जब रेणुका चौधरी बोलीं "कितने आदमी थे", जानिए पूरी रिपोर्ट

punjabkesari.in Sunday, Apr 22, 2018 - 05:40 AM (IST)

नेशनल डेस्कः देश में बढ़ती गैंगरेप और महिला हिंसा मामले पर कांग्रेस ने मोदी सरकार पर जमकर निशाना साधा। कांग्रेस ने कठुआ की घटना पर अंतराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) की चीफ क्रिस्टीन लेगार्द के हालिया बयान का जिक्र करते हुए कहा कि 2014 में देश की जनता ने इसलिए वोट नहीं दिया था उनकी सुरक्षा से समझौता हो।

थाने में पूछा जाता है कितने आदमी थे।
कांग्रेस नेता रेणुका चौधरी ने गैंगरेप मामले पर विवादित बयान दिया है। उन्होंने एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि आजकल कोई महिला घर से बाहर नहीं निकलती है। रेणुका ने शोले फिल्म का उदाहरण देते हुए कहा, अरे ओ सांभा कितने आदमी थे। आज जब लड़कियां घर से बाहर निकलती हैं और उसका बलात्कार हो जाता है, जब वो थाने में जाती है तो वहां यही सवाल पूछा जाता है, बेटी कितने आदमी थे।


कांग्रेस नेता जब यह बोल रहीं थीं तो कार्यक्रम में मौजूद लोग उनकी बातों पर हंस रहे थे। चौधरी शोले वाला डायलॉग बोलकर बीजेपी सांसद शत्रुघ्न सिन्हा से पूछती हैं। बकौल रेणुका- देश के प्रधानमंत्री को विदेश जाने का बड़ा शौक है, उन्होंने कभी आगे आकर उन पीड़िता के परिवार से, मां से नहीं पूछा कि क्या हुआ, कैसे हुआ और क्यों हुआ।

लोगों ने याद दिलाया पुराना बयान 
कांग्रेस नेता के इस बयान के लेकर लोग उनके विरोध में उतर आए। इसके बाद रोहित मिश्रा, वर्धराज और कई अन्य ट्विटर यूजर्स ने रेणुका चौधरी को उन्हीं का बयान याद दिलाया। दरअसल, रेणुका ने 9 अगस्त 2016 को कहा था, 'रेप तो चलते रहते हैं और अगर वे 10-20 दिनों के बाद किसी को अरेस्‍ट करते हैं और सोचते हैं कि हम उनको शाबाशी देंगे तो ऐसा नहीं होगा।


मारवाड़ी नाम से ट्विटर यूजर ने लिखा, 'आज भी कई लड़कियां जॉब, पढ़ाई और शॉपिंग के लिए बाहर निकलती हैं और सुरक्षित घर वापस आती हैं। अपने राजनीतिक फायदे के लिए ऐसे बचकाने बयान देना बंद कर दीजिए। 


महिला सुरक्षा का एक बड़ा मुद्दा है
कांग्रेस महासचिव अशोक गहलोत ने शनिवार को क्रिस्टीन लेगार्द के बयान को पोस्ट करते हुए ट्वीट किया जिसमें भारत की परिकल्पना को लेकर लोगों ने वोट किया था। वो यह भारत नहीं है, लोगों ने इसलिए वोट नहीं किया था कि उनकी सुरक्षा से समझौता हो। उन्होंने कहा कि महिलाओं की सुरक्षा का एक बड़ा मुद्दा है और इसका सबसे पहले निदान होना चाहिए। 


उल्लेखनीय है कि लेगार्द ने कठुआ में 8 साल की बच्ची से बलात्कार और हत्या की घटना को बेहद दर्दनाक करार दिया था और कहा था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं भारत के अधिकारियों को महिला सुरक्षा के मुद्दे पर अधिक ध्यान देना चाहिए। उन्होंने इसे अपनी निजी राय बताया था। 

 

 

 

 


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Yaspal

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