भूमि फर्जीवाड़ा : प्रशासन के आश्वासन पर ग्रामीणों ने तोड़ा आमरण अनशन

punjabkesari.in Thursday, Aug 16, 2018 - 03:32 PM (IST)

हमीरपुर (अरविंदर): जिला मुख्यालय के साथ लगते दड़ूही गांव में हुए करोड़ों के भूमि फर्जीवाड़े में निष्पक्ष जांच के लिए आमरण अनशन पर बैठे ग्रामीणों ने अनशन खत्म कर दिया है। इस मौके पर एस.डी.एम. हमीरपुर शिल्पी बेक्टा ने स्वयं जाकर आमरण अनशन को तुड़वाया। अनशन पर बैठे फिल्लू राम ने प्रशासन से नहीं बल्कि अपनी 93 वर्षीय मां साहणी देवी के हाथों से जूस पीकर अनशन को तोड़ा। इस मौके पर प्रशासन ने भूमि फर्जीवाड़े के दोषियों पर कार्रवाई करने और मामले की निष्पक्ष जांच करने का आश्वासन दिया।
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हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे ग्रामीण
जिला मुख्यालय के साथ लगते उप महाल विकास नगर में 100 कनाल सरकारी भूमि को मिलकीयत में तबदील कर रसूखदारों ने उसका करोड़ों रुपए में सौदा कर डाला है। विकासनगर के रहने वाले फिल्लू ने कहा कि कुछ रसूखदारों ने करीब 100 कनाल सरकारी जमीन मिलकीयत भूमि में तबदील कर उसे लगभग 15 करोड़ रुपए में बेच दिया है। उन्होंने कहा कि 2006-07 में हुए बंदोबस्त की नवीन अक्श नक्शा मुसाबी के खसरा नंबर इस्तेमाल साल 1965-66 से कहीं नहीं मिल रहे हैं। उन्होंने कहा कि शिकायत के बावजूद पुराने रिकॉर्ड को नष्ट कर मामले को दबाने का प्रयास राजस्व विभाग कर रहा है। इस बारे 2012 में भी शिकायत की गई थी लेकिन अभी तक इस पर कोई कार्रवाई नहीं हो पाई है। इस मामले की निष्पक्ष जांच के लिए वह आमरण अनशन पर बैठे थे। अब वह निष्पक्ष जांच और दोषियों को सजा दिलाने के लिए हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे।
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दोषियों पर होगी उचित कार्रवाई
फिल्लू राम का कहना है कि प्रशासन के आश्वासन पर क्रमिक भूख हड़ताल को खत्म किया है और बंदोबस्त की जांच की जाएगी। वहीं एस.डी.एम. शिल्पी बेक्टा का कहना है कि आमरण अनशन को तुड़वा दिया है। प्रशासन ने मामले की निष्पक्ष जांच और दोष सिद्ध होने पर दोषियों पर उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया है, साथ ही इस मामले की विजीलैंस से भी जांच करवाई जाएगी।
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Vijay

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