प्रतिनिधिमंडल स्तर की बातचीत में PM मोदी बोले- मतभेद को झगड़े की वजह नहीं बनने देंगे

punjabkesari.in Saturday, Oct 12, 2019 - 04:32 PM (IST)

मामल्लापुरम: चेन्नई से तकरीबन 57 किलोमीटर दूर भारत-चीन के पुराने रिश्तों के गवाह रहे मामल्लपुरम यानी महाबलीपुरम में आज फिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच गर्मजोशी भरी मुलाकात हुई। दोनों नेताओं के बीच करीब 55 मिनट तक बातचीत हुई। रिजॉर्ट के अंदर से लेकर समंदर किनारे तक दोनों नेताओं के बीच गुफ्तगू का सिलसिला चलता रहा।   इस दौरान पीएम मोदी और राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ सिर्फ ट्रांसलेटर ही मौजूद थे। वहीं अब प्रधानमंत्री मोदी और शी जिनपिंग के बीच प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता शुरू हो गई है। बैठक में पीएम मोदी के साथ विदेश मंत्री एस. जयशंकर और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल भी मौजूद हैं। 

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बैठक में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, 'स्थापना दिवस पर चीन को बधाई। मैं आप सभी का गर्मजोशी से स्वागत करता हूं। मोदी ने चीन से कहा है कि चीन के साथ मतभेद को झगड़े की वजह नहीं बनने दिया जाएगा। महाबलीपुरम में प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि पिछले दो हजार सालों के अधिकांश कालखंड में भारत और चीन दुनिया की प्रमुख आर्थिक शक्तियां रही हैं। अब इस शताब्दी में हम फिर से साथ-साथ उस स्थिति को प्राप्त कर रहे हैं।  पिछले 2 हजार सालों के अधिकांश कालखंड में भारत और चीन दुनिया की प्रमुख आर्थिक शक्तियां थीं। अब इस शताब्दी में हम फिर से साथ-साथ उस स्थिति को प्राप्त कर रहे हैं। पिछले साल वुहान में हमारे अनौपचारिक बैठक से हमारे संबंधों में गति आई है। दोनों देशों में स्ट्रैटजिक कम्युनिकेशन बढ़ा है। 

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वहीं चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने कहा कि कल और आज हमारे बीच काफी अच्छी बातचीत हुई। हमने एक दूसरे से दोस्त की तरह बात की।मेरे इस दौरे से भारत और चीन के बीच भावनात्मक जुड़ाव काफी गहरा हुआ है।  तमिलनाडु में हुए स्वागत से काफी खुश हूं। भारत का यह दौरा हमेशा यादगार रहेगा।


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मोदी ने किया जिनपिंग को उनके चेहरे की आकृति बना शॉल भेंट 
 प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के इस तटीय शहर में दो दिवसीय प्रवास को शनिवार को उस समय अविस्मरणीय बना दिया जब उन्होंने मेहमान को उनके चेहरे की आकृति वाला एक कांचीपुरम सिल्क का शॉल भेंट किया। जिनपिंग से मुलाकात के दौरान मोदी ने उन्हें एक कांचीपुरम सिल्क की शॉल तोहफे में दी। इस शॉल में जिनपिंग के चेहरे की आकृति बनी हुई है। चीन के राष्ट्रपति भी इस मौके पर नहीं चूके और उन्होंने अपनी यात्रा को यादगार बनाने के लिए मोदी को एक खास पेंटिंग भेंट की जिसमें मोदी के चेहरे की आकृति बनी हुयी है। इससे पहले दोनों नेताओं ने दूसरे अनौपचारिक बैठक के आयोजन स्थल ताज कोवलाम में कलाकृतियों एवं हथकरघा प्रदर्शनी का अवलोकन किया। चीन के राष्ट्रपति के लिए तमिलनाडु के सिरुमुगई बुनकरों के समूह ने कांचीपुरम शॉल बुना था जिसे मोदी ने खोलकर जिनपिंग को दिखाया। इस बीच जिनपिंग का दो दिवसीय दौरा संपन्न हो गया और वह चीन जाने के लिए यहां से चेन्नई रवाना हो गए। 

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Edited By

Anil dev

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