ऑफ द रिकॉर्डः भाजपा के प्रमुख नेता चाहते हैं किसानों से बात करे सरकार

punjabkesari.in Thursday, Sep 09, 2021 - 03:36 AM (IST)

नई दिल्लीः भाजपा में इस समय कुछ असहज की स्थिति है क्योंकि उत्तर प्रदेश, हरियाणा, राजस्थान, पंजाब और अन्य जगहों पर कई प्रमुख नेता बातचीत के जरिए प्रदर्शनकारी किसानों की मांगों के सौहार्दपूर्ण समाधान पर जोर दे रहे हैं। पहले यह आवाज पार्टी की चारदीवारी के भीतर ही उठती थी लेकिन अब यह जनता के बीच भी पहुंचने लगी है। उत्तर प्रदेश के 2 प्रमुख नेताओं, जिनमें केंद्रीय मंत्री और लोकसभा सांसद भी शामिल हैं, किसानों से बातचीत के मसले पर अपनी राय रख चुके हैं। 

4 बार  सांसद (लोकसभा के सदस्य) चुने गए वरुण गांधी ने इस मुद्दे पर काफी मुखर होकर कहा कि मुजफ्फरनगर में इकट्ठा हुए लाखों प्रदर्शनकारी किसान अपना ही खून हैं। हालांकि संजीव बलियान इस मसले पर अपने विचार रखते हुए थोड़ा सचेत रहे।

पश्चिमी उत्तर प्रदेश में कई भाजपा नेता पार्टी हाईकमान को सचेत कर चुके हैं कि 70 के दशक में दिवंगत चौधरी चरण सिंह वाला मुस्लिम, अहीर, जाट और गुज्जर का खतरनाक गठजोड़ पुनर्जीवित हो सकता है। यह अगले साल फरवरी-मार्च में होने वाले विधानसभा चुनावों में सियासी मुश्किल का कारण बन सकता है। हालांकि भाजपा द्वारा करवाया गया एक आंतरिक चुनाव सर्वे कोई धुंधली तस्वीर पेश नहीं करता और मोदी-योगी का नेतृत्व भी अजेय बना हुआ है।

हरियाणा में भाजपा सरकार में उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला सार्वजनिक तौर पर किसानों का पक्ष ले चुके हैं। ऐसी ही भावनाएं पंजाब में भाजपा के नेता भी जाहिर कर चुके हैं जहां पार्टी पहले ही शिरोमणि अकाली दल के रूप में अहम सहयोगी गंवा चुकी है। 

हालांकि पी.एम.ओ. के सूत्रों ने कहा कि सरकार छोटे और सीमांत किसानों से सीधे संपर्क साध रही है और उन्हें सरकारी स्कीमों के जरिए नकदी दे रही है। एक प्रतिष्ठित अमरीकी कंपनी ‘मार्निंग कंसल्ट’ के मुताबिक वैश्विक लीडरों में मोदी सबसे आगे हैं। आम किसान सरकार से खुश है।     


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Pardeep

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