिन दोरजे के परिवार में मातम पसर गया है। ग्रामीण जहां रिगजिन दोरजे की बातें व उसके साथ बिताए लम्हों का जिक्र हर किसी से कर रहे हैं, वहीं उसके परिजन हादसे की खबर सुनते के बाद सन्न हो गए हैं। उधर, स्पीति प्रशासन के अधिकारियों का कहना है कि शहीद का शव स्पीति लाया जा रहा है।


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Vijay

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