चक्रवात अम्फान से निपटने के लिए एनडीआरएफ तैयार, 41 टीम की तैनात

punjabkesari.in Tuesday, May 19, 2020 - 06:52 PM (IST)

नई दिल्लीः राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के प्रमुख एस.एन. प्रधान ने मंगलवार को कहा कि चक्रवात ‘अम्फान' से उत्पन्न किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए पश्चिम बंगाल और ओडिशा में बल की कुल 41 टीमों को तैनात किया गया है। प्रधान ने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि चक्रवात ‘अम्फान' के रूप में यह दूसरी आपदा आ रही है क्योंकि हम पहले ही कोविड-19 का मुकाबला कर रहे हैं और इसके लिए सतत निगरानी की आवश्यकता है। उन्होंने कहा, ‘‘अम्फान से प्रभावित होने वाले दो राज्य ओडिशा और पश्चिम बंगाल में एनडीआरएफ की कुल 41 टीमों को तैनात किया गया है।''

प्रधान ने कहा कि अम्फान जब 20 मई को पहुंचेगा तो यह बेहद प्रचंड चक्रवाती तूफान होगा, इसके नुकसान पहुंचाने की क्षमता बनी हुई है। प्रधान ने कहा कि एनडीआरएफ ने चक्रवात ‘फनी' से निपटने के अपने अनुभव से सीखा है। उन्होंने कहा, ‘‘वायरलेस सेट, सैटेलाइट फोन और अन्य संचार उपकरण भी हमारी टीमों के साथ हैं। हमारी तैयारी 1999 में ओडिशा तट पर आये महाचक्रवात का सामना करने जैसी ही है।''
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प्रधान ने कहा कि अम्फान जब 20 मई को पहुंचेगा तो यह बेहद प्रचंड चक्रवाती तूफान होगा, इसके नुकसान पहुंचाने की क्षमता बनी हुई है। प्रधान ने कहा कि एनडीआरएफ ने चक्रवात ‘फनी' से निपटने के अपने अनुभव से सीखा है। उन्होंने कहा, ‘‘वायरलेस सेट, सैटेलाइट फोन और अन्य संचार उपकरण भी हमारी टीमों के साथ हैं। हमारी तैयारी 1999 में ओडिशा तट पर आये महाचक्रवात का सामना करने जैसी ही है।''

BSF ने भी कसी कमर
इससे पहले सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) ने पश्चिम बंगाल में भारत-बांग्लादेश नदी क्षेत्र मोर्चे और इच्छामती नदी की सुरक्षा के लिए तैनात अपनी तीन चलती फिरती सीमा चौकियों या जहाज तथा 45 अन्य गश्ती नौकाओं को चक्रवात अम्फान के मद्देनजर सुरक्षित स्थान पर पहुंचा दिया है।
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बीएसएफ का दक्षिण बंगाल फ्रंटियर इन जहाज और नौकाओं का इस्तेमाल इस क्षेत्र में 350 किलोमीटर लंबे नदी क्षेत्र की चौकसी के लिए करता है। वह यहां 930 किलोमीटर लंबी अंतरराष्ट्रीय सीमा की सुरक्षा करता है जिसमें सुंदरबन, एश्चुअरी प्वाइंट, इच्छामती नदी और पानीतार का 110 किलोमीटर लंबा क्षेत्र आता है। इस इलाके में दोनों देशों की भूमि और नदी सीमाएं एक दूसरे से मिलती हैं। तीन चलती फिरती सीमा चौकियों या जहाज तथा 45 अन्य गश्ती नौकाओं को चक्रवात अम्फान के मद्देनजर सुरक्षित स्थान पर पहुंचा दिया गया है।
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बीएसएफ के उपमहानिरीक्षक (दक्षिण बंगाल फ्रंटियर) एस एस गुलेरिया ने पीटीआई-भाषा से कहा कि इन नौकाओं और जहाजों से संबद्ध लोग इस चक्रवात तक भूमि सीमा चौकियों पर रहेंगे। एनडीआएफ में अपनी सेवा दे चुके गुलेरिया ने कहा कि इलेक्ट्रिशियनों, राज-मिस्त्रियों और इंजीनियरों की एक टीम नदी सीमा क्षेत्रों में भेजी गयी है ताकि वे किसी नुकसान की सूरत में बुनियादी ढांचों की यथाशीघ मरम्मत और बहाली में मदद कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि नदी सीमा चौकियों पर सेटेलाइट फोन भी प्रदान किये गये हैं ताकि संवाद कायम रहे। उन्होंने बताया कि हंसाबाद में चक्रवात संबंधी अभियानों के लिए एक नियंत्रण कक्ष भी स्थापित किया गया है जिसकी कमान एक वरिष्ठ अधिकारी के हाथों में होगी।
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बीएसएफ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि बल स्थानीय लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने तथा चक्रवात के बाद तलाशी एवं बचाव अभियान शुरू करने के लिए राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआएफ) के साथ तालमेल कायम कर चल रहा है। इस प्रचंड तूफान के 20 मई को पश्चिम बंगाल के दीघा और बांग्लादेश के हटिया के बीच तट पर पहुंचने की संभावना है। 


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Yaspal

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