HC ने दिए आदेश, अवैध कब्जे हटाने को तैनात करो सेना की ईको टास्क फोर्स

punjabkesari.in Friday, Jul 20, 2018 - 11:11 PM (IST)

शिमला: उच्च न्यायालय ने वनभूमि से अवैध कब्जे छुड़ाने के आदेशों की अनुपालना के लिए भारतीय सेना की ईको टास्क फोर्स के जवानों को तैनात करने के आदेश पारित कर दिए हैं। वे एस.आई.टी. के सदस्यों को इस काम में मदद करेंगे और यह सुनिश्चित करेंगे कि जितने भी अवैध कब्जे वनभूमि व सरकारी भूमि पर किए गए हैं उन्हें तुरंत प्रभाव से हटा दिया जाए। मामले की सुनवाई के दौरान एमिक्स क्यूरी ने कोर्ट को एक पत्र सौंपा जिसमें बताया गया है कि चैथला गांव की वनभूमि के मामले में राजस्व व वन अधिकारी बड़े-बड़े अवैध कब्जाधारियों से मिले हुए हैं और उनकी मदद में जुटे हुए हैं। केवल छोटे कब्जाधारियों पर ही कार्रवाई हो रही है ताकि आंकड़ों से कोर्ट को गुमराह किया जा सके।


पत्र में कई लोगों के नाम शामिल
पत्र में कई लोगों के नाम हैं जिन पर बड़े पैमाने पर अवैध कब्जे करने की बात कही है।  पत्र में मांग की गई है कि इन अवैध कब्जाधारियों को कब्जाई हुए भूमि के पेड़ों से फल तोडऩे से रोका जाए और मामले की सुनवाई दिन-प्रतिदिन के हिसाब से की जाए। कब्जा हटाते समय उच्च अधिकारियों को मौके पर रहने के आदेश देने की मांग भी की गई है। कोर्ट ने इस पत्र पर संज्ञान लेते हुए खेद जताया कि किस तरह सरकार की कार्यप्रणाली कानून व्यवस्था बनाने में लगी है। इसके अलावा कोर्ट मित्र ने 8 ऐसे कब्जाधारियों के नाम न्यायालय को बताए थे जिनके नाम अवैध कब्जाधारियों में शामिल नहीं थे।


गठित एस.आई.टी. ही हटाएगी कोटखाई व जुब्बल के अवैध कब्जे
कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश संजय करोल व न्यायाधीश संदीप शर्मा की खंडपीठ ने अपने आदेशों में यह स्पष्ट किया कि न्याय की दृष्टि से अब यह जरूरी हो जाता है कि 25 अप्रैल, 2018 को जिस एस.आई.टी. का गठन किया गया था वही कोटखाई तहसील के अंतर्गत आने वाले गांव जलाथा, चेन्थला, पुंगरिश पांदली व क्लेमू व जुब्बल तहसील के गांव बदहाल गांव जाए व तुरंत सरकारी भूमि से अवैध कब्जे हटाए। गौरतलब है कि जुब्बल तहसील के छाजपुर के 13 बड़े कब्जाधारियों को कब्जे हटाने बाबत प्रदेश हाईकोर्ट ने एस.आई.टी. का गठन किया था। न्यायालय ने 24 जुलाई को एक्शन रिपोर्ट न्यायालय के समक्ष दायर करने के आदेश पारित किए गए हैं।


कुशल व तकनीकी तौर पर काबिल लोगों को तैनात करें जिलाधीश
प्रदेश उच्च न्यायालय ने जिलाधीश शिमला को आदेश दिए हैं कि वह एस.आई.टी. को मदद करने के लिए कुशल व तकनीकी तौर पर काबिल लोगों को तैनात करें जोकि ठीक तरीके से सरकारी भूमि की पुष्टि करें। प्रधान मुख्य अरण्यपाल ने न्यायालय को बताया कि अवैध कब्जे हटाने के लिए केवल 125 कर्मियों को तैनात किया गया है। न्यायालय ने पाया कि अवैध कब्जों की संख्या को देखते हुए इनकी संख्या बहुत कम है। जिस पर न्यायालय ने भारतीय सेना की ईको टास्क फोर्स के जवानों को भी तैनात करने के आदेश पारित कर दिए। मामले पर सुनवाई 24 जुलाई को होगी।


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Vijay

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