संयुक्त किसान मोर्चा ने पंजाब में चुनाव लड़ने वाले किसान संगठनों से बनाई दूरी

punjabkesari.in Saturday, Jan 15, 2022 - 08:52 PM (IST)

नई दिल्लीः पंजाब विधानसभा चुनाव लड़ने वाले किसान संगठन अब संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) का हिस्सा नहीं होंगे। कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन की अगुवाई करने वाले एसकेएम ने शनिवार को यह जानकारी दी। कृषि कानून निरस्त किए जा चुके हैं। एसकेएम नेताओं ने सिंघू बॉर्डर पर कोंडली में बैठक के बाद कहा कि भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के नेता राकेश टिकैत केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा को बर्खास्त करने के लिए दबाव बनाने को लेकर जनवरी में तीन दिनों के लिए उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जाएंगे। अजय मिश्रा के बेटे पर पिछले साल प्रदर्शनकारी किसानों की गाड़ी से कुचलकर हत्या करने का आरोप है।

एसकेएम के नेता युद्धवीर सिंह ने कहा, ‘‘टिकैत पीड़ितों, जेल में बंद किसानों और अधिकारियों से मिलेंगे। यदि कोई प्रगति नहीं होती है तो किसान संगठन लखीमपुर में धरना दे सकते हैं।'' सिंह ने यह भी कहा कि एसकेएम पंजाब में चुनाव में भाग लेने वाले किसान संगठनों से सहमत नहीं है और वे अब एसकेएम का हिस्सा नहीं होंगे। उन्होंने कहा, ‘‘चुनाव में भाग लेने वाले संगठन एसकेएम का हिस्सा नहीं हैं। हम आगामी दिनों में एसकेएम की बैठक में उनके साथ अपने संबंधों के बारे में फैसला करेंगे।''

एसकेएम नेता जोगिंदर सिंह उगराहां ने कहा, ‘‘एसकेएम का उनसे (चुनाव में भाग लेने वाले किसान संगठनों से) कोई लेना-देना नहीं है।'' दिल्ली की सीमाओं पर साल भर से ज्यादा समय तक कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन का हिस्सा रहे एसकेएम के दो प्रमुख नेता गुरनाम सिंह चढूनी और बलबीर सिंह राजेवाल ने पंजाब में चुनावी मुकाबले में उतरने की घोषणा की है। चढूनी ने अपनी राजनीतिक पार्टी बनाई है। संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) में शामिल रहे कुछ संगठनों ने पंजाब विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए संयुक्त समाज मोर्चा का गठन किया है। संयुक्त समाज मोर्चा ने बलबीर सिंह राजेवाल के नेतृत्व में चुनाव लड़ने की घोषणा की है।


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Content Writer

Yaspal

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